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बिजनेस

भारत विदेशी शहरीकरण मॉडल नहीं अपनाए : राजीव कुमार

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नई दिल्ली, 11 जनवरी (आईएएनएस)| नीति आयोग के उपाध्यक्ष राजीव कुमार ने गुरुवार को कहा कि शहरीकरण के लिए विदेशी मॉडल को अपनाने के बदले भारत को पूरे देश में विकास केंद्रों को बनाने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि विदेशी मॉडल अपनाने से असमानता और असंतुलन में बढ़ोतरी होगी।

उन्होंने कहा, भारत की विविधता को देखते हुए, असमान और असंतुलित शहरीकरण सही नहीं है।

उन्होंने, ‘नगर वित्त और स्मार्ट शहरों के लिए प्रभावी और त्वरित कार्यान्वयन’ पर राष्ट्रीय कार्यशाला के दौरान कहा, यह बहुत दुखद है कि हम लगातार विदेशी मॉडल की ओर देखते हैं। हम वह भारत में नहीं दोहरा सकते जिसे चीन ने किया है।

उन्होंने कहा कि चीन में विकास केवल तटवर्ती इलाकों में हुआ है जबकि अन्य क्षेत्र वहां अभी भी पिछड़ा है जिससे चीनी नव वर्ष पर लाखों की आबादी को अपने घर वापस जाना पड़ता है। भारत में जबकि देश के किसी भी भाग में दिवाली या होली जैसे अन्य त्योहारों में लाखों लोग एक जगह से दूसरे जगह नहीं जाते हैं।

उन्होंने कहा, दो अलग-अलग संरचनाओं को कम करने और सभी शहरी सुविधाओं को गांव से जोड़ने के लिए, हमें नई पहल ‘रुर्बन’ की अवधारणा को लाने की जरूरत है।

उन्होंने कहा, देश में शहरों के सशक्तीकरण करने के लिए हमें आर्थिक-राजनीतिक औचित्य, तकनीकी रूप से स्मार्ट समाधान और बौद्धिक कसौटी की जरूरत है।

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प्रादेशिक

एस्सार ग्रुप के सह-संस्‍थापक शशि रुइया का 80 साल की उम्र में निधन

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मुंबई। एस्सार ग्रुप के सह-संस्‍थापक शशि रुइया का 80 साल की उम्र में निधन हो गया है। रुइया के पार्थिव शरीर को प्रार्थना और श्रद्धांजलि के लिए वालकेश्वर के बाणगंगा में रखा जाएगा। अंतिम संस्कार यात्रा रुइया हाउस से शाम 4 बजे हिंदू वर्ली श्मशान के लिए निकलेगी।

शशि रुइया ने अपने भाई रवि रुइया के साथ मिलकर एस्सार की स्थापना की थी। वह करीब एक महीने पहले अमेरिका से इलाज करा लौटे थे। मंगलवार को दोपहर 1 बजे से 3 बजे तक उनका पार्थिव शरीर रुइया हाउस में अंतिम दर्शन के लिए रखा जाएगा। शाम चार बजे रुइया हाउस से शवयात्रा हिंदू वर्ली श्मशान घाट के लिए रवाना होगी।

उद्योगपति शशि रुइया ने अपने पिता नंद किशोर रुइया के मार्गदर्शन में 1965 में अपने व्यावसायिक दुनिया में कदम रखा। उन्होंने अपने भाई रवि के साथ मिलकर 1969 में चेन्नई बंदरगाह पर एक बाहरी ब्रेकवाटर का निर्माण कर एस्सार की नींव रखी। इसके बाद एस्सार ग्रुप ने इस्पात, तेल रिफाइनरी, अन्वेषण और उत्पादन, दूरसंचार, बिजली और निर्माण सहित विभिन्न क्षेत्रों में विस्तार किया।

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