उत्तर प्रदेश
लंबी दूरी के एक्सप्रेस-वे के साथ ही लिंक एक्सप्रेस-वे का भी जाल बुन रही योगी सरकार
लखनऊ, । सात साल पहले अच्छी फोर लेन सड़कों के लिए तरसने वाला उत्तर प्रदेश आज आधा दर्जन से अधिक एक्सप्रेस-वे (ई-वे) के जरिए द्रुत गति से सूबे के जिलों को आपस में कनेक्ट कर रहा है। प्रदेश की सत्ता संभालने के बाद बीते सात साल में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दिशा-निर्देश में यूपी में ई-वे का लंबा जाल बिछ चुका है। इसके साथ ही लिंक ई-वे और संपर्क ई-वे की भी बड़ी शृंखला प्रदेश में कायम हो रही है, जिनके जरिए छोटे जनपदों को भी बड़े ई-वे के साथ जोड़ा जा रहा है। इससे जहां यात्रा तो आरामदायक होगी ही, साथ ही सफर की देरी भी घटेगी।
चार्जिंग स्टेशन और जनसुविधा केंद्रों को किया जाएगा विकसित
प्रदेश में इस वक्त बलिया लिंक ई-वे (131 किमी) के अलावा चित्रकूट लिंक ई-वे (15.20 किमी), आगरा लखनऊ ई-वे से पूर्वांचल ई-वे तक लिंक एक्सप्रेस-वे (61.60 किमी), गंगा एक्सप्रेस-वे से आगरा एक्सप्रेस-वे वाया फर्रुखाबाद लिंक एक्सप्रेस-वे (93 किमी), यमुना एक्सप्रेस वे से गंगा एक्सप्रेस-वे वाया बुलंदशहर लिंक एक्सप्रेस-वे (84 किमी) निर्माणाधीन या प्रस्तावित हैं। इन लिंक ई-वे के किनारों पर जहां सोलर पार्क डेवलप किये जाएंगे, वहीं इलेक्ट्रिक वाहन चार्जिंग स्टेशन और जनसुविधा केंद्रों को भी विकसित किया जाएगा।
शुरुआत में 4 और 6 लेन के होंगे लिंक एक्सप्रेस-वे
योगी सरकार प्रदेश में बेहतर कनेक्टिविटी के लिए एक्सप्रेस-वे और लिंक एक्सप्रेस-वे का जाल बुन रही है। बात बलिया लिंक एक्सप्रेस-वे की करें तो यह गाजीपुर से बलिया के बीच की दूरी तय करेगी। इसके लिए 1600 करोड़ रुपए एनएचएआई द्वारा उपलब्ध कराए गये हैं। वहीं चित्रकूट लिंक एक्सप्रेस-वे जो कि शुरुआत में 4 लेन का होगा और जिसे आगे चलकर 6 लेन का बनाया जाएगा। ये बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे को अहमदगंज से जोड़ेगा। वहीं आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे को पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे से जोड़ने वाला लिंक एक्सप्रेस-वे शुरुआत में 6 लेन का होगा, जिसे आगे चलकर 8 लेन का बनाया जाएगा। 61.60 किलोमीटर लंबे इस लिंक एक्सप्रेस-वे की लागत तकरीबन 45 सौ करोड़ रुपए होगी।
65 सौ करोड़ से तैयार होगा फर्रुखाबाद लिंक ई-वे
इसी प्रकार आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे से निर्माणाधीन गंगा एक्सप्रेस-वे के बीच वाया फर्रुखाबाद लिंक एक्सप्रेस-वे भी शुरुआत में 6 लेन का होगा, जिसे आगे चलकर 8 लेन का बनाया जाना है। 93 किलोमीटर लंबे इस लिंक एक्सप्रेस-वे की अनुमानित लागत 65 सौ करोड़ रुपए आंकी गई है। ऐसे ही जेवर एयरपोर्ट से निर्माणाधीन गंगा एक्सप्रेस-वे को जोड़ने वाले बुंदेलखंड लिंक एक्सप्रेस-वे की लंबाई भी 84 किलोमीटर होगी, जिसके निर्माण पर 6 हजार करोड़ की लागत आएगी।
IANS News
वसुधैव कुटुंबकम’ भारत का शाश्वत संदेश : योगी आदित्यनाथ
लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ‘वसुधैव कुटुंबकम’ के आदर्श वाक्य के महत्व पर जोर देते हुए इसे भारत की वैश्विक मानवता के प्रति प्रतिबद्धता का प्रतीक बताया है। उन्होंने इसे भारत का शाश्वत संदेश बताते हुए कहा कि हमने हमेशा से शांति, सौहार्द और सह-अस्तित्व को प्राथमिकता दी है। सीएम योगी ने यह बात शुक्रवार को एलडीए कॉलोनी, कानपुर रोड स्थित सिटी मॉन्टेसरी स्कूल (सीएमएस) के वर्ल्ड यूनिटी कन्वेंशन सेंटर में विश्व के मुख्य न्यायाधीशों के 25वें अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का उद्घाटन करने के दौरान अपने संबोधन में कही। कार्यक्रम में 56 देशों के 178 मुख्य न्यायाधीश और डेलिगेट्स ने भाग लिया।
