उत्तर प्रदेश
फूडमैन विशाल सिंह को हंगर फ्री वर्ल्ड मिशन हेतु बैंकाक में बुलाकर सम्मानित किया गया
लखनऊ। विश्व विख्यात लखनऊ के सुप्रसिद्ध समाजसेवी एवं विश्व में फूडमैन के नाम मशहूर विशाल सिंह ने एक बार फिर लखनऊ समेत भारत का नाम रौशन किया है। हंगर फ्री वर्ल्ड मिशन के तत्वावधान में बृहस्पत को थाईलैंड के कोराथई में स्थित हैप्पी हैण्ड ग्लोव्स कोऑपरेटिव लिमिटेड कंपनी ने समाजसेवी फ़ूडमैन विशाल सिंह का स्वागत एवं सम्मानित किया है।
थाईलैंड के कोराथई में समाजसेवी फ़ूडमैन विशाल सिंह के नेतृत्व में हंगर फ्री वर्ल्ड मिशन की बैठक आयोजित हुई। इस बैठक में थाईलैंड के राजा द्विवेदी( प्रबंध निदेशक, हैप्पी हैंड्स ग्लव्स कंपनी लिमिटेड), एवं थाईलैंड कोआर्डिनेट राजा मिश्रा जी,वरुण सिंह(सदस्य )सहित अनेक देशों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। इस दौरान फूडमैन विशाल सिंह की अगुवाई में विश्व को भूख मुक्त बनाने के संकल्प की ओर आगे कदम बढ़ाने का संकल्प लिया ।
इस मौके पर फूडमैन विशाल सिंह ने कहा कि इस मिशन में सोशल पार्टिसिपेशन मुख्य उद्देश्य है। हंगर फ्री वर्ल्ड मिशन का मतलब का केवल पेट भरना ही नही बल्कि उन जरूरतों की आवश्यकताओं को पूरा किया जा सके। किसी वस्तु या अवश्यकता को लेकर जो लोग साक्ष्य नहीं हैं उनकी मानवीय रूप में मदद की जाए। खासकर अस्पतालों में आने वाले असाध्य रोगों से जूझ रहे मरीजों के परिजनों को फ़ूड, आश्रय (शेल्टर होम) की जरूरत होती है, वैसे ही मनुष्य के जीवन के लिए शिक्षा, रोजगार, वृद्धजनों की सेवा भी आवश्यक है।
जिसको लेकर 16 वर्षों से विजय श्री फाउंडेशन निरंतर नि:शुल्क सेवा प्रदान कर हजारों, लाखों को लाभांवित कर रहा है। हंगर फ्री वर्ल्ड मिशन के लिए आज एक साथ मंच पर बैठकर इसे विश्व व्यापी बड़े आर्गेनाइजेशन के रूप में मान्यता दिलानी है जैसे WHO, WWF, Redcross, आदि संगठन सामाजिक हेतु कम कर रहे हैं वैसे हीहंगर फ्री वर्ल्ड मिशन का गठन किया गया है,
इस बैठक में कई देशों के प्रतिष्ठित प्रतिनिधियों ने समाजसेवी फ़ूडमैन विशाल सिंह को चेयरमैन के रूप में नियुक्त किया है। इस सोशल पार्टिसिपेशन के उद्देश्य से हंगर फ्री वर्ल्ड मिशन के प्रतिनिधियों ने कहा समय समय पर अलग_अलग देशों में निरंतर इसकी मीटिंग की जायेगी। जिससे हंगर फ्री वर्ल्ड मिशन की मुहिम को आगे बढाया जा सके।
आपको बताने चले की बिजनेस टाइकून अभिषेक वर्मा इस मानवीय सेवा मिशन को अपना समर्थन प्रदान किया है, सेवा परमो धर्म विचार को पूरे विश्व में आगे बढ़ाने हेतु संकल्प लिया है। पूर्व में विशाल सिंह ने अभिषेक वर्मा की तारीफ करते हो कहा कि समाज में जब ऐसे मानवीय सेवा के प्रेरणा स्रोत है तभी हम जैसे लोग कुछ सार्थक प्रयास कर पा रहे हैं।
