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चलती ट्रेन में दरिंदों ने किया छात्रा से गैंगरेप, सहमी पीड़िता ने उठाया ये भयानक कदम…

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रांची। देश हो या प्रदेश महिलाओं के साथ हो रही छेड़छाड की घटनाएं थमने का नाम नहीं ले रही हैं। दिल्ली से आ रही आनंद विहार-रांची एक्सप्रेस में एक छात्रा से सामूहिक दुष्कर्म का मामला प्रकाश में आया है। ये घटना 6 फरवरी की है। घटना से सदमे में आई पीड़िता ने आठ फरवरी को जहर खाकर आत्महत्या की कोशिश की। फिलहाल अभी वह अस्पताल में भर्ती है।

पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। इसके लिए एस.आई.टी. का भी गठन किया गया है जिससे कि शीघ्र ही मामले का पर्दाफाश हो। जानकारी के मुताबिक पीड़िता पंजाब के फजिल्का की रहने वाली है। वह रांची के कडरू स्थित एक संस्थान में पढ़ाई करती है।

पीड़ि़ता ने पुलिस को बताया कि 5 फरवरी को आनंद विहार स्टेशन से रात के दस बजे ट्रेन में चढ़ी थी। दूसरी रात करीब 12 बजे रांची स्टेशन से पहले मुरी के पास एक युवक आया और उसके मुंह को दबा दिया। इसके बाद अन्य 3 युवकों ने बारी-बारी उससे दुष्कर्म किया। संभवत: तब बोगी में अन्य यात्री नहीं थे। दुष्कर्म करने के बाद युवक रांची से पहले ही ट्रेन से उतर गए। पीड़िता ने बताया कि घटना के बाद उसकी दिमागी हालत बिगड़ गई।

तनाव में आकर उसने जहर खा लिया। उल्टी होने पर उसे गुरुनानक अस्पताल पहुंचाया गया। चुटिया पुलिस ने पीड़िता के बयान दर्ज कर रिपोर्ट रांची जी.आर.पी. थाने को भेज दी है। मामले की गंभीरता को देखते हुए एस.पी. संगीता तिवारी ने दुष्कर्मियों की गिरफ्तारी के लिए एस.आई.टी. का गठन किया है। युवती ने आरोपितों के हुलिए भी पुलिस को बताए हैं। पुलिस मुरी, नामकुम और रांची रेलवे स्टेशन के सीसीटीवी फुटेज खंगालने में जुटी है।

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बिहार का ‘उसैन बोल्ट’, 100 किलोमीटर तक लगातार दौड़ने वाला यह लड़का कौन

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चंपारण। बिहार का टार्जन आजकल खूब फेमस हो रहा है. बिहार के पश्चिम चंपारण के रहने वाले राजा यादव को लोगों ने बिहार टार्जन कहना शुरू कर दिया है. कारण है उनका लुक और बॉडी. 30 मार्च 2003 को बिहार के बगहा प्रखंड के पाकड़ गांव में जन्मे राज़ा यादव देश को ओलंपिक में गोल्ड मेडल दिलाना चाहते हैं.

लिहाजा दिन-रात एकक़र फिजिकल फिटनेस के साथ-साथ रेसलिंग में जुटे हैं. राज़ा को कुश्ती विरासत में मिली है. दादा जगन्नाथ यादव पहलवान और पिता लालबाबू यादव से प्रेरित होकर राज़ा यादव ने सेना में भर्ती होने की कोशिश की. सफलता नहीं मिली तो अब इलाके के युवाओं के लिए फिटनेस आइकॉन बन गए हैं.

महज 22 साल की उम्र में राजा यादव ‘उसैन बोल्ट’ बन गए. संसाधनों की कमी राजा की राह में रोड़ा बन रहा है. राजा ने एनडीटीवी से कहा कि अगर उन्हें मौका और उचित प्रशिक्षण मिले तो वे पहलवानी में देश का भी प्रतिनिधित्व कर सकते हैं. राजा ओलंपिक में गोल्ड मेडल लाने के लिए दिन रात मैदान में पसीना बहा रहे हैं. साथ ही अन्य युवाओं को भी पहलवानी के लिए प्रेरित कर रहे हैं.

’10 साल से मेहनत कर रहा हूं. सरकार ध्यान दे’

राजा यादव ने कहा, “मेरा जो टारगेट है ओलंपिक में 100 मीटर का और मेरी जो काबिलियत है उसे परखा जाए. इसके लिए मैं 10 सालों से मेहनत करते आ रहा हूं तो सरकार को भी ध्यान देना चाहिए. मेरे जैसे सैकड़ों लड़के गांव में पड़े हुए हैं. उन लोगों के लिए भी मांग रहा हूं कि उन्हें आगे बढ़ाने के लिए सुविधा मिले तो मेरी तरह और युवक उभर कर आएंगे.”

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