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केंद्रीय गृह मंत्रालय का सख्त कदम, अर्शदीप सिंह डल्ला आतंकवादी घोषित

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Arshdeep Singh Dalla declared terrorist

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नई दिल्ली। पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई समर्थित संगठन खालिस्तान टाइगर फोर्स के सहयोगी अर्शदीप सिंह गिल उर्फ अर्श डल्ला के खिलाफ केंद्रीय गृह मंत्रालय ने सख्त कदम उठाया है। गृह मंत्रालय ने आज सोमवार को अर्श डल्ला को गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम, (यूएपीए) के तहत आतंकवादी घोषित किया।

कौन है अर्शदीप सिंह डल्ला

आईएसआई के इशारे पर अर्शदीप सिंह डल्ला आतंकी मॉड्यूल चला रहा है। डल्ला केटीएफ के कनाडा स्थित प्रमुख हरदीप सिंह निज्जर का करीबी और सहयोगी है। वह मोगा के डल्ला गांव का मूल निवासी है जो वर्तमान में कनाडा में है। अर्श डल्ला पंजाब और विदेश में विभिन्न आपराधिक गतिविधियों में शामिल एक कुख्यात गैंगस्टर और आतंकवादी है। इसकी संलिप्तता पंजाब के सीमावर्ती राज्य में हुई विभिन्न हत्याओं में भी सामने आई थी।

इसके अलावा राज्य में पाकिस्तान से आने वाली आरडीएक्स, आईईडी, एके -47 और अन्य हथियारों और गोला-बारूद समेत आतंकवादी हार्डवेयर की आपूर्ति के मामलों में भी डल्ला की संलिप्तता पाई गई है। अर्श डल्ला को कनाडा से प्रत्यर्पित करने की प्रक्रिया जारी है और जल्द ही उसे भारत लाया जाएगा। अर्श डल्ला के खिलाफ रेड कॉर्नर नोटिस मई 2022 में पहले ही जारी किया जा चुका है।

शाह जम्मू-कश्मीर के नेताओं संग करेंगे बैठक

इस बीच, जानकारी मिली है कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह आज (सोमवार) रात 9 बजे दिल्ली में अपने आवास पर जम्मू-कश्मीर के शीर्ष भाजपा नेताओं के साथ एक महत्वपूर्ण बैठक करेंगे। सूत्रों ने बताया कि इस बैठक में राजनीतिक और सुरक्षा से जुड़े मुद्दों सहित अन्य मुद्दों पर चर्चा की जाएगी।

आतंक के खिलाफ लगातार हो रही कार्रवाई

गौरतलब है कि गृहमंत्री अमित शाह के नेतृत्व में गृह मंत्रालय लगातार आतंकी संगठनों और आतंकवादियों के खिलाफ कार्रवाई कर रहा है। इसी क्रम में पिछले कई दिनों में एक के बाद एक कई लोगों और संगठनों को गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम, (यूएपीए) के तहत आतंकी घोषित किया गया है।

बीते शनिवार को गृह मंत्रालय ने हिजबुल मुजाहिद्दीन के कमांडर आसिफ मकबूल डार को ‘आतंकी’ घोषित किया था। वहीं उससे पहले सात जनवरी को भारत सरकार ने पीपुल्स एंटी फासिस्ट फ्रंट (PAFF) और इसके सभी समूहों को आतंकवादी संगठन घोषित किया था।

इससे पहले गृह मंत्रालय ने लश्कर-ए-तैयबा के सदस्य अरबाज अहमद मीर को एक महिला शिक्षक रजनी बाला समेत जम्मू कश्मीर में टारगेट किलिंग में शामिल होने के लिए यूएपीए, 1967 के तहत आतंकवादी घोषित किया था। मीर वर्तमान में पाकिस्तान में रह रहा है और लश्कर-ए-तैयबा के लिए काम करता है।

द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) पर लगाया था प्रतिबंध

इससे पहले, गुरुवार 05 जनवरी को भारत सरकार ने आतंकवादी समूह द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) पर प्रतिबंध लगाया था। टीआरएफ पाकिस्तान आधारित प्रतिबंधित आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा का मुखौटा समूह है। यह जम्मू-कश्मीर में कई लक्षित हत्याओं में शामिल रहा है।

इसके अलावा गृह मंत्रालय ने TRF के कमांडर शेख सज्जाद गुल को भी गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम 1967 के तहत आतंकवादी घोषित किया है। साथ ही लश्कर कमांडर मोहम्मद अमीन उर्फ अबु खुबैब को आतंकवादी घोषित किया गया।

सरकारी अधिसूचना के मुताबिक, अबु खुबैब जम्मू-कश्मीर का रहने वाला है, लेकिन वर्तमान में वह पाकिस्तान में रह रहा है। खुबैब लश्कर-ए-तैयबा के लॉन्चिंग कमांडर के रूप में कार्य कर रहा है और उसका पाकिस्तान की एजेंसियों के साथ गहरा संबंध है।

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दिल्ली में होगी मैतेई और कुकी समुदाय की पहली बैठक, हिंसा में अब तक 220 से ज्यादा की हो चुकी है मौत

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नई दिल्ली। पूर्वोत्तर राज्य मणिपुर में जारी हिंसा को एक साल से ज्यादा समय हो गया है। आज मैतेई और कुकी समुदाय पहली बार बैठक करेंगे। देश की राजधानी दिल्ली में केंद्रीय गृह मंत्रालय की अध्यक्षता में यह मीटिंग होगी और दोनों समुदायों के विधायक और नेता इसमें शामिल होंगे। बता दें कि पिछले साल तीन मई को राज्य में जातीय हिंसा शुरू हुई थी।

गृह मंत्रालय का प्रयास है कि हिंसा का शांतिपूर्वक हल निकाला जा सके। 23 मई 2023 के बाद से हिंसा में अब तक 220 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है ओर 1000 से अधिक लोग घायल हुए हैं। साथ ही 60 हजार से अधिक लोग बेघर हो चुके हैं। बेघर हुए अधिकतर लोग शरणार्थी शिविरों में रह रहे हैं। बता दें कि मई-2023 के बाद से कुछ समय की शांति के बाद राज्य में नए सिरे से कई दफा हिंसा भड़क चुकी है।

नगा समुदाय के तीन विधायक भी होंगे शामिल

नगा समुदायों के विधायकों को भी बैठक में बुलाया गया है। तीन नगा एमएलए मीटिंग में शामिल होंगे। फिलहाल यह स्पष्ट नहीं है कि मैतेई और कुकी के कितने एमएलए मीटिंग में भाग लेंगे। बैठक में आने वाले 3 नगा विधायकों में राम मुइवा, अवांगबोउ न्यूमाई और एल. दीको हैं और ये मणिपुर में सत्तारूढ़ बीजेपी के सहयोगी नगा पीपुल्स फ्रंट के मेंबर हैं।

 

 

 

 

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