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इस मानसून में ‘शटल’ बनेगा आपका सबसे अच्छा साथी

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नई दिल्ली, 13 जुलाई (आईएएनएस)| मानसून आने के साथ ही वाहन मालिकों के लिए अपनी कार का मेन्टेनेंस बड़ी चिंता की बात बन जाती है, लेकिन अब नौकरीपेशा लोग रोज ऑफिस आने-जाने के लिए अपनी गाड़ी चलाने की मुश्किल में पड़ने की बजाय एक आसान सफर के साथ मानसून का मजा ले सकते हैं। साथ ही उन्हें मेट्रो ट्रेनों की धक्का-मुक्की से भी छुटकारा मिल सकेगा। मोबाइल आधारित बस सर्विस-शटल आपके लिए बस की सीट सुनिश्चित करती है, जिससे रोज गाड़ी चलाकर ऑफिस आने-जाने, गड्ढों में जमा हुए पानी और बारिश में भीगने जैसी समस्या से आपका बचाव होता है।

शटल भारत का सबसे बड़ा बस संग्रह ऐप प्लेटफॉर्म है, जिसका उद्देश्य दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र के शहरी यात्रियों के लिए रोज का सफर अधिक सुविधाजनक बनाना है। शटल यात्रियों को उनके ऑफिस समय के दौरान सीट रिजर्वेशन के साथ एयर-कंडिशन्ड बसों में यात्रा की सुविधा देता है।

सही समय पर चलने वाली यह 450 बसें साफ-सुथरी होती हैं और पूरे एनसीआर में 500 किमी के क्षेत्रफल में 50 रूट पर संचालित होती हैं। इनमें दिल्ली के अलग-अलग हिस्से, नोएडा, गाजियाबाद और फरीदाबाद से गुड़गांव आने-जाने वाली सेवाएं शामिल हैं, जिनमें निश्चित दूरी पर विभिन्न पड़ाव शामिल हैं।

12 से 40 सीटों तक की शटल बसें यात्रियों के सामने वर्तमान यात्रा विकल्पों के दो प्रमुख साधनों की स्थिति स्पष्ट करती है। एक तरफ सबसे सस्ता पब्लिक ट्रांसपोर्ट है जिसमें काफी अधिक वक्त लगता हैए और भीड़भाड़ व अन्य तकलीफें होती हैं। जबकि दूसरी तरफ ऑटोरिक्शाए कैब या खुद की गाड़ी रखने का विकल्प हैए जो कईयों की पहुंच से बाहर हैं।

शटल के सह-संस्थापक अमित सिंह ने कहा, शटल ने अपने 57 प्रतिशत ग्राहकों को कार मालिक से बस यूजर बनने के लिए प्रेरित किया है। हमारी बेहतर तकनीक यह सुनिश्चित करती है कि हम कम वाहनों में अधिक से अधिक लोगों को यात्रा कराएं और ट्रैफिक की भीड़भाड़ कम करने के लिए एक सकारात्मक प्रभाव निर्माण करें।

अमित ने कहा, पर्यावरण संरक्षण को लेकर भी हम सचेत हैं। हम पर्यावरण को बिना नुकसान पहुंचाए यात्रा सुविधा देने में यकीन करते हैं। पिछले 6 महीनों में दिल्ली और एनसीआर में हमने अपनी बसों के जरिये 680 टन कार्बन डायऑक्साइड का उत्सर्जन रोका है। लगभग रोजाना हम 26 टन कार्बन डायऑक्साइड का उत्सर्जन रोकते हैं। दिल्ली में हमारे सभी वाहन 100: सीएनजी से चलते हैं और ठै.प्ट मानकों का पालन करते हैं।

शटल की 50 प्रतिशत यूजर्स महिलाएं हैं और यह संख्या मेट्रो ट्रेन के यात्रियों से काफी अधिक (18 से 20 प्रतिशत) है। महिलाओं की सुरक्षा के मद्देनजर शटल की सर्विस में लाइव ट्रैकिंग, आईडी आधारित बोडिर्ंग, ड्राइवर की जानकारी की पुष्टि करते हुए एक सुरक्षित अनुभव प्रदान किया जाता है। आधार विवरण के जरिये शटल के ड्राइवरों की बायोमेट्रिक जांच होती है और उनकी पृष्ठभूमि की पड़ताल, निवास पता एवं आपराधिक रिकॉर्डबद्ध की जाती है।

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नेशनल

महाराष्ट्र के रुझानों में महायुति को प्रचंड बहुमत, MVA को तगड़ा झटका

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मुंबई। महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के शुरूआती रुझानों में दोबारा महायुति की सरकार बनती दिखाई दे रही है। महाराष्ट्र में अकेले भाजपा 131 सीटों पर आगे है। वहीं कुल 221 सीटें पर महायुति आगे है। झारखंड की बात की जाए यहां पर JMM गठबंधन आगे चल रहा है। इस समय वह 49 सीटों पर आगे है।

बता दें कि महाराष्ट्र में 20 नवंबर को सभी 288 सीटों पर मतदान हुआ। सत्ताधारी महायुति में बीजेपी ने 149 सीट, एकनाथ शिंदे की शिवसेना ने 81 सीट और अजित पवार के नेतृत्व वाली एनसीपी 59 सीटों पर चुनावी मैदान में उतरी। वहीं दूसरी ओर एमवीए में शामिल कांग्रेस ने 101, शिवसेना (UBT) ने 95 और NCP (शरदचंद्र पवार) ने 86 सीटों पर अपने उम्मीदवार खड़े किए।

वहीं, शुरूआती रुझानों से उत्साहित भाजपा सांसद और पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. सुधांशु त्रिवेदी ने कहा कि महायुति अपने विकास कार्यों के कारण महाराष्ट्र में शानदार तरीके से सत्ता में वापस आ रही है। महाराष्ट्र चुनाव इस बात की लड़ाई थी कि जनता का जनादेश ‘विचार की विरासत’ को मिलेगा या ‘परिवार की विरासत’ को। महाराष्ट्र की जनता ने ‘विचार की विरासत’ को चुना और ‘परिवार की विरासत’ को हराया। झारखंड में अभी तक नतीजे हमारी उम्मीदों के मुताबिक नहीं आए हैं।

महाराष्ट्र के सीएम और शिवसेना नेता एकनाथ शिंदे ने कहा कि अंतिम परिणाम आने दें। फिर, जिस तरह से हमने एक साथ चुनाव लड़ा था, उसी तरह सभी तीन पार्टियां एक साथ बैठेंगी और निर्णय लेंगी कि सीएम कौन होगा।

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