‘अनुच्छेद 51 की भावनाओं को विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक’
अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने भारत के संविधान के अनुच्छेद 51 की भावनाओं को विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक बताया। उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद सम्मानजनक अंतरराष्ट्रीय संबंधों को विकसित करने और संघर्षों को शांतिपूर्ण ढंग से हल करने के लिए नैतिक मार्ग का अनुसरण करने के लिए हम सभी को प्रेरित करता है। उन्होंने समारोह को प्रेरणादायक बताते हुए कहा कि 26 नवंबर 2024 को संविधान अंगीकरण के 75 वर्ष पूरे होंगे। यह संविधान के अंगीकृत होने के अमृत महोत्सव वर्ष की शुरुआत के दौरान आयोजित हो रहा है।
‘युद्ध समस्याओं का समाधान नहीं है’
योगी आदित्यनाथ ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा संयुक्त राष्ट्र के ‘समिट ऑफ दि फ्यूचर’ में दिये गये संबोधन की चर्चा करते हुए कहा कि युद्ध समस्याओं का समाधान नहीं है। युद्ध ने दुनिया के ढाई अरब बच्चों के भविष्य को खतरे में डाला है। उन्होंने दुनिया के नेताओं से आग्रह किया कि वे एकजुट होकर आने वाली पीढ़ियों के लिए स्वच्छ, सुरक्षित और भयमुक्त समाज का निर्माण करें। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सम्मेलन को वैश्विक संवाद और सहयोग का मंच बताते हुए विश्वास व्यक्त किया कि अनुच्छेद 51 की भावना के अनुरूप यह आयोजन विश्व कल्याण के मार्ग को प्रशस्त करेगा। उन्होंने दुनिया भर के न्यायाधीशों से इस दिशा में सक्रिय योगदान देने का भी आह्वान किया।
‘भारत विश्व शांति और सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध’
मुख्यमंत्री ने संविधान के अनुच्छेद 51 की चर्चा करते हुए कहा कि यह वैश्विक शांति और सौहार्द की दिशा में भारत की सोच को दर्शाता है। उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद संघर्षों के शांतिपूर्ण समाधान और सभी देशों के बीच सम्मानजनक संबंधों को बढ़ावा देने का संदेश देता है। मुख्यमंत्री ने भारत की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए कहा कि संयुक्त राष्ट्र जैसे अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत की सक्रिय भागीदारी से यह स्पष्ट होता है कि भारत विश्व शांति और सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध है।
सीएमएस के संस्थापक को दी श्रद्धांजलि
सीएमएस के संस्थापक डॉ. जगदीश गांधी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी दूरदृष्टि और प्रयासों से यह सम्मेलन एक महत्वपूर्ण मंच बना है। उन्होंने डॉ. भारती गांधी और गीता गांधी को इस कार्यक्रम को अनवरत जारी रखने के लिए धन्यवाद दिया।
इस अवसर पर हंगरी की पूर्व राष्ट्रपति, हैती रिपब्लिक के पूर्व प्रधानमंत्री सहित दुनिया के 56 देशों से आए हुए न्यायमूर्तिगण, सीएमएस की संस्थापक निदेशक डॉ भारती गांधी, प्रबंधक गीता गांधी किंगडन समेत स्कूली बच्चे और अभिभावकगण मौजूद रहे।
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