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बिहार में VIP प्रमुख मुकेश साहनी के पिता की बेरहमी से हत्या, घर में क्षत-विक्षत हालत में मिला शव
दरभंगा। विकासशील इंसान पार्टी (VIP) पार्टी के प्रमुख और बिहार सरकार के पूर्व मंत्री मुकेश सहनी के पिता जीतन साहनी की दरभंगा जिले में उनके पैतृक घर में हत्या कर दी गई। मंगलवार की सुबह उनका क्षत-विक्षत शव दरभंगा के बिरौल स्थित उनके आवास से बरामद हुआ। शव मिलने के बाद से ही इलाके में सनसनी है। इन सबके बीच बड़ा सवाल ये है कि घर में दो-तीन नौकर रहने के बावजूद घटना को किसने अंजाम दे दिया। उधर दरभंगा के एसएसपी जगुनाथ रेड्डी ने जीतन सहनी की हत्या की पुष्टि की है। बताया जा रहा है कि विकासशील इंसान पार्टी के चीफ मुकेश सहनी के पिता की उम्र करीब 65 साल थी।
प्राप्त जानकारी के मुताबिक, मुकेश सहनी के पिता जीतन हसनी का शव सुपौल बाजार स्थिति उनके पैतृक घर से बरामद किया गया। जो दरभंगा जिले के बिरौल अनुमंडल की अफजल्ला पंचायत के तहत आता है। बताया जा रहा है कि जीतन सहनी का सव क्षत-विक्षत हालत में मिला। घटना के बाद इलाके में हड़कंप मच गया भारी भीड़ मौके पर पहुंच गई। इसके साथ ही भारी संख्या में पुलिस बल भी मौके पर मौजूद है। हालांकि जीतन सहनी की हत्या के पीछे क्या कारण हो सकता है इसकी अभी तक जानकारी सामने नहीं आई है।
घटनास्थल की जो तस्वीरें सामने आई हैं वो दिलदहला देने वाली है. जिनमें शव बैड पर पड़ा हुआ है। शव देखने से ऐसा लगता है कि जीतन सहनी पर किसी धारदार हथियार से वार किया गया. जिससे उनकी मौत हो गई। जानकारी के मुताबिक, मुकेश सहनी के पिता जीतन सहनी घर पर अकेले ही रहते थे. क्योंकि मुकेश सहनी और उनके भाई संतोष सहनी बारह रहते हैं जबकि उनकी बहन की शादी हो चुकी है और वह भी बाहर ही रहती हैं।
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जियो ने जोड़े सबसे अधिक ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’- ट्राई
नई दिल्ली| भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) के नवीनतम आंकड़ों के मुताबिक, रिलायंस जियो ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़ने के मामले में सबसे आगे है। सितंबर महीने में जियो ने करीब 17 लाख ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़े। समान अवधि में भारती एयरटेल ने 13 लाख तो वोडाफोन आइडिया (वीआई) ने 31 लाख के करीब ग्राहक गंवा दिए। ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़ने के मामले में जियो लगातार दूसरे महीने नंबर वन बना हुआ है। एयरटेल और वोडाआइडिया के ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ नंबर गिरने के कारण पूरे उद्योग में सक्रिय ग्राहकों की संख्या में गिरावट देखी गई, सितंबर माह में यह 15 लाख घटकर 106 करोड़ के करीब आ गई।
बताते चलें कि टेलीकॉम कंपनियों का परफॉर्मेंस उनके एक्टिव ग्राहकों की संख्या पर निर्भर करता है। क्योंकि एक्टिव ग्राहक ही कंपनियों के लिए राजस्व हासिल करने का सबसे महत्वपूर्ण जरिया है। हालांकि सितंबर माह में पूरी इंडस्ट्री को ही झटका लगा। जियो, एयरटेल और वीआई से करीब 1 करोड़ ग्राहक छिटक गए। मतलब 1 करोड़ के आसपास सिम बंद हो गए। ऐसा माना जा रहा है कि टैरिफ बढ़ने के बाद, उन ग्राहकों ने अपने नंबर बंद कर दिए, जिन्हें दो सिम की जरूरत नहीं थी।
बीएसएनएल की बाजार हिस्सेदारी में भी मामूली वृद्धि देखी गई। इस सरकारी कंपनी ने सितंबर में करीब 15 लाख वायरलेस डेटा ब्रॉडबैंड ग्राहक जोड़े, जो जुलाई और अगस्त के 56 लाख के औसत से काफी कम है। इसके अलावा, बीएसएनएल ने छह सर्किलों में ग्राहक खो दिए, जो हाल ही की वृद्धि के बाद मंदी के संकेत हैं।
ट्राई के आंकड़े बताते हैं कि वायरलाइन ब्रॉडबैंड यानी फाइबर व अन्य वायरलाइन से जुड़े ग्राहकों की कुल संख्या 4 करोड़ 36 लाख पार कर गई है। सितंबर माह के दौरान इसमें 7 लाख 90 हजार नए ग्राहकों का इजाफा हुआ। सबसे अधिक ग्राहक रिलायंस जियो ने जोड़े। जियो ने सितंबर में 6 लाख 34 हजार ग्राहकों को अपने नेटवर्क से जोड़ा तो वहीं एयरटेल मात्र 98 हजार ग्राहक ही जोड़ पाया। इसके बाद जियो और एयरटेल की बाजार हिस्सेदारी 32.5% और 19.4% हो गई। समान अवधि में बीएसएनएल ने 52 हजार वायरलाइन ब्राडबैंड ग्राहक खो दिए।
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