नई दिल्ली। अगर कोई आपसे पूछे की दुनिया का सबसे कठोर जीव कौन सा है तो शायद कुछ ही लोग इस सवाल का जवाब दे सकेंगे। आज हम आपको एक ऐसे जीव के बारे मे बताने जा रहे हैं जो वैज्ञानिकों के प्रयोग में दुनिया का सबसे कठोर जीव माना गया है।
हम बात कर रहे हैं Tardigrades की। ये जीव दिखने में काफी छोटे हैं। लेकिन वैज्ञानिक प्रयोग में काफी शक्तिशाली पाए गए हैं। टार्डिग्रेड्स न केवल उबले हुए पानी में जीवित रह सकते हैं बल्कि ये जीव गहरे समुद्र की खाई के नीचे, ठंड में और अंतरिक्ष के अंधेरे में भी जीवित रहने में सक्षम हैं।
साल 2007 में वैज्ञानिकों ने हजारों टार्डिग्रेड्स को सैटेलाइट में डालकर स्पेस में भेज दिया। जब ये स्पेसक्राफ्ट धरती पर लौटा, तो देखा गया कि टार्डिग्रेड्स जीवित थे। यहां तक कि मादा टार्डिग्रेड ने अंडे भी दे रखे थे। वैज्ञानिकों के मुताबिक इस जीव के अंदर ‘पैरामैक्रोबियोटस’ नामक जीन पाया जाता है।
पैरामैक्रोबियोटस एक सुरक्षात्मक फ्लोरोसेंट ढाल है, जो अल्ट्रा वॉयलेट रेडिएशन का विरोध करता है। यह जीन हानिकारक पराबैंगनी विकिरण को अवशोषित कर उसे हानिरहित नीली रोशनी के रूप में वापस बाहर निकालता है। वहीं सामान्य जीव इन हानिकारक किरणों के बीच महज 15 मिनट तक ही जिंदा रह सकते हैं। टार्डिग्रेड्स का शरीर मोटा और लंबा होता है जिसके 8 पैर होते हैं। इन्हें कीड़े और क्रस्टेशियंस से रिलेट कर सकते हैं। लेकिन ये थोड़े सूअरों या भालू की तरह दिखते हैं। जिन्हें वॉटर बियर भी कहा जाता है।