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बिजनेस

जीएसटी, नोटबंदी की सुस्ती का असर समाप्त हो चला है : जेटली

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वाशिंगटन, 13 अक्टूबर (आईएएनएस)| भारतीय वित्तमंत्री अरुण जेटली ने शुक्रवार को कहा कि नोटबंदी और वस्तु एवं सेवा कर(जीएसटी) के कारण भारतीय अर्थव्यवस्था में आई सुस्ती का असर समाप्त हो चला है और अब देश की आर्थिक वृद्धि दर अधिक संतुलित एवं सतत तरीके से आगे बढ़ रही है। जेटली ने यहां फेडरेशन ऑफ इंडियन चैंबर्स ऑफ कामर्स एंड इंडस्ट्री(फिक्की) द्वारा ‘भारतीय अवसर’ नामक विषय पर आयोजित संगोष्ठी के संवाद सत्र के दौरान कहा, संरचनात्मक सुधारों को लागू करने पर सरकार के जोर के कारण भारतीय अर्थव्यवस्था अब मजबूत, सतत और संतुलित वृद्धि की राह पर है।

उन्होंने कहा, अब इस बात के स्पष्ट सबूत हैं कि नोटबंदी और जीएसटी के कारण पैदा हुई सुस्ती का असर कमोबेश समाप्त हो चला है।

जेटली ने कहा, नोटबंदी के बाद, सरकार द्वारा एक जुलाई से जीएसटी लागू करने और अन्य संरचनात्मक सुधार लागू करने के निर्णय के बाद अब अर्थव्यवस्था के ऊंची वृद्धि के पथ पर अग्रसर होगी।

जेटली फिलहाल अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष(आईएफएफ) और विश्व बैंक की वार्षिक बैठकों में हिस्सा लेने के सिलसिले में वाशिंगटन की एक हप्ते की आधिकारिक यात्रा पर हैं।

वित्त मंत्रालय ने यहां एक बयान जारी कर कहा कि वित्तमंत्री ने प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) प्रवाह के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि 2015-16 के मुकाबले, 2016-17 में इसमें वृद्धि हुई है, जो दिखाता है कि भारतीय अर्थव्यवस्था में वैश्विक आत्मविश्वास बढ़ा है।

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बिजनेस

जियो ने जोड़े सबसे अधिक ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’- ट्राई

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नई दिल्ली| भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) के नवीनतम आंकड़ों के मुताबिक, रिलायंस जियो ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़ने के मामले में सबसे आगे है। सितंबर महीने में जियो ने करीब 17 लाख ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़े। समान अवधि में भारती एयरटेल ने 13 लाख तो वोडाफोन आइडिया (वीआई) ने 31 लाख के करीब ग्राहक गंवा दिए। ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ जोड़ने के मामले में जियो लगातार दूसरे महीने नंबर वन बना हुआ है। एयरटेल और वोडाआइडिया के ‘एक्टिव सब्सक्राइबर’ नंबर गिरने के कारण पूरे उद्योग में सक्रिय ग्राहकों की संख्या में गिरावट देखी गई, सितंबर माह में यह 15 लाख घटकर 106 करोड़ के करीब आ गई।

बताते चलें कि टेलीकॉम कंपनियों का परफॉर्मेंस उनके एक्टिव ग्राहकों की संख्या पर निर्भर करता है। क्योंकि एक्टिव ग्राहक ही कंपनियों के लिए राजस्व हासिल करने का सबसे महत्वपूर्ण जरिया है। हालांकि सितंबर माह में पूरी इंडस्ट्री को ही झटका लगा। जियो, एयरटेल और वीआई से करीब 1 करोड़ ग्राहक छिटक गए। मतलब 1 करोड़ के आसपास सिम बंद हो गए। ऐसा माना जा रहा है कि टैरिफ बढ़ने के बाद, उन ग्राहकों ने अपने नंबर बंद कर दिए, जिन्हें दो सिम की जरूरत नहीं थी।

बीएसएनएल की बाजार हिस्सेदारी में भी मामूली वृद्धि देखी गई। इस सरकारी कंपनी ने सितंबर में करीब 15 लाख वायरलेस डेटा ब्रॉडबैंड ग्राहक जोड़े, जो जुलाई और अगस्त के 56 लाख के औसत से काफी कम है। इसके अलावा, बीएसएनएल ने छह सर्किलों में ग्राहक खो दिए, जो हाल ही की वृद्धि के बाद मंदी के संकेत हैं।

ट्राई के आंकड़े बताते हैं कि वायरलाइन ब्रॉडबैंड यानी फाइबर व अन्य वायरलाइन से जुड़े ग्राहकों की कुल संख्या 4 करोड़ 36 लाख पार कर गई है। सितंबर माह के दौरान इसमें 7 लाख 90 हजार नए ग्राहकों का इजाफा हुआ। सबसे अधिक ग्राहक रिलायंस जियो ने जोड़े। जियो ने सितंबर में 6 लाख 34 हजार ग्राहकों को अपने नेटवर्क से जोड़ा तो वहीं एयरटेल मात्र 98 हजार ग्राहक ही जोड़ पाया। इसके बाद जियो और एयरटेल की बाजार हिस्सेदारी 32.5% और 19.4% हो गई। समान अवधि में बीएसएनएल ने 52 हजार वायरलाइन ब्राडबैंड ग्राहक खो दिए।

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