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जीएसटी विधेयक बजट सत्र में पारित होने की उम्मीद : जेटली

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जीएसटी विधेयक बजट सत्र में पारित होने की उम्मीद, केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली, 'एडवासिंग एशिया' सम्मेलन

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जीएसटी विधेयक बजट सत्र में पारित होने की उम्मीद, केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली, 'एडवासिंग एशिया' सम्मेलन

नई दिल्ली| वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) और दिवालिया विधेयक के बजट सत्र के दूसरे हिस्से में संसद में पारित हो जाने की उम्मीद है। यह बात रविवार को केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कही। उन्होंने ‘एडवासिंग एशिया’ सम्मेलन में यहां कहा, “संसद के वर्तमान सत्र में दो दिन पहले दो महत्वपूर्ण विधेयक पारित हो चुके हैं। मुझे उम्मीद है कि बजट सत्र के दूसरे हिस्से में दिवालिया और जीएसटी संबंधी दो विधेयकों भी पारित हो जाएंगे।” मंत्री ने कहा, “मुझे लगता है कि इससे सुधार की प्रक्रिया में और गति मिलेगी।”

उन्होंने कहा, “अब हम कानूनी बदलाव और बैंकिंग प्रणाली की मजबूती के लिए संसाधन जुटाने तथा दोनों पर विशेष जोर देने की कोशिश कर रहे हैं। मुझे विश्वास है कि संरचनागत बदलाव के लिए अगले कुछ महीने बहुत महत्वपूर्ण होने वाले हैं।” गत सप्ताह संसद में आधार विधेयक पारित हो गया। जीएसटी विधेयक लोकसभा में पारित हो चुका है, लेकिन राज्यसभा में बहुमत के अभाव में यह लंबित है।

नेशनल

ऑनलाइन फूड ऑर्डरिंग ऐप को मनमानी करने पर 103 के बदले देने पड़ेंगे 35,453 रु, जानें क्या है पूरा मामला

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हैदराबाद। ऑनलाइन फूड ऑर्डरिंग ऐप स्विगी को ग्राहक के साथ मनमानी करना भारी पड़ गया। कंपनी की इस मनमानी पर एक कोर्ट ने स्विगी पर तगड़ा जुर्माना ठोक दिया। हैदराबाद के निवासी एम्माडी सुरेश बाबू की शिकायत पर उपभोक्ता आयोग ने बड़ा फैसला सुनाया है। बाबू ने आरोप लगाया था कि स्विगी ने उनके स्विगी वन मेंबरशिप के लाभों का उल्लंघन किया और डिलीवरी Food Delivery की दूरी को जानबूझकर बढ़ाकर उनसे अतिरिक्त शुल्क वसूला

क्या है पूरा मामला ?

सुरेश बाबू ने 1 नवंबर, 2023 को स्विगी से खाना ऑर्डर किया था। सुरेश के लोकेशन और रेस्टॉरेंट की दूरी 9.7 किमी थी, जिसे स्विगी ने बढ़ाकर 14 किमी कर दिया था। दूरी में बढ़ोतरी की वजह से सुरेश को स्विगी का मेंबरशिप होने के बावजूद 103 रुपये का डिलीवरी चार्ज देना पड़ा। सुरेश ने आयोग में शिकायत दर्ज कराते हुए कहा कि स्विगी वन मेंबरशिप के तहत कंपनी 10 किमी तक की रेंज में फ्री डिलीवरी करने का वादा किया था।कोर्ट ने बाबू द्वारा दिए गए गूगल मैप के स्क्रीनशॉट्स और बाकी सबूतों की समीक्षा की और पाया कि दूरी में काफी बढ़ोतरी की गई है।

कोर्ट ने स्विगी को अनुचित व्यापार व्यवहार का दोषी पाया और कंपनी को आदेश दिया कि वे सुरेश बाबू को 9 प्रतिशत ब्याज के साथ 350.48 रुपये के खाने का रिफंड, डिलीवरी के 103 रुपये, मानसिक परेशानी और असुविधा के लिए 5000 रुपये, मुकदमे की लागत के लिए 5000 रुपए समेत कुल 35,453 रुपये का भुगतान करे।

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