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उत्तराखंड

उत्तराखंड सीएम ने हरबर्टपुर क्रिश्चियन हॉस्पिटल के आईपी भवन का किया उद्घाटन

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देहरादून। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने शनिवार को हरबर्टपुर क्रिश्चियन हास्पिटल के आईपी भवन का उद्घाटन किया। इस अवसर पर उन्होंने अस्पताल की स्मृतियों पर आधारित पुस्तिका का विमोचन भी किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि लेहमन अस्पताल के नाम से प्रसिद्ध यह अस्पताल काफी लम्बे समय से राज्य के लोगों को स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध करा रहा है। इस अस्पताल में उत्तराखण्ड से ही नहीं, बल्कि हिमाचल प्रदेश, हरियाणा व अन्य राज्यों से भी मरीज यहां इलाज के लिए आते हैं। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि लेहमन अस्पताल के आन्तरिक मार्गों का सुदृढ़ीकरण किया जायेगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराने के लिए प्रयत्नशील है। पिछले वर्षों में राज्य में डॉक्टरों की सख्या 1087 से बढ़कर 2100 से अधिक हो गई है। राज्य के सभी 23 लाख परिवारों को अटल आयुष्मान उत्तराखण्ड योजना लागू की गई है। इसके तहत प्रत्येक परिवार को 05 लाख रूपये तक की निःशुल्क स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। अब तक 70 हजार से अधिक लोग इस योजना का लाभ ले चुके हैं। राज्य में 47 अस्पतालों में टेलीमेडिसिन व टेलीरेडियोलॉजी की सुविधा उपलब्ध कराई गई है। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि स्वास्थ्य सुविधाओं के लिए आधुनिक तकनीक के उपयोग पर अधिक फोकस किया जा रहा है। प्रदेश के दूरस्थ क्षेत्रों के लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराने के लिए पर्वतीय क्षेत्रों में डॉक्टरों की तैनाती की गई है।

विधायक मुन्ना सिंह चौहान ने कहा कि लेहमन अस्पताल ने दुर्गम क्षेत्रों के अलावा गरीब तबके के लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। आपातकालीन स्थिति व आपदा जैसी परिस्थितियों में अस्पताल प्रशासन का सराहनीय सहयोग रहा है। इस अवसर पर विधायक श्री जार्ज आईवान ग्रेगरी मैन, एक्जीक्यूटिव डायरेक्टर ईएचए डॉ सुनील गोकावी, हरबर्टपुर क्रिश्चियन हॉस्प्टिल मैनेजिंग डयरेक्टर डॉ मैथ्यू सेमुअल आदि उपस्थित थे।

उत्तराखंड

शीतकाल की शुरू होते ही केदारनाथ धाम के कपाट बंद

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उत्तराखंड। केदारनाथ धाम में भाई दूज के अवसर पर श्रद्धालुओं के लिए शीतकाल का आगमन हो चुका है। बाबा केदार के कपाट रविवार सुबह 8.30 बजे विधि-विधान के साथ बंद कर दिए गए। इसके साथ ही इस साल चार धाम यात्रा ठहर जाएगी। ठंड के इस मौसम में श्रद्धालु अब अगले वर्ष की प्रतीक्षा करेंगे, जब कपाट फिर से खोलेंगे। मंदिर के पट बंद होने के बाद बाबा की डोली शीतकालीन गद्दीस्थल की ओर रवाना हो गई है।इसके तहत बाबा केदार के ज्योतिर्लिंग को समाधिरूप देकर शीतकाल के लिए कपाट बंद किए गए। कपाट बंद होते ही बाबा केदार की चल उत्सव विग्रह डोली ने अपने शीतकालीन गद्दीस्थल, ओंकारेश्वर मंदिर, उखीमठ के लिए प्रस्थान किया।

बता दें कि हर साल शीतकाल की शुरू होते ही केदारनाथ धाम के कपाट बंद कर दिया जाते हैं. इसके बाद बाबा केदारनाथ की डोली शीतकालीन गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मंदिर ऊखीमठ के लिए रवाना होती है. अगले 6 महीने तक बाबा केदार की पूजा-अर्चना शीतकालीन गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मंदिर ऊखीमठ में ही होती है.

उत्तरकाशी ज़िले में स्थिति उत्तराखंड के चार धामों में से एक गंगोत्री में मां गंगा की पूजा होती है। यहीं से आगे गोमुख है, जहां से गंगा का उदगम है। सबसे पहले गंगोत्री के कपाट बंद हुए हैं। अब आज केदारनाथ के साथ-साथ यमुनोत्री के कपाट बंद होंगे। उसके बाद आखिर में बदरीनाथ धाम के कपाट बंद किए जाएंगे।

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