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उत्तर प्रदेश

मुख्यमंत्री योगी बोले- राजस्व संग्रह में लापरवाही पड़ेगी भारी, हर स्तर पर तय होगी जवाबदेही

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● मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने मंगलवार को एक उच्चस्तरीय बैठक में चालू वित्तीय वर्ष में कर-करेत्तर राजस्व प्राप्तियों की अद्यतन स्थिति की समीक्षा की। मुख्यमंत्री जी ने बारी-बारी से जीएसटी, वैट, आबकारी, स्टाम्प एवं पंजीयन, परिवहन, भू-राजस्व और ऊर्जा में राजस्व संग्रह के लक्ष्य और उसके सापेक्ष प्राप्तियों का विवरण प्राप्त किया। साथ ही विभागीय अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। इस अवसर पर वित्त मंत्री सुरेश खन्ना, आबकारी मंत्री नितिन अग्रवाल और स्टाम्प एवं पंजीयन मंत्री रवीन्द्र जायसवाल की उपस्थिति भी रही।

बैठक में मुख्यमंत्री जी द्वारा दिये गए प्रमुख दिशा-निर्देश

● नियोजित प्रयासों से प्रदेश के कर-करेत्तर राजस्व संग्रह में सतत वृद्धि हो रही है। वर्तमान वित्तीय वर्ष में 2 लाख 70 हजार करोड़ के राजस्व संग्रह के लक्ष्य के सापेक्ष अक्टूबर तक विविध माध्यमों से ₹1.16 लाख करोड़ से अधिक की राजस्व प्राप्ति हुई है। इसमें जीएसटी/वैट से लगभग ₹64 हजार करोड़, एक्साइज टैक्स के रूप में ₹26 हजार करोड़, स्टाम्प एवं पंजीयन से ₹17700 करोड़, खनन से 2000 करोड़ तथा परिवहन से ₹6,300 करोड़ से अधिक का संग्रहित कर राजस्व सम्मिलित है। यह स्थिति संतोषजनक कही जा सकती है। यह जनता से एकत्रित राशि है जो प्रदेश के विकास में, जनता के हित में, लोक कल्याणकारी कार्यों में व्यय होगी।

● राजस्व संग्रह बढ़ाने के लिए हमें नए स्रोत भी बनाने चाहिए। हर जिले को दिए गए टारगेट की साप्ताहिक, पाक्षिक और मासिक समीक्षा करें। राजस्व संग्रह बढ़ोतरी के लिए किए गए प्रयासों के आधार पर हर एक अधिकारी की रिपोर्ट तैयार करें।

● लगातार प्रयासों से आज प्रदेश में 31 लाख से अधिक GST पंजीकृत व्यापारी हैं। इसे और बढ़ाया जाना चाहिए। प्रदेश में अपार संभावनाएं हैं, उसका लाभ उठाने की आवश्यकता है। अधिकारियों की जवाबदेही तय करें। पोस्टिंग मेरिट के आधार पर ही होनी चाहिए।

● जीएसटी की चोरी/अपवंचन की कोशिशों को रोकने के लिए सजगता बढ़ाये जाने की जरूरत है। विशेष अनुशासनिक इकाइयों और सचल दल इकाइयों की सक्रियता और बढ़ाये जाने की जरूरत है। यद्यपि हाल के समय में इनकी सजगता से कर चोरी/अपवंचन पर प्रभावी रोक लगाने में सफलता मिली है। फिर भी अभी कार्यशैली में व्यापक सुधार की जरूरत है।

● राजस्व बढ़ोतरी में एक्साइज विभाग की बड़ी भूमिका है। जिलेवार टारगेट की साप्ताहिक समीक्षा करें। जहां भी लापरवाही हो रही हो, संबंधित अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई में देर न करें। यह सुनिश्चित कराएं कि डिस्टिलरी में जीरो लिक्विड डिस्चार्ज हो। नदियां इनके वेस्ट से प्रदूषित न हों। इण्डस्ट्री से संवाद करें, तकनीक अपनाने के लिए प्रेरित करें।

● अवैध मदिरा/कच्ची शराब बनाने और बेचने की गतिविधियों को बंद करने में हमें सफलता मिली है। ऐसी गतिविधियों पर कार्रवाई लगातार जारी रखी जानी चाहिए। दूसरे प्रदेशों से अनधिकृत मदिरा प्रदेश में न आने पाए, इसके लिए हर समय एक्टिव रहना होगा। राजस्व संग्रह लक्ष्य के सापेक्ष आबकारी विभाग द्वारा और बेहतर प्रयास किया जाना अपेक्षित है।

● सामान्य जन की जरूरतों को दृष्टिगत रखते हुए स्टाम्प एवं निबंधन से जुड़े नियमों को और सरल बनाया जाना चाहिए। बिल्डर-बायर्स के बीच समस्याओं का समाधान तेजी के साथ किया जाए। आवास विकास, विकास प्राधिकरण अथवा निजी बिल्डर, जहां कहीं भी रजिस्ट्री लंबित है, दोनों पक्षों से संवाद कर हल निकालें। हमें हर एक बायर के हितों की सुरक्षा करनी है। बायर को उसके फ्लैट की रजिस्ट्री समय से मिलनी चाहिए। इसके लिए हर आवश्यक कदम उठाए जाएं। रजिस्ट्री से राजस्व बढ़ाने, नए विकल्पों पर भी विचार किया जाए।

● बिना परमिट/बिना फिटनेस एक भी वाहन सड़क पर नहीं आनी चाहिए। दुर्घटनाओं को कम करने के लिए जागरूकता बढाएं।

