बिजनेस
बीएसएनएस विस्तार पर 6000 करोड़ रुपये खर्च करेगी
कोलकाता, 8 सितम्बर (आईएएनएस)| सरकारी दूरसंचार सेवा प्रदाता कंपनी, बीएसएनएल अगले दो सालों में 40,000 बेस ट्रांसीवर स्टेशनों (बीटीएस) के लगाने पर 6,000 करोड़ रुपये खर्च करेगी, ताकि इसके मोबाइल नेटवर्क का विस्तार हो सके।
कंपनी इसके लिए उपकरण बनाने वाली कंपनियों को निविदा जारी करने की प्रक्रिया में है। भारत संचार निगम लिमिटेड (बीएसएनएल) के एक अधिकारी के मुताबिक, इस विस्तार परियोजना में नोकिया और जेडटीई शीर्ष बोलीदाता के रूप में उभरी हैं।
कंपनी के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक अनुपम श्रीवास्तव ने यहां शुक्रवार को कहा, हमने पिछले तीन सालों में 40,000 बीटीएस लगाए हैं और विस्तार के अगले चरण में हैं। हम अगले दो सालों में और 20,000 बीटीएस लगाएंगे। इस पर करीब 6,000 करोड़ रुपये का निवेश किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि नोकिया को हाल ही में एडवांस पर्चेज ऑर्डर जारी कर दिया गया है और अगले 10 दिनों में जेडटीई को भी जारी कर दिया जाएगा।
नए बीटीएस से 2जी, 3जी और 4जी तीनों सेवाएं दी जा सकेंगी और ऑपरेटर अपने पुराने 2जी नेटवर्क को बदल सकेंगे।
वर्तमान में बीएसएनएल के 1,30,000 बीटीएस हैं। इस विस्तार के बाद बीटीएस की कुल संख्या बढ़कर 1,70,000 हो जाएगी।
बिजनेस
जियो ने जोड़े सबसे अधिक ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’- ट्राई
नई दिल्ली| भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) के नवीनतम आंकड़ों के मुताबिक, रिलायंस जियो ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़ने के मामले में सबसे आगे है। सितंबर महीने में जियो ने करीब 17 लाख ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़े। समान अवधि में भारती एयरटेल ने 13 लाख तो वोडाफोन आइडिया (वीआई) ने 31 लाख के करीब ग्राहक गंवा दिए। ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़ने के मामले में जियो लगातार दूसरे महीने नंबर वन बना हुआ है। एयरटेल और वोडाआइडिया के ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ नंबर गिरने के कारण पूरे उद्योग में सक्रिय ग्राहकों की संख्या में गिरावट देखी गई, सितंबर माह में यह 15 लाख घटकर 106 करोड़ के करीब आ गई।
बताते चलें कि टेलीकॉम कंपनियों का परफॉर्मेंस उनके एक्टिव ग्राहकों की संख्या पर निर्भर करता है। क्योंकि एक्टिव ग्राहक ही कंपनियों के लिए राजस्व हासिल करने का सबसे महत्वपूर्ण जरिया है। हालांकि सितंबर माह में पूरी इंडस्ट्री को ही झटका लगा। जियो, एयरटेल और वीआई से करीब 1 करोड़ ग्राहक छिटक गए। मतलब 1 करोड़ के आसपास सिम बंद हो गए। ऐसा माना जा रहा है कि टैरिफ बढ़ने के बाद, उन ग्राहकों ने अपने नंबर बंद कर दिए, जिन्हें दो सिम की जरूरत नहीं थी।
बीएसएनएल की बाजार हिस्सेदारी में भी मामूली वृद्धि देखी गई। इस सरकारी कंपनी ने सितंबर में करीब 15 लाख वायरलेस डेटा ब्रॉडबैंड ग्राहक जोड़े, जो जुलाई और अगस्त के 56 लाख के औसत से काफी कम है। इसके अलावा, बीएसएनएल ने छह सर्किलों में ग्राहक खो दिए, जो हाल ही की वृद्धि के बाद मंदी के संकेत हैं।
ट्राई के आंकड़े बताते हैं कि वायरलाइन ब्रॉडबैंड यानी फाइबर व अन्य वायरलाइन से जुड़े ग्राहकों की कुल संख्या 4 करोड़ 36 लाख पार कर गई है। सितंबर माह के दौरान इसमें 7 लाख 90 हजार नए ग्राहकों का इजाफा हुआ। सबसे अधिक ग्राहक रिलायंस जियो ने जोड़े। जियो ने सितंबर में 6 लाख 34 हजार ग्राहकों को अपने नेटवर्क से जोड़ा तो वहीं एयरटेल मात्र 98 हजार ग्राहक ही जोड़ पाया। इसके बाद जियो और एयरटेल की बाजार हिस्सेदारी 32.5% और 19.4% हो गई। समान अवधि में बीएसएनएल ने 52 हजार वायरलाइन ब्राडबैंड ग्राहक खो दिए।
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