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खेल-कूद

फीफा विश्व कप में शक्तिशाली रूस से लड़ेगा सऊदी अरब

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फुटबॉल प्रेमियों का महाकुंभ फीफा विश्व कप 2018 आज से शुरू हो गया है। दुनिया में रूस एक शक्तिशाली देश है। फीफा का पहला मैच मास्को के सबसे बड़े स्टेडियम लुजिनकी स्टेडियम में शक्तिशाली रूस से सऊदी अरब का है। यह मैच रात 8.30 बजे शुरू होगा। इस मैच का सीधा प्रसारण सोनी टेन एसडी—एचडी, सोनी टेन 3 एसडी—एचडी और सोनी ईएसपीएन एसडी पर होगा।

फीफा रैंकिंग में क्रमश: 70वें एवं 67वें पायदान पर मौजूद दो टीमों के बीच मुकाबला रोचक होने की पूरी उम्मीद है। रूस अपने समर्थकों की मौजूदगी में जीत के साथ टूर्नामेंट की सकारात्मक शुरुआत करना चाहेगा।

पिछले दो वर्षो में रूस का प्रदर्शन काफी खराब रहा है। वर्ष 2016 यूरोपीय चैम्पियनशिप के बाद से मेजबान टीम ने कुल 19 मैच खेले हैं और केवल छह में जीत दर्ज की है। रूसी टीम अक्टूबर 2017 के बाद से एक भी मैच जीतने में कामयाब नहीं हो पाई है जो टीम की मौजूदा स्थिति को दर्शाती है।

सऊदी अरब के अलावा रूस के ग्रुप में उरुग्वे और मिस्र की टीमें शामिल हैं। इनमें से सिर्फ उरुग्वे को ही दमदार टीम माना जा रहा है। ऐसे में ग्रुप से अन्य सभी टीमें के पास अगले दौर में प्रवेश करने का बराबर मौका है। मेजबान टीम में कोई भी स्टार खिलाड़ी मौजूद नहीं हैं और टूर्नामेंट से पहले उसके दो मजबूत डिफेंडर विक्टर वासिन एवं जॉर्जी झिकिया के अलावा फॉरवर्ड एलेक्जेंडर कोकोरिन चोट के कारण टूर्नामेंट से बाहर हो गए हैं।

कोच चेरचेशोव की टीम की सबसे बड़ी कमजोरी उसका डिफेंस है और विक्टर और झिकिया के चोटिल होने के बाद उनके पास कोई ऐसा नाम नहीं है जो डिफेंस को मजबूत कर सके। हालांकि, प्रशंसकों को गोलकीपर इगोर एकिन्फीव से बेहतर प्रदर्शन की उम्मीद होगी। टीम के अटैक की जिम्मेदारी स्ट्राइकर फेडर स्मोलोव पर होगी जिन्होंने क्रास्नोडार एफसी से खेलते हुए 2015-16 एवं 2016-17 सीजन में रूस की प्रथम श्रेणी लीग में सबसे अधिक गोल किए।

दूसरी ओर सऊदी अरब के लिए पिछले कुछ साल अच्छे नहीं रहे हैं। विश्व कप में भाग लेने से पहले पिछले एक साल में टीम तीन कोच बदल चुकी है। मौजूदा कोच जुआन एंटोनी पिज्जी के लिए सऊदी अरब को नॉकआउट स्तर तक पहुंचाना एक बड़ी चुनौती होगी।

जर्मनी में हुए वर्ष 2006 विश्व कप के बाद पहली बार इस प्रतिष्ठित टूर्नामेंट में हिस्सा ले रही सऊदी अरब की सबसे बड़ी ताकत टीम में मौजूद खिलाड़ियों की एकजुटता है। टीम के अधिकतर खिलाड़ी सऊदी प्रीमियर लीग में खेलते हैं और उनके बीच अच्छा तालमेल है। हालांकि, रूस की तरह सऊदी टीम में भी कोई बड़ा सितारा नहीं है, लेकिन मिडफील्ड की जान यहया अल-शेहरी पर सबकी निगाहें टिकी होंगी।

सऊदी अरब में अनुभव की भी कमी है जो मेजबान टीम के खिलाफ उसकी सबसे बड़ी कमजोरी साबित हो सकती है जिसने निपटना कोच जुआन एंटोनी पिज्जी के लिए भी बड़ी चुनौती साबित हो सकता है।

