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उत्तर प्रदेश

रामपुर: बिखर रहा है सत्ता के दुरुपयोग से खड़ा किया आजम खां का करोड़ों का साम्राज्य

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Azam Khan with wife son

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रामपुर (उप्र)। 10 बार विधायक, एक-एक बार लोकसभा और राज्यसभा सांसद, चार बार कैबिनेट मंत्री रह चुके सपा नेता आजम खां की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। सपा सरकार में यूपी के मिनी मुख्यमंत्री के रूप में जाने वाले आजम खां के परिवार सहित जेल जाते ही उनका करोड़ों का साम्राज्य बिखरता जा रहा है।

दरअसल, आजम खां के दशकों में खड़ा किया गया करोड़ों का साम्राज्य 2017 में उनकी सत्ता जाते ही बिखरने लगा। पहले जौहर यूनिवर्सिटी की जमीन हाथ से गई और फिर धीरे-धीरे जौहर शोध संस्थान का भवन भी हाथ से चला गया। अब उनके परिवार को जेल की सलाखों के पीछे भी जाना पड़ा।

अब माध्यमिक शिक्षा विभाग की जमीन पर बने सपा कार्यालय और रामपुर पब्लिक स्कूल (RPS) से भी हाथ धोना पड़ेगा। संकट के बादल उनके यतीमखाना बस्ती में निर्माणाधीन आरपीएस की तीसरी शाखा पर भी हैं। उनका हमसफर रिजार्ट भी विवादों में घिरता रहा है।

सपा सरकार में आजम खां ने करोड़ों का साम्राज्य खड़ा किया। इस दौरान उन्होंने रामपुर में जौहर ट्रस्ट का गठन करने के बाद जौहर यूनिवर्सिटी का निर्माण कराया। जौहर यूनिवर्सिटी का शिलान्यास करने के लिए तत्कालीन मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव आए थे, जबकि उद्घाटन के लिए भी तत्कालीन मुख्यमंत्री अखिलेश यादव रामपुर आए थे। उनके साथ पूरी कैबिनेट भी रामपुर में रही थी।

2012 से 2107 के बीच की सरकार में सपा नेता आजम खां का काफी जलवा रहा था। उन्होंने रामपुर में जौहर शोध संस्थान बनवाया और उसको RPS के लिए लीज पर ले लिया। इसका किराया भी महज सौ रुपये रखा गया था।

इसके अलावा शिक्षा विभाग की जमीन को भी लीज पर लिया और फिर यहां पर RPS (गर्ल्स विंग्स) स्थापित कराया। साथ ही सपा का कार्यालय भी खोल लिया। इसके अलावा यतीमखाना बस्ती को खाली कराते हुए यहां पर आरपीएस की तीसरी शाखा खोलने की योजना बनाई। इसी तरह पान दरीबा में भी RPS की एक शाखा को खुलवाया।

आजम खां ने सत्ता का दुरुपयोग करते हुए करोड़ों रुपये का साम्राज्य स्थापित किया। मगर, सरकार जाते ही उनके लिए मुसीबत खड़ी होनी लगी। 2019 लोकसभा चुनाव के दौरान ही गलत बयानबाजी के चलते उन पर दर्जनों मुकदमे दर्ज हुए।

उनके खिलाफ कानूनी शिकंजा और उनको सवा दो साल जेल में भी रहना पड़ा। इस बीच उनके पास जौहर यूनिवर्सिटी की जमीन महज 12.50 एकड़ ही रह गई। शेष जमीन सरकारी हो गई। इसके अलावा जौहर शोध संस्थान में चल रहा स्कूल भवन भी उनसे छिन गया।

स्वार रोड पर स्थित यतीमखाना बस्ती में निर्माणाधीन आरपीएस की तीसरी शाखा भी विवादों के घेरे में है और मामला हाईकोर्ट में विचाराधीन है। अब रामपुर पब्लिक स्कूल और सपा कार्यालय की जमीन भी चली गई। कुल मिलाकर बीते छह साल में आजम का साम्राज्य धीरे-धीरे बिखरता जा रहा है।

जेल में है पूरा परिवार

इस समय आजम खां सीतापुर जेल में बंद हैं। जबकि उनके बेटे अब्दुल्ला हरदोई जेल और उनकी पत्नी तजीन फात्मा सीतापुर जेल में बंद हैं। सभी को अब्दुल्ला आजम के दो जन्म प्रमाणपत्र बनवाने के मामले में सजा हुई है।

उत्तर प्रदेश

महाकुम्भ 2025 के सफल आयोजन के लिए 07 हजार बसों के अलावा 550 शटल बसें संचालित करेगा परिवहन निगम

