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उत्तर प्रदेश

दिव्यांग के पास सहायक उपकरण होते हैं तो वे सामान्य दिनचर्या की तरफ बढ़ते हैंः सीएम योगी

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CM Yogi in disabled pragramme

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लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि जब किसी दिव्यांग के पास सहायक उपकरण होते हैं तो वह खुद को पूर्ण मानते हुए सामान्य दिनचर्या की तरह जीवन को बढ़ा सकते हैं। यहां मंच के नीचे मैंने दिव्यांगजनों से संवाद किया और उन्हें कृत्रिम अंग व ट्राई साइकिल, व्हीलचेयर आदि सहायक उपकरण वितरित किए।

विगत 3 वर्ष से अटल जी की स्मृतियों के जरिए आरोग्यता व संपूर्णता के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए अटल स्वास्थ्य मेले का आगाज किया गया। पहले मेले 7500 से अधिक, दूसरे में 10500 से अधिक और इस बार दो दिन में हजारों लोगों ने भी इस मेले में लाभ लिया। केंद्र-शासन की योजनाओं से जुड़कर वंचित लोग भी लाभान्वित हुए।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ रविवार को पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के जन्मदिवस पर विकास नगर स्थित मिनी स्टेडियम में आयोजित अटल स्वास्थ्य मेला-3 ‘सेवा ही सरकार’ में सम्मिलित हुए। दो दिवसीय मेले के समापन पर मुख्यमंत्री दिव्यांग बच्चों से मिले। उन्हें कंबल, ट्राई साइकिल, व्हील चेयर समेत जरूरतमंद उपकरण वितरित किए।

सीएम ने कहा कि पूरा देश लखनऊ के गौरव अटल जी की पावन जयंती पर उनसे जुड़ी स्मृतियों का स्मरण कर श्रद्धांजलि अर्पित कर रहा है। आज देश ने विभिन्न क्षेत्रों में प्रगति की है। पीएम के नेतृत्व में आजादी का अमृत महोत्सव में भारत लोकतंत्र व विकास के मॉडल के रूप में बढ़ रहा है।

आगामी दिनों में लखनऊ में होने हैं कई बड़े आयोजन

सीएम ने बताया कि आगामी दिनों में लखनऊ में बड़े आयोजन होने हैं। प्रदेश व लखनऊवासियों को इससे जुड़ने की मानसिकता तैयार करनी होगी। सबसे पहला कार्यक्रम फरवरी 2023 में ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट होने जा रहा है। दस हजार से अधिक उद्यमियों व निवेशकों के स्वागत के लिए हमें तैयार होना होगा। इसके जरिए लाखों करोड़ों रुपये का निवेश आएगा और लाखों नौकरियों का अवसर मिलेगा। जी-20 से जुड़े कुछ आयोजन भी लखनऊ में होने हैं। इससे जुड़ना हर लखनऊवासियों के लिए गौरव की बात है।

लखनऊ से अटल जी की स्मृतियां जुड़ी हैं। उन्होंने सांसद के रूप में 5 बार लखनऊ का प्रतिनिधित्व किया था। वे जनप्रतिनिधि लखनऊ के थे, लेकिन नेतृत्व पूरे देश का करते थे। यह लखनऊ के लिए यह गौरव की बात है। आज रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह पूरे देश को सुरक्षा का बेहतर माहौल देकर अटल जी की विरासत को बढ़ा रहे हैं।

स्वास्थ्य क्षेत्र में डबल इंजन की सरकार ने अनेक मानक गढ़े हैं

सीएम ने कहा कि स्वास्थ्य क्षेत्र में डबल इंजन की सरकार ने अनेक मानक गढ़े हैं। वन डिस्ट्रिक्ट, वन मेडिकल कॉलेज का कार्य युद्ध स्तर पर हो रहा है। गांव-गांव में जहां चिकित्सकों की उपस्थिति नहीं हो पाती है, वहां कंसल्टेशन व टेलीमेडिसिन की सुविधा उपलब्ध करा सकें, इस पर युद्ध स्तर पर काम चल रहा है। प्रदेश में 6 करोड़ से अधिक लोगों को आयुष्मान भारत के अंतर्गत स्वास्थ्य बीमा का कवर दिला रहे हैं। अभी बहुत मानक बढ़ाने हैं। जिनके आयुष्मान कार्ड बने हैं, वे गोल्डन कार्ड जरूर बनवा लें। ऐसे स्वास्थ्य मेलों में केंद्र व प्रदेश सरकार की अनेक योजनाओं का लाभ मिलता है। यह गरीबों, किसानों, नौजवानों आदि का स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के समाधान में बड़ी भूमिका का निर्वहन करते हैं।

सीएम ने लगातार तीसरे वर्ष इस कार्यक्रम का आयोजन करने पर संयोजक को बधाई दी। सीएम ने कहा कि कल आना था, लेकिन जरूरी काम से बाहर जाना पड़ा। फोन कर यहां की जानकारी ली तो पता चला कि हजारों लोगों ने यहां स्वास्थ्य मेले का लाभ लिया। विस्तृत रूप से योजनाओं का लाभ देने का कार्य हुआ। इसकी झलक आज मुझे भी देखने को मिली।

