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प्रादेशिक

दिल्ली में 6,800 से अधिक दवा दुकानें बंद

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नई दिल्ली| दवाओं की ऑनलाइन बिक्री के खिलाफ ऑल इंडिया ऑर्गेनाइजेशन ऑफ केमिस्ट्स एंड ड्रगिस्ट्स (एआईओसीडी) की ओर से आहूत दवा दुकानों की राष्ट्रव्यापी हड़ताल के कारण बुधवार को राष्ट्रीय राजधानी और इसके आसपास के इलाकों में 6,800 से अधिक दवा दुकानें बंद हैं। एआईओसीडी के अध्यक्ष जे.एस.शिंदे ने आईएएनएस से कहा, “हमारी हड़ताल सफल रही। देशभर में90 फीसदी से अधिक दवा दुकानें आज (बुधवार) बंद हैं। मरीजों को कोई तकलीफ न हो, इसके लिए हमने 10 फीसदी दवा दुकानों को खुला रखने की मंजूरी दी है। दिल्ली में भी 6,800 से अधिक दवा दुकानें बंद हैं।

संगठन के मुताबिक, दिल्ली में लगभग 7,000 दवा की दुकानें हैं।

संगठन ने चेतावनी दी है कि अगर सरकार एक सप्ताह के अंदर मामले को सुलझाने में नाकाम रहती है तो अनिश्चितकालीन हड़ताल की जाएगी।

उन्होंने कहा कि संगठन ने ई-फार्मेसी कंपनियों द्वारा अवैध रूप से दवा बेचने के मामले पर भी स्वास्थ्य मंत्रालय से बातचीत का प्रयास किया है।

शिंदे ने कहा, “अपनी मांगों के जरिये हम ई-फार्मेसी कंपनियों द्वारा नकली दवाओं की बिक्री भी रोकना चाहते हैं, जिसके बारे में उपभोक्ताओं को पता नहीं होता।”

ऑनलाइन दवा विक्रेता कंपनी शॉप पाइरेट की सह संस्थापक कुलप्रीत कौर ने कहा, “प्रौद्योगिकी के माध्यम से ग्राहकों को सुविधा प्रदान करने में कोई हर्ज नहीं है।”

उन्होंने कहा, “किसी भी सामाजिक मुद्दे से बचने के लिए हमें व्यापक कानून व प्रक्रिया की जरूरत है। ई-कॉमर्स ने सभी को अवसर प्रदान करने में भूमिका निभाई है।”

18+

जियो ने जोड़े सबसे अधिक ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’- ट्राई

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नई दिल्ली| भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) के नवीनतम आंकड़ों के मुताबिक, रिलायंस जियो ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़ने के मामले में सबसे आगे है। सितंबर महीने में जियो ने करीब 17 लाख ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़े। समान अवधि में भारती एयरटेल ने 13 लाख तो वोडाफोन आइडिया (वीआई) ने 31 लाख के करीब ग्राहक गंवा दिए। ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़ने के मामले में जियो लगातार दूसरे महीने नंबर वन बना हुआ है। एयरटेल और वोडाआइडिया के ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ नंबर गिरने के कारण पूरे उद्योग में सक्रिय ग्राहकों की संख्या में गिरावट देखी गई, सितंबर माह में यह 15 लाख घटकर 106 करोड़ के करीब आ गई।

बताते चलें कि टेलीकॉम कंपनियों का परफॉर्मेंस उनके एक्टिव ग्राहकों की संख्या पर निर्भर करता है। क्योंकि एक्टिव ग्राहक ही कंपनियों के लिए राजस्व हासिल करने का सबसे महत्वपूर्ण जरिया है। हालांकि सितंबर माह में पूरी इंडस्ट्री को ही झटका लगा। जियो, एयरटेल और वीआई से करीब 1 करोड़ ग्राहक छिटक गए। मतलब 1 करोड़ के आसपास सिम बंद हो गए। ऐसा माना जा रहा है कि टैरिफ बढ़ने के बाद, उन ग्राहकों ने अपने नंबर बंद कर दिए, जिन्हें दो सिम की जरूरत नहीं थी।

बीएसएनएल की बाजार हिस्सेदारी में भी मामूली वृद्धि देखी गई। इस सरकारी कंपनी ने सितंबर में करीब 15 लाख वायरलेस डेटा ब्रॉडबैंड ग्राहक जोड़े, जो जुलाई और अगस्त के 56 लाख के औसत से काफी कम है। इसके अलावा, बीएसएनएल ने छह सर्किलों में ग्राहक खो दिए, जो हाल ही की वृद्धि के बाद मंदी के संकेत हैं।

ट्राई के आंकड़े बताते हैं कि वायरलाइन ब्रॉडबैंड यानी फाइबर व अन्य वायरलाइन से जुड़े ग्राहकों की कुल संख्या 4 करोड़ 36 लाख पार कर गई है। सितंबर माह के दौरान इसमें 7 लाख 90 हजार नए ग्राहकों का इजाफा हुआ। सबसे अधिक ग्राहक रिलायंस जियो ने जोड़े। जियो ने सितंबर में 6 लाख 34 हजार ग्राहकों को अपने नेटवर्क से जोड़ा तो वहीं एयरटेल मात्र 98 हजार ग्राहक ही जोड़ पाया। इसके बाद जियो और एयरटेल की बाजार हिस्सेदारी 32.5% और 19.4% हो गई। समान अवधि में बीएसएनएल ने 52 हजार वायरलाइन ब्राडबैंड ग्राहक खो दिए।

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