● खनन सत्र प्रारंभ हो चुका है। अवैध खनन, ओवरलोडिंग की गतिविधियों पर सख्ती से रोक लगाई जाएं। खनन में काफी पोटेंशियल है, इसे पहचानें और राजस्व बढ़ाने के प्रयास करें।

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उत्तर प्रदेश

महाकुम्भ 2025 के सफल आयोजन के लिए 07 हजार बसों के अलावा 550 शटल बसें संचालित करेगा परिवहन निगम

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लखनऊ/प्रयागराज। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशन में उ0प्र0 परिवहन निगम दिव्य, भव्य एवं ग्रीन महाकुम्भ मेला-2025 के सफल आयोजन के लिए 07 हजार बसों को संचालित करेगा। परिवहन निगम प्रदेश के सभी महत्वपूर्ण स्थानों से सुगम, सस्ती एवं आरामदायक सुविधायें उपलब्ध कराने के लिए कटिबद्ध है।

महाकुम्भ मेला में सड़क मार्ग से पूर्वाचल से अधिक संख्या में तीर्थयात्री आते हैं। इसके दृष्टिगत पूर्वांचल के छोटे-छोटे कस्बों से मेला स्थल को जोड़ते हुए बसों के संचालन की योजना परिवहन निगम ने तैयार की है। महिला एवं वृद्ध तीर्थयात्रियों को विशेष सुविधा प्रदान करने की योजना बनाई गयी है।

3 चरणों में संचालन

एमडी परिवहन निगम मासूम अली सरवर ने बताया कि महाकुम्भ मेला 2025 के दौरान मुख्य स्नान 13 जनवरी से 26 फरवरी, 2025 के बीच पड़ रहे, जिसमें मौनी अमावस्या का शाही स्नान 29 जनवरी एवं बसंत पंचमी का शाही स्नान 03 फरवरी, 2025 को है। महाकुम्भ 2025 के दौरान लगभग 6800 परिवहन बसें एवं लगभग 200 वातानुकूलित बसों का संचालन किये जाने की योजना है।

प्रथम चरण में 12 जनवरी से 23 जनवरी तक द्वितीय चरण में 24 जनवरी से 07 फरवरी तक एवं तीसरे चरण में 08 फरवरी से 27 फरवरी तक तीन चरणों में महाकुम्भ मेले में संचालन को बाटा गया है। निगम के कुल 19 क्षेत्रों से लगभग 165 मार्गों पर निगम की बसों का संचालन किया जायेगा।

550 शटल बसें चलाई जाएंगी

एमडी परिवहन निगम ने बताया कि बसों के अतिरिक्त 550 शटल बसें विभिन्न स्थाई एवं अस्थाई बस स्टेशनों एवं विभिन्न मार्गों पर निर्धारित वाहन पार्किंग स्थलों से संगम तट के निकट स्थित भारद्वाज पार्क एवं भारत स्काउट गाइड कालेज बैक रोड तक तथा लेप्रोसी बस स्टेशन व अंधावा बस स्टेशन तक संचालित किये जाने की योजना है।

उन्होंने बताया कि मुख्य स्नान पर्व पर शश्रद्धालुओं की अत्यधिक भीड़ बढ़ने के कारण शास्त्रीपुल, फाफामऊ पुल एवं यमुना पुल यातायात हेतु प्रतिबंधित रहने की स्थिति में शहर के बाहर कुल 08 अस्थाई बस स्टेशन गठित किये जायेंगे, जिसमें झूसी बस स्टेशन, दुर्जनपुर बस स्टेशन, सरस्वतीगेट बस स्टेशन, नेहरू पार्क बस स्टेशन, बेली कछार बस स्टेशन, बेला कछार बस स्टेशन, सरस्वती हाइटेक सिटी मेनू एवं लेप्रोसी मिशन बस स्टेशन हैं।

इन मार्गों प्रभाग संचालन

एमडी ने बताया कि झूसी बस स्टेशन से दोहरी घाट, बड़हलगंज, गोला, उरूवा, खजनी, सीकरीगंज, गोरखपुर मार्ग, आजमगढ़-बलिया-मऊ व सम्बद्ध मार्ग के लिए बसों का संचालन किया जायेगा। दुर्जनपुर बस स्टेशन का उपयोग झूसी बस स्टेशन की बसों का संचालन मेला प्रशासन द्वारा रोके जाने पर किया जायेगा।

इसी प्रकार सरस्वतीगेट बस स्टेशन से बदलापुर, शाहगंज, टांडा व सम्बद्ध मार्ग एवं वाराणसी एवं संबद्ध मार्ग के लिए बसों का संचालन किया जायेगा, नेहरू पार्क बस स्टेशन से कानपुर एवं कौशाम्बी को संबद्ध मार्ग के लिए, बेला कछार बस स्टेशन से रायबरेली लखनऊ व संबद्ध मार्ग एवं फैजाबाद, अयोध्या, गोण्डा, बस्ती, बहराइच व संबद्ध मार्ग के लिए, सरस्वती हाइटेक सिटी नैनी से विन्ध्यांचल, मिर्जापुर, शक्तिनगर व संबद्ध मार्ग के लिए, लैप्रोसी मिशन बस स्टेशन से बांदा-चित्रकूट व संबद्ध मार्ग एवं रीवा-सीधी व संबद्ध मार्ग के लिए संचालन किया जायेगा।
नेहरू पार्क बस स्टेशन पर बसों का संचालन मेला प्रशासन द्वारा रोके जाने पर बसों का संचालन बेली कछार बस स्टेशन से किया जायेगा।

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