अन्तर्राष्ट्रीय
वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ शुरु हुआ पहला हिंदू-अमेरिकन सम्मेलन, जानें क्या है उद्देश्य
वॉशिंगटन। अमेरिका की सत्ता के केंद्र यूएस कैपिटोल हिल में अमेरिका के पहले हिंदू-अमेरिकन सम्मेलन की शुरुआत हुई। यह सम्मेलन 14 जून को हुआ, जिसका मकसद अमेरिका में रहने वाले हिंदू समुदाय की समस्याओं की तरफ अमेरिका के कानून निर्माताओं का ध्यान आकर्षित करना था। इस सम्मेलन को अमेरिकन फॉर हिंदूज का नाम दिया गया।
रिपोर्ट्स के अनुसार, इस सम्मेलन की शुरुआत वैदिक मंत्रोच्चार और प्रार्थना के साथ हुई। इस दौरान इस हिंदू सम्मेलन के संस्थापक और चेयरमैन रोमेश जापरा ने कहा कि हमारे हिंदू मूल्य पूरी तरह से अमेरिकी संविधान के साथ साझा हैं, वह भगवद गीता के साथ प्रतिध्वनित होते हैं। इसलिए हम हिंदू अमेरिकन्स को आवाज देने के लिए समर्पित हैं।
क्या है हिंदू सम्मलेन आयोजित करने का उद्देश्य
रोमेश जापरा ने बताया कि यह सम्मेलन पहली बार हो रहा है। हिंदू अमेरिकन सम्मेलन का आयोजन राजनीतिक भागीदारी के लिए हो रहा है। हमारा समुदाय कई क्षेत्रों में सक्रिय है, जैसे सांस्कृतिक, सामाजिक, आर्थिक, धार्मिक और अन्य सभी क्षेत्रों में, लेकिन राजनीति के मामले में हम बहुत पीछे हैं।
अमेरिकन फॉर हिंदूज सम्मेलन का आयोजन अमेरिकन फॉर हिंदूज पॉलिटिकल एक्शन कमेटी ने 20 अन्य डायस्पोरा के साथ मिलकर किया है। फ्लोरिडा, न्यूयॉर्क, बोस्टन, टेक्सास, शिकागो, कैलिफोर्निया आदि शहरों से करीब 130 भारतीय अमेरिकी नेता इस सम्मेलन में शिरकत करेंगे।
जापरा ने कहा कि पहली बार हम सभी हिंदू अमेरिकी नेता और 20 अलग-अलग संगठन एक साथ आए हैं। अमेरिकी संसद के स्पीकर केविन मैक्कार्थी और डेमोक्रेट और रिपब्लिकन पार्टियों के कई अन्य नेता भी इस सम्मेलन में शिरकत करेंगे ताकि हमारे नेता और आने वाली पीढ़ी भी राजनीति में सक्रिय तौर पर भागीदारी कर सके।
पीएम मोदी से मिली प्रेरणा
जापरा ने कहा कि पीएम मोदी के आगामी अमेरिका दौरे को लेकर वह बहुत उत्साहित हैं। वह भारत को दुनिया के नक्शे पर उभारने की ताकत रखते हैं। वह बहुत कुछ करने में सक्षम हैं और हमें इससे प्रेरणा मिलती है।
अन्तर्राष्ट्रीय
पीएम मोदी को मिलेगा ‘विश्व शांति पुरस्कार’
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को विश्व शांति पुरस्कार देने की घोषणा की गई है। यह पुरस्कार उन्हें अमेरिका में प्रदान किया जाएगा। इंडियन अमेरिकन माइनॉरटीज एसोसिएशन (एआइएएम) ने मैरीलैंड के स्लिगो सेवंथ डे एडवेंटिस्ट चर्च ने यह ऐलान किया है। यह एक गैर सरकारी संगठन है। यह कदम उठाने का मकसद अमेरिका में भारतीय अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों के कल्याण को प्रोत्साहित करने के लिए उन्हें एकजुट करना है। पीएम मोदी को यह पुरस्कार विश्व शांति के लिए उनके द्वारा किए जा रहे प्रयासों और समाज को एकजुट करने के लिए दिया जाएगा।
इसी कार्यक्रम के दौरान अल्पसंख्यकों का उत्थान करने के लिए वाशिंगटन में पीएम मोदी को मार्टिन लूथर किंग जूनियर ग्लोबल पीस अवार्ड से सम्मानित किया जाएगा। इस पुरस्कार को वाशिंगटन एडवेंटिस्ट यूनिवर्सिटी और एआइएएम द्वारा संयुक्त रूप से दिया जाएगा। जिसका मकसद अस्पसंख्यकों के कल्याण के साथ उनका समावेशी विकास करना भी है।
जाने माने परोपकारी जसदीप सिंह एआइएम के संस्थापक और चेयरमैन नियुक्त किए गए हैं। इसमें अल्पसंख्यक समुदाय को प्रोत्साहित करने के लिए 7 सदस्यीय बोर्ड डायरेक्टर भी हैं। इसमें बलजिंदर सिंह, डॉ. सुखपाल धनोआ (सिख), पवन बेजवाडा और एलिशा पुलिवार्ती (ईसाई), दीपक ठक्कर (हिंदू), जुनेद काजी (मुस्लिम) और भारतीय जुलाहे निस्सिम रिव्बेन शाल है।
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