रूस टीम :-

गोलकीपर : इगोर एकिन्फीव, व्लादिमीर गैबुलोव, एंड्री ल्यूनेव।

डिफेंडर : व्लादिमीर ग्रेनाट, रुस्लान कंबोलोव, फेडर कुद्रीशोव, इल्या कुटेपोव, आंद्रे सेम्योनोव, इगोर स्मोलनिकोव, मारियो फर्नाडेज।

मिडफील्डर: युरी गाजिंस्की, एलेक्जेंडर गोलोविन, एलन ड्झागोव, युरी झिर्कोव, रोमन जोबिन, डालेर कुज्येव, एंटोन मिरंचुक, एलेक्जेंडर सामेडोव, एलेक्जेंडर ताश एवं डेनिस चेरीशेव।

फॉरवर्ड : अर्टयोम डज्युबा, एलेक्सी मिरांचुक, फेडर स्मोलोव।

सऊदी अरब टीम :-

गोलकीपर : मोहम्मद अल-ओवेस, यासेर अल-मुसेलम, अबदुल्ला अल-मयूफ।

डिफेंडर : मंसूर अल-हर्बी, यासेर अल-शाहरानी, मोहम्मद अल-ब्रेइक, ओस्मा हावसावी, अली अल-बुलाही।

मिडफील्डर : अबदुल्ला अल-खेबारी, अब्दुलमालेक अल-खैबरी, अबदुल्ला ओतायेफ, तैसीर अल-जासिम, हुसैन अल मोघावी, सलमान अल-फराज, मोहम्मद कन्नो, हत्तन बाहेबरी, सालेम अल-दवसारी, यहया अल-शेहरी।

फारवर्ड : फहाद अल-मुवालाद, मोहम्मद अल-साहलावी, मुहम्मद असीरी। ( इनपुट आईएएनएस)

 

खेल-कूद

पूर्व भारतीय कप्तान मोहम्मद अजहरुद्दीन की मुश्किलें बढ़ीं, मनी लॉन्ड्रिंग मामले में ईडी का समन

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नई दिल्ली। पूर्व भारतीय क्रिकेट कप्तान मोहम्मद अजहरुद्दीन की मुश्किलें बढ़ गई हैं। मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े एक मामले में प्रवर्तन निदेशालय की ओर से उन्हें समन भेजा गया है। इस समय के साथ ही उन्हें तलब होने को भी कहा गया है।

मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़ा है मामला

मोहम्मद अजहरुद्दीन को जारी किया गया यह पहला समन है, जिसके तहत उन्हें केंद्रीय एजेंसी के सामने पेश होना है। जानकारी के मुताबिक, यह मामला हैदराबाद के उप्पल में राजीव गांधी क्रिकेट स्टेडियम के लिए डीजल जनरेटर, फायर ब्रिगेड सिस्टम और कैनोपी के खरीद के लिए अलॉट किए गए 20 करोड़ रुपये की कथित हेराफेरी से जुड़ा हुआ है। इसी मामले में ईडी जांच कर रही है और मोहम्मद अजहरुद्दीन को आज पूछताछ के लिए बुलाया है।

पिछले साल की थी छापेमारी

बता दें कि पिछले साल केंद्रीय जांच एजेंसी ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में तेलंगाना के 9 जगहों पर छापेमारी की थी, इसमें एचसीए के पूर्व पदाधिकारियों गद्दाम विनोद, शिवलाल यादव और अरशद आयूब के घर भी शामिल थे। इस छापेमारी में ईडी के हाथ कई जरूर डाक्यूमेंट लगे थे।

जानकारी के मुताबिक, ईडी की जांच हैदराबाद की एसीबी द्वारा दर्ज की गई तीन एफआईआर पर बेस्ड है, जिसमें खरीद प्रक्रियाओं में गंभीर अनियमितताओं, कार्यों में देरी और एचसीए को हुए नुकसान का जिक्र है। चार्जशीट में यह भी बताया गया कि एससीए के पदाधिकारियों ने निजी पार्टियों के साथ मिलकर बढ़ी हुई दरों पर टेंडर दिए, काम पूरा हुए बिना अग्रिम भुगतान किया। साथ ही बड़े मूल्य के नकद लेनदेन में भी लगे रहे।

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