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उत्तराखंड

अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति की संभावना बरकरार

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उत्तराखंड शिक्षा विभाग, अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति की संभावना, 11937 पद रिक्त, शिक्षा सचिव डी. सेंथिल पांडियन

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उत्तराखंड शिक्षा विभाग, अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति की संभावना, 11937 पद रिक्त, शिक्षा सचिव डी. सेंथिल पांडियन

अहम निर्णय हो सकता है आज

देहरादून। गेस्ट टीचरों के मामले में उत्तराखंड शिक्षा विभाग भले ही विभाग में शिक्षकों के पद रिक्त न होने की बात कर रहा है, लेकिन हकीकत कुछ और ही है। बेसिक से माध्यमिक स्तर पर वर्तमान में शिक्षकों के इक्का दुक्का नहीं बल्कि 11937 पद रिक्त हैं। अगले एक महीने में यदि नई नियुक्ति और प्रमोशन से पांच हजार से अधिक शिक्षक मिल भी गए तो इसके बाद भी अतिथि शिक्षकों को समायोजित किया जा सकता है। शिक्षा विभाग में प्रवक्ताओं के 4971 और एलटी के 3415 कुल 8386 पद रिक्त हैं। वहीं प्राथमिक में 2158 और उच्च प्राथमिक में 843 पद रिक्त चल रहे हैं।

इसके अलावा 31 मार्च को 550 से अधिक शिक्षक सेवानिवृत्त हो चुके हैं। इस तरह प्राथमिक से लेकर माध्यमिक में शिक्षकों के वर्तमान में 11937 पद रिक्त हैं। जबकि अगले एक महीने में प्रवक्ता के पद पर 300 और एलटी के पद पर 2780 शिक्षकों की कुल 3080 शिक्षकों की नियुक्ति होने जा रही है। हालांकि इसके बाद बेसिक से एलटी के पद पर कुछ अन्य शिक्षकों के प्रमोशन होने हैं और विभाग की ओर से प्रवक्ताओं के 1213 पदों के लिए लोक सेवा आयोग में किए गए अधियाचन में से कुछ और शिक्षक विभाग को मिल रहे हैं, लेकिन इस सबके बावजूद विभाग में शिक्षकों के कई पद रिक्त रह जाएंगे। विभाग चाहे तो इन पदों पर समस्त अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति कर सकता है।

शिक्षा सचिव डी. सेंथिल पांडियन का कहना है कि विभाग में शिक्षकों के कई पद रिक्त हैं, हम पहले चयनित नियमित शिक्षकों को नियुक्ति और प्रमोशन देंगे, इसके बाद देखेंगे कि कितने पद रिक्त रह गए हैं। रिक्त रह गए इन पदों पर अतिथि शिक्षकों को रखा जाएगा, लेकिन अभी नई विज्ञप्ति निरस्त करने संबंधी कोई कार्रवाई नहीं हुई। सांसद एवं पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यारी ने कहा कि राज्यपाल डा. केके पाल ने अतिथि शिक्षकों की नई विज्ञप्ति निरस्त करने और उनके समायोजन का आश्वासन दिया है। राज्यपाल डा. केके पाल से उनकी इस मसले पर बात हुई है। राज्यपाल का कहना था कि कुछ शिक्षक अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति का विरोध कर रहे हैं। जबकि ऐसा नहीं है। विभाग द्वारा नियमित शिक्षकों की नियुक्ति और प्रमोशन के बाद अतिथि शिक्षकों का समायोजन किया जा सकता है। भाजपा सांसद ने कहा कि राज्यपाल ने आज सोमवार को इस मसले पर विभागीय अधिकारियों की बैठक बुलाई है। संभावना है कि इस मसले पर कोई अहम निर्णय लिया जाएगा।

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उत्तराखंड

चारधाम यात्रा में 31 मई तक VIP दर्शन पर रोक, ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन 19 मई तक बंद

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हरिद्वार। अगर आप भी चारधाम यात्रा पर जा रहे हैं तो ये खबर आपके लिए काफी अहम है। चारधाम यात्रा में VIP दर्शन व्यवस्था पर रोक लगा दी गई है। लोग 31 मई तक VIP सिस्टम के तहत दर्शन नहीं कर पाएंगे। वहीं ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन भी 19 मई तक बंद रहेंगे। खराब मौसम और श्रद्धालुओं की बढ़ती संख्या को देखते हुए यह फैसला लिया गया है।

चार धाम यात्रा 10 मई को शुरू हुई थी। छह दिन में ही देश-विदेश के 3,34,732 श्रद्धालु इनके दर्शन के लिए पहुंच चुके हैं। उत्तराखंड सरकार ने यात्रा के लिए 25 अप्रैल से चारधामों के लिए पंजीकरण शुरू किया और गुरुवार तक 27 लाख से ज्यादा श्रद्धालुओं के पंजीकरण हो गए।

मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने पत्र जारी कर 31 मई तक वीआईपी दर्शन पर रोक लगा दी है। यह भी कहा है कि धामों में सुगम दर्शन के लिए सरकार ने श्रद्धालुओं का पंजीकरण अनिवार्य किया है। अब दर्शन उसी दिन होंगे जिस तिथि का पंजीकरण किया गया है। इससे पहले 30 अप्रैल को राज्यों के मुख्य सचिवों को पत्र लिखकर 25 मई तक वीआईपी दर्शन की व्यवस्था पर रोके जाने का आदेश दिया था।

50 मीटर में रील्स बनाने पर प्रतिबंध

उत्तराखंड सरकार ने भीड़ प्रबंधन की दिशा में बड़ा कदम उठाया है। इसमें 50 मीटर के दायरे में चारों धामों के मंदिर के परिसर में रील्स बनाने पर प्रतिबंध लगा दिया है। इसके साथ ही सोशल मीडिया लाइव आदि पर भी रोक लगा दी गई है। सरकार ने कहा है कि कुछ यात्रियों द्वारा मंदिर परिसर में वीडियो एवं रील बनायी जाती है और उन्हें देखने के लिए एक स्थान पर भीड़ एकत्रित हो जाती है जिससे श्रद्धालुओं को दर्शन करने में असुविधा होती है ।

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