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दिल्ली के स्कूलों को सौर ऊर्जा से रोशन करने की योजना

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नई दिल्ली, 13 जुलाई (आईएएनएस)| दिल्ली के सरकारी स्कूल जल्द ही सौर ऊर्जा की रोशनी से जगमग हो सकते हैं, क्योंकि दिल्ली में सत्तारूढ़ आम आदमी पार्टी (आप) की सरकार सभी सरकारी स्कूलों की इमारतों की छतों पर फोटो वोल्टाइक पैनल स्थापित करने के प्रस्ताव पर विचार कर रही है।

यह कदम दिल्ली सरकार के राष्ट्रीय राजधानी को सोलर सिटी बनाने वाले प्रमुख कार्यक्रम को गति देगा। राज्य सरकार की सौर नीति में 2015 तक सौर ऊर्जा के जरिए 2,000 मेगावाट बिजली पैदा करने का लक्ष्य है।

अधिकारियों ने कहा कि दिल्ली के स्कूलों को सौर ऊर्जा से रोशन करने का प्रस्ताव तैयार है और इस पर जल्दी ही क्रियान्वयन हो सकता है।

दिल्ली सरकार के एक अधिकारी ने नाम न जाहिर करने की शर्त पर आईएएनएस से कहा, शुरुआती चरण में अगले कुछ महीनों में सोलर पैनलों को शहर के 25 से 30 स्कूलों के भवनों पर लगाया जाएगा।

अधिकारी ने कहा, इस तरीके से शुरू में सरकार की नजर 20 से 30 मेगावाट सौर ऊर्जा पैदा करने पर है। इस परियोजना के सफलतापूर्वक क्रियान्वयन के बाद सरकार इसे और आगे बढ़ाएगी।

उन्होंने कहा कि सरकार इस कोशिश में है कि स्कूलों की इमारतों का अधिक से अधिक इस्तेमाल सौर बिजली पैदा करने में किया जा सके और इन भवनों को ग्रीन बिल्डिंग में बदला जा सके।

सरकारी स्कूल के भवनों को लक्ष्य बनाने की व्याख्या करते हुए अधिकारी ने कहा कि इस तरह की संरचनाएं सौर बिजली के लिए बेहतरीन हैं, क्योंकि यह छायामुक्त हैं।

उन्होंने कहा, ज्यादातर सरकारी स्कूलों की इमारतें विशाल समतल छतों वाली हैं और इनकी कोई दीवार नहीं है, जो बड़ा छायामुक्त क्षेत्र प्रदान करता है और सोलर पैनलों को सूर्य के अधिकतम प्रकाश का लाभ मिलता है। यह स्थिति सौर ऊर्जा के उत्पादन के अनुकूल है।

उन्होंने स्पष्ट किया कि आवासीय भवनों में दीवार, पानी की टंकी व छत पर दूसरे निर्माण की वजह से बहुत कम छायामुक्त क्षेत्र बचता है।

दिल्ली की सौर नीति के अनुसार, सरकारी व सार्वजनिक संस्थानों पर सोलर पैनल लगाया जाना अनिवार्य है।

नीति के अनुसार, सरकारी या सार्वजनिक क्षेत्र के भवन शहर की कुल सौर क्षमता का एक चौथाई हिस्सा हैं।

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नेशनल

पीएम मोदी पर लिखी किताब के प्रचार के लिए स्मृति ईरानी चार देशों की यात्रा पर

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नई दिल्ली। पूर्व केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी एक नवीनतम पुस्तक ‘मोडायलॉग – कन्वर्सेशन्स फॉर ए विकसित भारत’ के प्रचार के लिए चार देशों की यात्रा पर रवाना हो गई हैं। यह दौरा 20 नवंबर को शुरू हुआ और इसका उद्देश्य ईरानी को मध्य पूर्व, ओमान और ब्रिटेन में रहने वाले भारतीय समुदाय के लोगों से जोड़ना है।

स्मृति ईरानी ने अपने एक्स अकाउंट पर लिखा कि,

एक बार फिर से आगे बढ़ते हुए, 4 देशों की रोमांचक पुस्तक यात्रा पर निकल पड़े हैं! 🇮🇳 जीवंत भारतीय प्रवासियों से जुड़ने, भारत की अपार संभावनाओं का जश्न मनाने और सार्थक बातचीत में शामिल होने के लिए उत्सुक हूँ। यह यात्रा सिर्फ़ एक किताब के बारे में नहीं है; यह कहानी कहने, विरासत और आकांक्षाओं के बारे में है जो हमें एकजुट करती हैं। बने रहिए क्योंकि मैं आप सभी के साथ इस अविश्वसनीय साहसिक यात्रा की झलकियाँ साझा करता हूँ

कुवैत, दुबई, ओमान और ब्रिटेन जाएंगी स्मृति ईरानी

डॉ. अश्विन फर्नांडिस द्वारा लिखित यह पुस्तक प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के शासन दर्शन पर प्रकाश डालती है तथा विकसित भारत के लिए उनके दृष्टिकोण पर ध्यान केंद्रित करती है। कार्यक्रम के अनुसार ईरानी अपनी यात्रा के पहले चरण में कुवैत, दुबई, फिर ओमान और अंत में ब्रिटेन जाएंगी।

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