आप को बताते चले कि कुछ दिन पहले भारत में रोमानिया की राजदूत डेनिएला सेज़ोनोव ताने ने फ़ूडमैन विशाल सिंह को दिल्ली दूतावास में आमंत्रित किया था जहां इस मिशन के बारे में विस्तार से बात हुई। इस मानवता के मिशन से प्रेरित होकर फ़ूडमैन विशाल सिंह को रोमानिया को राजदूत ने सम्मानित करते हुए इस मिशन को आगे बढ़ाने के लिए अपने देश रोमानिया आने का भी निमंत्रण दिया है।
आपको बतादें फूडमैन विशाल सिंह इंडिया में निरंतर 17 वर्षों से मानवीय सेवा कार्यों को करते आ रहे है।
विजयश्री फाउंडेशन के द्वारा राजधानी लखनऊ के अस्पतालों में नि:शुल्क खाना, शेल्टर होम, बच्चों की शिक्षा के लिए फ्री फीस, ड्रेस किताबें, कंप्यूटर , स्मार्ट क्लास रूम के साथ वृद्ध आश्रम को नि:शुल्क संचालित कर रहे हैं।
जबकि समाज में अपराध, भ्रष्टाचार को उजगार करने, दबे कुचले लोगों की आवाज को बुलंद करने के लिए लोकतंत्र के चौथे स्तंभ में भी स्थान रखते हैं। फूडमैन विशाल सिंह सेवा पथ मीडिया चेयरमैन और सुप्रसिद्ध समाजसेवी संस्था विजयश्री फाउंडेशन के प्रबंधक हैं।
वैश्विक महामारी कोरोना त्रासदी के हम सब साक्षी हैं कि फूडमैन विशाल सिंह ने इस मरती हुई मानवता के समय अनवरत 24 घंटे अपनी टीम के साथ भूख से तड़पते बच्चों एवं वरिष्ठ नागरिकों, गर्भवती महिलाओं के साथ साथ आम जनमानस के लिए बिना थके, बिना खाना खाए एवं बिना सोए स्वयं कोरोना की चपेट में आने के बाद हॉस्पिटल से डिस्चार्ज होने पर पुनः पीड़ित लोगों को हर संभव मदद पहुंचाकर संजीवनी देने का कार्य किया, आपके संज्ञान में यह भी लाना है इस वैश्विक त्रासदी के दौरान ऑक्सीजन रेगुलेटर की कमी के चलते एक अविष्कार किया, उस समय मरते हुए मरीजों के लिए नल की टोटी से ऑक्सीजन रेगुलेटर बनाकर लोगों का जीवन बचाया । जिसे देश और विदेश के डॉक्टरों ने बेहतर उपयोगी बताते हुए प्रशंसा की थी।
इस मीटिंग के दौरान फूडमैन विशाल सिंह ने उपस्थित गणमान्य जनसमूह को संबोधित करते हुए अपनी मुहिम की शुरुआत के साथ भूख मुक्त विश्व के अभियान के बारे में बताया। उन्होंने कहा हमारे देश के आबादी विश्व में सबसे ज्यादा है। बेरोजगारी एवं संसाधनों के अभाव और गरीबी के कारण हंगर इंडेक्स में स्तर गिरता जा रहा है, इस लिए मेरा सपना है कि भारत को भूख मुक्त बनाने में आप सब मेरा साथ दें, आप सबके द्वारा प्रतिदिन एक मुट्ठी राशन के सहयोग से विश्व के लोगों को भूख मुक्त बनाया जा सकता है।
इस मूवी में हमें सोशल पार्टिसिपेशन के तहत काम करना होगा तभी हम अपने आसपास के लोगों को सक्षम बना सकते हैं। मानवी आवश्यकताओं को पूरा करते हुए हम एक मजबूत सशक्त और समृद्धिशाली समाज के साथ एक विकसित देश की परिकल्पना को पूरा कर सकते हैं।
उत्तर प्रदेश
फलों, सब्जियों की उपज बढ़ाने को योगी सरकार की नायाब पहल
लखनऊ। फलों और सब्जियों की उपज बढ़ाने के लिए योगी सरकार ने एक और नायब नायाब पहल की है। इससे न केवल सब्जियों और फलों की उपज बढ़ेगी, बल्कि उनकी गुणवत्ता भी सुधरेगी।
नोएडा और गाजियाबाद को छोड़ हर जिले में बनेंगी हाईटेक पौधशालाएं
