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BPSC प्रोटेस्ट: गांधी मैदान में प्रदर्शन कर रहे प्रशांत किशोर गिरफ्तार, डीएम चंद्रशेखर सिंह बोले- नियम अनुसार हुई कार्रवाई

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पटना। बीपीएससी परीक्षा को लेकर पटना के गांधी मैदान में प्रदर्शन कर रहे प्रशांत किशोर को पुलिस ने सोमवार की सुबह गिरफ्तार कर लिया। पीके बीपीएससी की 70वीं प्रारंभिक परीक्षा को रद्द करवा री-एग्जाम की मांग लेकर दो जनवरी से आमरण अनशन पर बैठे थे। पटना जिला प्रशासन का कहना है कि प्रतिबंधित क्षेत्र में गैर-कानूनी ढंग से धरना देने के यह कार्रवाई की गई है। पटना के डीएम चंद्रशेखर सिंह ने बताया कि हम लोग नियमानुसार कार्रवाई कर रहे हैं। प्रतिबंधित क्षेत्र में धरना वाले मामले में प्रशांत किशोर की गिरफ्तार की गई है। 43 लोगों को हिरासत में लिया गया है। इनमें से 30 लोगों का वैरिफिकेशन हो चुका है।

वहीं घटना के बाद पटना के जिलाधिकारी गांधी मैदान पहुंचे। उन्होंने घटनास्थल का निरीक्षण किया और कहा कि दोबारा अगर प्रदर्शन करने की कोशिश की गई तो कड़ी कार्रवाई की जाएगी। पटना के जिलाधिकारी चंद्रशेखर सिंह और एसएसपी गांधी मैदान पहुंचे। उन्होंने प्रशांत किशोर के प्रदर्शन स्थल का निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने कहा कि पटना हाई कोर्ट के आदेश अनुसार यहां पर धरना प्रदर्शन करना मना था। इसकी जानकारी प्रशांत किशोर को कई बार दी गई थी। आज सुबह-सुबह प्रशांत किशोर की गिरफ्तारी की गई है। 43 लोगों को हिरासत में लिया गया है और 15 गाड़ियों को पकड़ा गया है। 43 लोगों में से 30 लोगों की पहचान हुई है। इसमें पांच लोग पटना से हैं और चार लोग राज्य से बाहर के भी हैं। बाकी विभिन्न जिलों से हैं।

उन्होंने कहा कि छात्र की अभी तक पहचान नहीं हो पाई है, मगर कुछ लोगों ने कहा है कि हम छात्र हैं जांच चल रही है। तीन गाड़ियां गांधी मैदान से सीज की गई हैं, जबकि 12 गाड़ियां जो प्रशासन का पीछा कर रही थीं उनको सूचित किया गया है। लोगों से पटना जिलाधिकारी ने अपील की कि धरना स्थल पर ही धरना करें, यहां पर नहीं। दोबारा अगर यहां पर धरना प्रदर्शन करने की कोशिश की गई तो सख्ती से निपटा जाएगा। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट में यह मामला चल गया है, जिनको समस्या है वहीं पर अपनी बात रखें।

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कौन हैं वी नारायणन, जो बनेंगे ISRO के नए अध्यक्ष

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नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने वी नारायणन को इसरो का नया अध्यक्ष और अंतरिक्ष विभाग का सचिव नियुक्त किया है। वी नारायणन 14 जनवरी से ISRO के अध्यक्ष के रूप में कार्यभार संभालेंगे और साथ ही वह अंतरिक्ष विभाग के सचिव का पद भी संभालेंगे। नियुक्ति समिति के आदेश के अनुसार वी नारायणन अगले दो सालों तक या आगामी आदेश तक इन दोनों महत्वपूर्ण पदों पर काम करेंगे।

कौन हैं इसरो के नए प्रमुख?

वी नारायणन भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के एक वरिष्ठ वैज्ञानिक हैं। उनके पास रॉकेट और अंतरिक्षयान प्रणोदन के क्षेत्र में चार दशकों का व्यापक अनुभव है। वह वर्तमान में द्रव नोदन प्रणाली केंद्र (Liquid Propulsion Systems Centre, LPSC) के निदेशक के रूप में कार्यरत हैं, जो इसरो के मुख्य केंद्रों में से एक है। वी नारायणन 1984 में ISRO में शामिल हुए और लिक्विड प्रोपल्शन सिस्टम सेंटर (एलपीएससी) के निदेशक बनने से पहले विभिन्न पदों पर कार्य किया। प्रारंभिक चरण के दौरान, उन्होंने विक्रम साराभाई अंतरिक्ष केंद्र (VSSC) में साउंडिंग रॉकेट्स और संवर्धित उपग्रह प्रक्षेपण यान (ASLV) और ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान (PSLV) के ठोस प्रणोदन क्षेत्र में काम किया।

वी नारायणन ने एब्लेटिव नोजल सिस्टम, कंपोजिट मोटर केस और कंपोजिट इग्नाइटर केस की प्रक्रिया योजना, प्रक्रिया नियंत्रण और कार्यान्वयन में योगदान दिया। फिलहाल नारायणन एलपीएससी के निदेशक हैं, जो ISRO के प्रमुख केंद्रों में से एक है, जिसका मुख्यालय तिरुवनंतपुरम के वलियामला में है, जिसकी एक इकाई बेंगलुरु में है। नारायणन के पास 40 साल का अनुभव है। वे रॉकेट और स्पेसक्राफ्ट ऑपरेशन के एक्सपर्ट हैं।

14 जनवरी को रिटायर हो रहे एस सोमनाथ

ISRO के मौजूदा चेयरमैन एस. सोमनाथ ने 14 जनवरी 2022 को ISRO चेयरमैन का पद संभाला था। वे तीन साल के कार्यकाल के बाद रिटायर हो रहे हैं। उनके कार्यकाल में ISRO ने इतिहास रचा। ISRO ने न सिर्फ चांद के साउथ पोल पर चंद्रयान-3 की लैंडिंग कराई, बल्कि धरती से 15 लाख किमी ऊपर लैगरेंज पॉइंट पर सूर्य के अध्ययन के लिए आदित्य-L1 भी भेजा।

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