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उत्तर प्रदेश

काशी विश्वनाथ दरबार में 100 बार दर्शन करने वाले पहले मुख्यमंत्री बने योगी आदित्यनाथ

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Yogi Adityanath in kashi vishwanath

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वाराणसी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज शनिवार सुबह श्रीकाशी विश्वनाथ मंदिर में दर्शन पूजन किया। इसके साथ ही मुख्यमंत्री के रूप में योगी आदित्यनाथ श्रीकाशी विश्वनाथ मंदिर में 100वीं बार दर्शन करने वाले पहले सीएम भी बन गये हैं। 2017 में प्रदेश की सत्ता संभालने वाले योगी आदित्यनाथ जब भी काशी आते हैं, अमूमन हर बार बाबा विश्वनाथ के दरबार में हाज़िरी जरूर लगाते हैं। सीएम योगी मंदिर में षोडषोपचार विधि से दर्शन पूजन कर लोक कल्याण की कामना करते हैं।

वर्ष 2017 से अभी तक अपने पहले और दूसरे कार्यकाल में सीएम योगी आदित्यनाथ 100 बार बाबा के दरबार में हाजिरी लगाने वाले पहले मुख्यमंत्री बन गये हैं। वहीं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शुक्रवार को 113वीं बार वाराणसी के दो दिवसीय दौरे पर आये। दौरे के दूसरे दिन मुख्यमंत्री ने श्रीकाशी विश्वनाथ धाम में दर्शन पूजन किया है, जिसने नया कीर्तिमान बनाया है।

योगी आदित्यनाथ महीने में एक बार या कभी-कभी दो बार काशी की यात्रा जरूर करते हैं। अपने हर दौरे में मुख्यमंत्री विकास कार्यो की समीक्षा और स्थलीय निरीक्षण करते हैं। जिसका परिणाम वाराणसी के चतुर्दिक विकास के रूप में दिखता है। वहीं 6 साल के हिसाब से देखें तो सीएम योगी औसतन हर 21 दिन पर काशी विश्वनाथ मंदिर में दर्शन पूजन करने पहुंचते हैं।

योगी आदित्यनाथ अपने पहले और दूसरे कार्यकाल के 72 महीनों में करीब 100 बार बाबा विश्वनाथ के धाम पहुंचने वाले पहले सीएम बन गये  हैं। पहली बार उत्तर प्रदेश की कमान संभालने के बाद योगी आदित्यनाथ 2017 से मार्च 2022 तक कुल 74 बार भगवान विशेश्वर से आशीर्वाद लेने पहुंचे थे।

श्री काशी विश्वनाथ के अर्चक डॉ नीरज कुमार पांडेय बताते हैं ये उनकी सनातन धर्म के प्रति और बाबा विश्वनाथ के प्रति अगाध श्रद्धा को दर्शाता है। सीएम योगी आदित्यनाथ षोडषोपचार पूजन एवं रूद्र सूक्त से विश्वनाथ जी का अभिषेक करते हैं।

साथ ही विश्व के नाथ बाबा विश्वनाथ से लोक कल्याण, देश और प्रदेश के सर्व कल्याण के लिए कामना करते हैं। बता दें कि बीते साल 9 सितंबर को मुख्यमंत्री ने जब वाराणसी का 100वां दौरा किया था तब उन्होंने 88वीं बार श्रीकाशी विश्वनाथ धाम में दर्शन पूजन किया था। इसके बाद से लेकर 18 मार्च तक मुख्यमंत्री ने 12 बार बाबा विश्वनाथ के दरबार में हाजिरी लगाई।

वर्ष 2022, 9 सितंबर तक 88 बार 

वर्ष 2022, 1 अक्टूबर को 89वीं बार 

वर्ष 2022, 14 अक्टूबर को 90वीं बार

वर्ष 2022, 6 नवंबर को 91वीं बार

वर्ष 2022, 11 नवंबर को 92वीं बार 

वर्ष 2022, 11 दिसंबर को 93वीं बार 

वर्ष 2023, 8 जनवरी को 94वीं बार 

वर्ष 2023, 12 जनवरी को 95वीं बार 

वर्ष 2023, 19 जनवरी को 96वीं बार 

वर्ष 2023, 20 जनवरी को 97वीं  बार 

वर्ष 2023, 4 फ़रवरी को 98वीं बार 

वर्ष 2023, 13 फ़रवरी को 99वीं बार 

वर्ष 2023, 18 मार्च को 100वीं बार

काल भैरव मंदिर में भी सीएम ने किया 100वीं बार दर्शन पूजन

बतौर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने श्रीकाशी विश्वनाथ मंदिर में 100 बार दर्शन पूजन कर इतिहास तो रचा ही है, इसके अलावा वे काशी के कोतवाल कहे जाने वाले बाबा काल भैरव के दरबार में 100 बार हाजिरी लगाने वाले मुख्यमंत्री भी बन गये हैं।

मुख्यमंत्री ने शनिवार को सुबह बाबा काल भैरव मंदिर में विधि-विधान से दर्शन पूजन और आरती की। इस दौरान मंदिर के बाहर डमरू बजा रहे एक बालक को देख मुख्यमंत्री ने रुककर प्यार से उसका नाम पूछा और उससे उसकी पढ़ाई को लेकर जानकारी ली।