इसके लिए योगी सरकार गौतम बुद्ध नगर (नोएडा) और गाजियाबाद को छोड़ बाकी 73 जिलों में हाईटेक नर्सरी (पौधशाला) बनाएगी। संबंधित जिले के कृषि जलवायु क्षेत्र (एग्रो क्लाइमेट जोन) के अनुसार फलों और सब्जी की कौन सी प्रजातियां वहां के अनुकूल हैं, इस बात का पूरा ध्यान रखा जाएगा। जिले के कृषि विज्ञान केंद्र (केवीके) जिन विश्विद्यालयों से ये केवीके संबद्ध हैं और उद्यान विभाग मिलकर इसका निर्णय लेंगे।
अब तक तैयार हो चुकी हैं 36 पौधशालाएं
मिली जानकारी के अनुसार ये पौधशालाएं मनरेगा की मदद से बनेंगी। अब तक ऐसी 36 पौधशालाएं तैयार हो चुकीं हैं। शीघ्र ही 16 और पर काम चलेगा। इन हाईटेक पौधशालाओं में पौधे को नियंत्रित तापमान और नमी में तैयार किया जाता है। लिहाजा ये पौधे निरोग होते हैं। ऐसे में इनके रोपण से उपलब्ध सब्जियों और फलों की उपज तो अधिक होती ही है। गुणवत्ता में भी ये बेहतर होती हैं। लिहाजा इनके दाम भी वाजिब मिलते हैं। उत्पाद का सही दाम मिलने से किसानों और बागवानों की आय बढ़ेगी। किसानों और बागवानों के हित में योगी और मोदी सरकार की जो भी योजनाएं चल रहीं हैं उनका अंतिम लक्ष्य भी यही है।
फलों और सब्जियों की खेती से रोजगार के साथ पोषण सुरक्षा भी मिलेगी
उल्लेखनीय है कि उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था मुख्यतः कृषि पर ही आधारित है। कृषि आधारित अर्थव्यवस्था में फलों और सब्जियों का महत्वपूर्ण स्थान है। वैज्ञानिक स्तर पर यह साबित हो चुका है कि फल और सब्जियां प्रति हेक्टेयर पर स्थानीय स्तर पर अधिक रोजगार के मौके उपलब्ध कराती हैं। प्रसंस्करण को जोड़ दिया जाय तो यह संख्या और अधिक हो जाती है। चूंकि इनमे विटामिंस और फाइबर प्रचुर मात्रा में मिलते हैं, इसलिए पोषण सुरक्षा में भी इनका महत्त्वपूर्ण योगदान है। इन सबमें इन हाईटेक पौधशालाओं की महत्त्वपूर्ण भूमिका होगी।
प्रदेश में फलों और सब्जियों की खेती की संभावनाएं
नौ तरह के एग्रो क्लाइमेटिक जोन होने के कारण उत्तर प्रदेश में हर तरह के फलों और सब्जियों की खेती की संभावना है। प्रदेश की कुल भूमि का करीब 77% खेती योग्य है। खेती योग्य भूमि का करीब 85% सिंचित है। सबसे अधिक आबादी के रूप में श्रम शक्ति और बाजार भी उपलब्ध है। इस सबकी वजह से यहां फलों और सब्जियों की खेती की भरपूर संभावना है।
निर्यात की संभावना भी बढ़ेगी
योगी सरकार का कृषि उत्पादों के निर्यात पर भी खासा जोर है। एक्सप्रेस वे का संजाल, जेवर, अयोध्या और कुशीनगर के इंटरनेशनल एयरपोर्ट और प्रयागराज से बाया वाराणसी पश्चिमी बंगाल के हल्दिया तक का देश का इकलौता जलमार्ग इन संभावनाओं को और बढ़ा देता है। भविष्य में योगी सरकार की योजना इस जलमार्ग का विस्तार अयोध्या तक करने की है। सरकार जिस तरह दादरी, गोरखपुर सहित 13 जिलों में कार्गो हब बनाने की तैयारी कर रही है उससे इनके निर्यात की संभावना और बढ़ जाएगी।
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