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उत्तर प्रदेश

चलो प्रयागराज, महाकुम्भ चलें, महाकुंभ -2025 को समर्पित गीत का विमोचन

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महाकुम्भ नगर। तीर्थराज प्रयागराज में महाकुम्भ 2025 के आयोजन को लेकर प्रयागराज रेल मण्डल कोई कोर कसर बाकी नहीं रख रहा है। इसी क्रम में प्रयागराज मण्डल रेल प्रबंधक, हिमांशु बडोनी ने मण्डल कार्यालय में महाकुंभ -2025 के लिए थीम सॉन्ग का विमोचन किया गया । प्रयागराज की सांस्कृतिक और आध्यात्म को समर्पित इस थीम सॉन्ग को संगीतकार साईं ब्रदर्स आशित और आरव ने लिखा, रचा और गाया है। इस थीम सॉन्ग में प्रयागराज के आध्यात्मिक, सांस्कृतिक और ऐतिहासिक पहलुओं को संगीतबद्ध किया गया है ।

महाकुम्भ थीम सांग,चलो प्रयागराज महाकुम्भ चलें

प्रयागराज के साईं ब्रदर्स के 12 वर्षीय आशित और 7 वर्षीय आरव ने रचा और गाया है। यह गीत प्रयागराज के सांस्कृतिक और आध्यात्मिक महत्त्व को समर्पित है। गीत के विमोचन के अवसर पर रेलवे के अन्य वरिष्ठ अधिकारी और कर्मचारी उपस्थित थे।

आस्था और श्रद्धा की आवाज

मण्डल रेल प्रबंधक ने संगीतकार साईं ब्रदर्स की सराहना करते हुए कहा कि यह बच्चे कई बड़े मंचों पर प्रस्तुति देकर अपनी प्रतिभा का परिचय पहले ही दे चुके हैं। उन्होंने ने बताया कि साईं ब्रदर्स के असित ने उत्तर प्रदेश संगीत नाट्य अकादमी में आयोजित शास्त्रीय संगीत प्रतियोगिता में प्रथम स्थान हासिल किया था। उनका बनाया यह थीम सॉन्ग प्रयागराज के गौरवशाली इतिहास और महाकुम्भ की महिमा को दर्शाने वाला एक अनमोल उपहार है। इसे सुनकर देश-विदेश से आने वाले श्रद्धालु प्रयागराज की सांस्कृतिक और आध्यात्मिक धरोहर से परिचित होंगे। यह गीत श्रद्धालुओं की तीर्थराज प्रयाग और मां गंगा, यमुना, सरस्वती की त्रिवेणी के प्रति आस्था और श्रद्धा की आवाज है। महाकुंभ -2025 को समर्पित यह गीत महाकुंभ मेले के विशाल आयोजन को उद्घोषित करता है। महाकुम्भ मेले में आने वाले श्रद्धालुओं और पर्यटकों को आध्यात्मिकता और आस्था के एक अनूठे अनुभव की अनुभूति भी करवाएगा।

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उत्तर प्रदेश

शाहजहांपुर: चाइनीज मांझे से सिपाही की गर्दन कटी, बीच रोड पर तड़प-तड़पकर हुई मौत, खून से लाल हो गई सड़क

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शाहजहांपुर। उत्तर प्रदेश के शाहजहांपुर में एक दिल दहला देने वाला मामला सामने आया है। यहां ड्यूटी पर जा रहे सिपाही की गर्दन पतंग के चाइनीज मांझे से कट गई, जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई। मृतक सिपाही का नाम शाहरुख हसन है।

शाहरुख़ अपनी बाइक से विभागीय काम से जा रहे थे। इसी दौरान उनके गले में मांझा फंस गया और वह नीचे गिर गए। आनन-फानन में स्थानीय लोग उन्हें अस्पताल लेकर पहुंचे, जहां डॉक्टरों ने जांच के बाद सिपाही को मृत घोषित कर दिया। मृतक सिपाही अभियोजन कार्यालय में तैनात थे और वह विभागीय काम से अजीजगंज स्थित राजकीय मेडिकल कॉलेज जा रहे थे। इसी दौरान गर्रा नदी पुल पर उनके गले में चाईनीज मांझे की डोर अटक गई। शाहरुख ने मांझे को बहुत हटाने की कोशिश की, लेकिन वह हटने की जगह और ज्यादा गले में धंसता चला गया।

वहां मौजूद एक चश्मदीद राकेश का कहना है कि वह दुकान पर बाहर की तरफ खड़ा था. तभी गर्रा पुल से ढलान की ओर रोड क्रॉस करते हुए सिपाही आ रहे थे तभी उसकी गर्दन मांझे में फंस गई जबकि मांजा एक बच्चा दूसरी साइड से खींच रहा था, जिससे उनकी गर्दन और कटतीं चली गई।

घटना की जानकारी मिलते ही डीएम धर्मेंद्र प्रताप सिंह एवं एसपी राजेश एस सहित नगर मजिस्ट्रेट व अन्य अधिकारियों ने जिला अस्पताल पहुंच कर घटना की जानकारी ली। जिलाधिकारी ने कहा है कि विशेष अभियान चलाकर चाइनीज मांझे की बिक्री करने वालों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई अमल में लाई जाएगी। उन्होंने लोगों से अपील भी की है कि किसी भी तरह से पतंगबाजी के लिए चाइनीज मांझे का उपयोग न करें और न ही इसकी खरीद बिक्री करें।

गौरतलब है कि चाइनीज मांझे पर पहले से ही प्रतिबंध है, लेकिन इसके बावजूद इसका धड़ल्ले से इस्तेमाल हो रहा है, जो अब जानलेवा साबित हो रहा है प्रशासन ने घटना की जांच के आदेश दे दिए हैं और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की बात कही है।

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