सीएम ने दी नव वर्ष 2023 की शुभकामना

सीएम ने सभी को नव वर्ष 2023 की शुभकामना दी। बोले कि यह वर्ष शुभ व मंगलकारी होगा। भारत को दुनिया की बड़ी ताकत के रूप में स्थापित करने के पीएम मोदी के अभियान के हिस्से बनकर फिर से यूपी को देश की बड़ी अर्थव्यवस्था के रूप में बढ़ाने का कार्य करेंगे। लखनऊ रक्षा मंत्री जी की कर्मभूमि है। उनके नेतृत्व में लखनऊ व प्रदेश विकास की जिस नई ऊंचाइयों को प्राप्त हो रहा है, वह निरंतर बढ़ता रहेगा।

मेले के संयोजक नीरज सिंह ने मुख्यमंत्री को अंगवस्त्र व पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की फोटो प्रदान कर स्वागत किया। इस दौरान पूर्व उपमुख्यमंत्री दिनेश शर्मा, महापौर संयुक्ता भाटिया, विधायक आशुतोष टंडन ‘गोपाल’, योगेश शुक्ल, नीरज वोरा, भाजपा के महानगर अध्यक्ष व विधान परिषद सदस्य मुकेश शर्मा, पवन सिंह चौहान आदि मौजूद रहे।

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उत्तर प्रदेश

महाकुम्भ के लिए केंद्र से मिलेगा 2100 करोड़ रुपए का ‘उपहार’

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लखनऊ। जनपद प्रयागराज में आगामी जनवरी माह से शुरू हो रहे विश्व के सबसे बड़े सांस्कृतिक एवं आध्यात्मिक समागम- ‘महाकुम्भ-2025’ के लिए केंद्र सरकार की ओर से बड़ा ‘उपहार’ भेजा गया है। उत्तर प्रदेश सरकार के अनुरोध पर केंद्र सरकार ने 2100 करोड़ रुपए की विशेष अनुदान सहायता राशि स्वीकृत करते हुए पहली किस्त के रूप में 1050 करोड़ रुपए निर्गत कर दिये हैं। बता दें कि महाकुम्भ का आयोजन 13 जनवरी 2025 से 26 फरवरी 2025 के मध्य निर्धारित है। महाकुम्भ मेला के सकुशल आयोजन के लिए भारत सरकार से एकमुश्त विशेष सहायता अनुदान के रूप में धनराशि स्वीकृत किये जाने उप्र शासन द्वारा केंद्र सरकार से विशेष से अनुरोध किया गया था।

उत्तर प्रदेश की योगी सरकार पहले ही 5435.68 करोड़ रुपए भव्य, दिव्य और डिजिटल महाकुम्भ के आयोजन पर खर्च कर रही है। सरकार द्वारा महाकुम्भ के लिए 421 परियोजनाओं पर यह धनराशि खर्च की जा रही है। प्रदेश सरकार की ओर से अबतक 3461.99 लाख की वित्तीय स्वीकृति निर्गत की जा चुकी है। इसके अतिरिक्त विभिन्न विभागों, जिसमें लोक निर्माण विभाग, आवास एवं शहरी नियोजन विभाग, सेतु निगम, पर्यटन विभाग, सिंचाई, नगर निगम प्रयागराज, द्वारा विभागीय बजट मद से 1636.00 करोड़ रुपए की 125 परियोजनाओं को क्रियान्वित कराया जा रहा है।

महाकुम्भ 2025 के अन्तर्गत अवसंरचनात्मक सुविधायें, जिसमें रेलवे ओवरब्रिज, रेलवे अण्डरब्रिज, सड़कों का सुदृढ़ीकरण एवं चौड़ीकरण का कार्य, नदी के किनारे कटाव निरोधक कार्य सहित इण्टरलॉकिंग सड़क मार्ग, रिवर फन्ट का निर्माण, स्मार्ट सिटी एवं प्रयागराज विकास प्राधिकरण के समन्वय से प्रयागराज को सर्वश्रेष्ठ स्मार्ट सिटी के रूप में विकसित किये जाने की कार्ययोजना के अन्तर्गत समस्त चौराहों का थीम बेस्ड सौन्दर्याकरण, आईटी बेस्ड मॉनिटरिंग इत्यादि कार्य एवं श्रद्धालुओं के लिए स्वच्छ पेयजल की व्यवस्था का सुचारू रूप से संचालन किया जा रहा है। इसके अतिरिक्त स्वच्छ भारत मिशन एवं नगर निगम, प्रयागराज के समन्वय से शहर की साफ-सफाई एवं स्वच्छता के लिए उच्च कोटि की व्यवस्था की जा रही है। सॉलिड वेस्ड प्रबन्धन एवं शहर को 100 प्रतिशत सीवरेज ट्रीटमेन्ट से आच्छादित किया जा रहा है।

इसके अतिरिक्त महाकुम्भ 2025 के अन्तर्गत विभिन्न अभिनव प्रयोग यथा, जिसमें डिजीटल कुम्भ म्यूजियम का निर्माण एवं पर्यटन रूट सर्किट (प्रयागराज-अयोध्या-वाराणसी-विन्ध्यांचल-चित्रकूट) का निर्माण इत्यादि किये जा रहे हैं। महाकुम्भ 2025 के अन्तर्गत श्रद्धालुओं, पर्यटकों एवं दर्शनार्थियों के आवागमन एवं पुण्य स्नान किये जाने की अत्युत्तम व्यवस्था की जा रही है। साथ ही महाकुम्भ 2025 को दिव्य महाकुम्भ, भव्य महाकुम्भ के साथ-साथ स्वच्छ महाकुम्भ, सुरक्षित महाकुम्भ, सुगम महाकुम्भ, डिजिटल महाकुम्भ, ग्रीन महाकुम्भ की अवधारणा के रूप में विकसित किये जाने का लक्ष्य है।

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