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लखनऊ/प्रयागराज। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशन में उ0प्र0 परिवहन निगम दिव्य, भव्य एवं ग्रीन महाकुम्भ मेला-2025 के सफल आयोजन के लिए 07 हजार बसों को संचालित करेगा। परिवहन निगम प्रदेश के सभी महत्वपूर्ण स्थानों से सुगम, सस्ती एवं आरामदायक सुविधायें उपलब्ध कराने के लिए कटिबद्ध है।

महाकुम्भ मेला में सड़क मार्ग से पूर्वाचल से अधिक संख्या में तीर्थयात्री आते हैं। इसके दृष्टिगत पूर्वांचल के छोटे-छोटे कस्बों से मेला स्थल को जोड़ते हुए बसों के संचालन की योजना परिवहन निगम ने तैयार की है। महिला एवं वृद्ध तीर्थयात्रियों को विशेष सुविधा प्रदान करने की योजना बनाई गयी है।

3 चरणों में संचालन

एमडी परिवहन निगम मासूम अली सरवर ने बताया कि महाकुम्भ मेला 2025 के दौरान मुख्य स्नान 13 जनवरी से 26 फरवरी, 2025 के बीच पड़ रहे, जिसमें मौनी अमावस्या का शाही स्नान 29 जनवरी एवं बसंत पंचमी का शाही स्नान 03 फरवरी, 2025 को है। महाकुम्भ 2025 के दौरान लगभग 6800 परिवहन बसें एवं लगभग 200 वातानुकूलित बसों का संचालन किये जाने की योजना है।

प्रथम चरण में 12 जनवरी से 23 जनवरी तक द्वितीय चरण में 24 जनवरी से 07 फरवरी तक एवं तीसरे चरण में 08 फरवरी से 27 फरवरी तक तीन चरणों में महाकुम्भ मेले में संचालन को बाटा गया है। निगम के कुल 19 क्षेत्रों से लगभग 165 मार्गों पर निगम की बसों का संचालन किया जायेगा।

550 शटल बसें चलाई जाएंगी

एमडी परिवहन निगम ने बताया कि बसों के अतिरिक्त 550 शटल बसें विभिन्न स्थाई एवं अस्थाई बस स्टेशनों एवं विभिन्न मार्गों पर निर्धारित वाहन पार्किंग स्थलों से संगम तट के निकट स्थित भारद्वाज पार्क एवं भारत स्काउट गाइड कालेज बैक रोड तक तथा लेप्रोसी बस स्टेशन व अंधावा बस स्टेशन तक संचालित किये जाने की योजना है।

उन्होंने बताया कि मुख्य स्नान पर्व पर शश्रद्धालुओं की अत्यधिक भीड़ बढ़ने के कारण शास्त्रीपुल, फाफामऊ पुल एवं यमुना पुल यातायात हेतु प्रतिबंधित रहने की स्थिति में शहर के बाहर कुल 08 अस्थाई बस स्टेशन गठित किये जायेंगे, जिसमें झूसी बस स्टेशन, दुर्जनपुर बस स्टेशन, सरस्वतीगेट बस स्टेशन, नेहरू पार्क बस स्टेशन, बेली कछार बस स्टेशन, बेला कछार बस स्टेशन, सरस्वती हाइटेक सिटी मेनू एवं लेप्रोसी मिशन बस स्टेशन हैं।

इन मार्गों प्रभाग संचालन

एमडी ने बताया कि झूसी बस स्टेशन से दोहरी घाट, बड़हलगंज, गोला, उरूवा, खजनी, सीकरीगंज, गोरखपुर मार्ग, आजमगढ़-बलिया-मऊ व सम्बद्ध मार्ग के लिए बसों का संचालन किया जायेगा। दुर्जनपुर बस स्टेशन का उपयोग झूसी बस स्टेशन की बसों का संचालन मेला प्रशासन द्वारा रोके जाने पर किया जायेगा।

इसी प्रकार सरस्वतीगेट बस स्टेशन से बदलापुर, शाहगंज, टांडा व सम्बद्ध मार्ग एवं वाराणसी एवं संबद्ध मार्ग के लिए बसों का संचालन किया जायेगा, नेहरू पार्क बस स्टेशन से कानपुर एवं कौशाम्बी को संबद्ध मार्ग के लिए, बेला कछार बस स्टेशन से रायबरेली लखनऊ व संबद्ध मार्ग एवं फैजाबाद, अयोध्या, गोण्डा, बस्ती, बहराइच व संबद्ध मार्ग के लिए, सरस्वती हाइटेक सिटी नैनी से विन्ध्यांचल, मिर्जापुर, शक्तिनगर व संबद्ध मार्ग के लिए, लैप्रोसी मिशन बस स्टेशन से बांदा-चित्रकूट व संबद्ध मार्ग एवं रीवा-सीधी व संबद्ध मार्ग के लिए संचालन किया जायेगा।
नेहरू पार्क बस स्टेशन पर बसों का संचालन मेला प्रशासन द्वारा रोके जाने पर बसों का संचालन बेली कछार बस स्टेशन से किया जायेगा।

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