सीएम योगी ने सर्किट हाउस का किया निरीक्षण

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज शनिवार सुबह सर्किट हाउस का निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने मुख्य रूप से नवनिर्मित भवन का निरीक्षण किया। सीएम योगी ने इससे पहले शुक्रवार शाम को वाराणसी पहुंचने के बाद विकास कार्यों का स्थलीय निरीक्षण करते हुए अधिकारियों को तमाम दिशा-निर्देश दिये।

सीएम ने करखियांव स्थित इंटीग्रेटेड पैक हाउस, 34वीं वाहिनी पीएसी और रोहनिया थाने में बने बैरकों का निरीक्षण करते हुए अफसरों को दिशा-निर्देश दिये थे। वहीं शनिवार सुबह ही सीएम ने वाराणसी सर्किट हाउस के नवनिर्मित भवन का निरीक्षण किया।

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IANS News

वसुधैव कुटुंबकम’ भारत का शाश्वत संदेश : योगी आदित्यनाथ

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लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ‘वसुधैव कुटुंबकम’ के आदर्श वाक्य के महत्व पर जोर देते हुए इसे भारत की वैश्विक मानवता के प्रति प्रतिबद्धता का प्रतीक बताया है। उन्होंने इसे भारत का शाश्वत संदेश बताते हुए कहा कि हमने हमेशा से शांति, सौहार्द और सह-अस्तित्व को प्राथमिकता दी है। सीएम योगी ने यह बात शुक्रवार को एलडीए कॉलोनी, कानपुर रोड स्थित सिटी मॉन्टेसरी स्कूल (सीएमएस) के वर्ल्ड यूनिटी कन्वेंशन सेंटर में विश्व के मुख्य न्यायाधीशों के 25वें अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का उद्घाटन करने के दौरान अपने संबोधन में कही। कार्यक्रम में 56 देशों के 178 मुख्य न्यायाधीश और डेलिगेट्स ने भाग लिया।

‘अनुच्छेद 51 की भावनाओं को विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक’
अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने भारत के संविधान के अनुच्छेद 51 की भावनाओं को विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक बताया। उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद सम्मानजनक अंतरराष्ट्रीय संबंधों को विकसित करने और संघर्षों को शांतिपूर्ण ढंग से हल करने के लिए नैतिक मार्ग का अनुसरण करने के लिए हम सभी को प्रेरित करता है। उन्होंने समारोह को प्रेरणादायक बताते हुए कहा कि 26 नवंबर 2024 को संविधान अंगीकरण के 75 वर्ष पूरे होंगे। यह संविधान के अंगीकृत होने के अमृत महोत्सव वर्ष की शुरुआत के दौरान आयोजित हो रहा है।

‘युद्ध समस्याओं का समाधान नहीं है’
योगी आदित्यनाथ ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा संयुक्त राष्ट्र के ‘समिट ऑफ दि फ्यूचर’ में दिये गये संबोधन की चर्चा करते हुए कहा कि युद्ध समस्याओं का समाधान नहीं है। युद्ध ने दुनिया के ढाई अरब बच्चों के भविष्य को खतरे में डाला है। उन्होंने दुनिया के नेताओं से आग्रह किया कि वे एकजुट होकर आने वाली पीढ़ियों के लिए स्वच्छ, सुरक्षित और भयमुक्त समाज का निर्माण करें। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सम्मेलन को वैश्विक संवाद और सहयोग का मंच बताते हुए विश्वास व्यक्त किया कि अनुच्छेद 51 की भावना के अनुरूप यह आयोजन विश्व कल्याण के मार्ग को प्रशस्त करेगा। उन्होंने दुनिया भर के न्यायाधीशों से इस दिशा में सक्रिय योगदान देने का भी आह्वान किया।

‘भारत विश्व शांति और सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध’
मुख्यमंत्री ने संविधान के अनुच्छेद 51 की चर्चा करते हुए कहा कि यह वैश्विक शांति और सौहार्द की दिशा में भारत की सोच को दर्शाता है। उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद संघर्षों के शांतिपूर्ण समाधान और सभी देशों के बीच सम्मानजनक संबंधों को बढ़ावा देने का संदेश देता है। मुख्यमंत्री ने भारत की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए कहा कि संयुक्त राष्ट्र जैसे अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत की सक्रिय भागीदारी से यह स्पष्ट होता है कि भारत विश्व शांति और सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध है।

सीएमएस के संस्थापक को दी श्रद्धांजलि
सीएमएस के संस्थापक डॉ. जगदीश गांधी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी दूरदृष्टि और प्रयासों से यह सम्मेलन एक महत्वपूर्ण मंच बना है। उन्होंने डॉ. भारती गांधी और गीता गांधी को इस कार्यक्रम को अनवरत जारी रखने के लिए धन्यवाद दिया।

इस अवसर पर हंगरी की पूर्व राष्ट्रपति, हैती रिपब्लिक के पूर्व प्रधानमंत्री सहित दुनिया के 56 देशों से आए हुए न्यायमूर्तिगण, सीएमएस की संस्थापक निदेशक डॉ भारती गांधी, प्रबंधक गीता गांधी किंगडन समेत स्कूली बच्चे और अभिभावकगण मौजूद रहे।

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