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मनोरंजन

मंत्रालय से कोई नोटिस नहीं मिला : ‘पहरेदार पिया की’ के निर्माता

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मुंबई, 14 अगस्त (आईएएनएस)| हिंदी टीवी शो ‘पहरेदार पिया की’ के निर्माताओं ने सोमवार को कहा कि उन्हें अभी तक सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय से शो को बंद करने का कोई नोटिस नहीं मिला है। यह शो एक 18 साल की लड़की का नौ साल के बच्चे से शादी को लेकर सुर्खियों में बना हुआ है।

शो में बच्चे को लड़की का पीछा करते हुए उसकी तस्वीरें भी लेते हुए दिखाया गया है और हनीमून मनाते दिखाया गया है, जिसके बाद से इस शो की काफी आलोचना हो रही है।

शो को बनाने वाले ‘शशि सुमित प्रोडक्शंस’ के निर्माता सुमित मित्तल और साक्षी मित्तल ने ‘पहरेदार पिया की’ के कहानी को लेकर मचे बवाल के बीच एक संवाददाता सम्मेलन रखी। शो में 18 साल की लड़की और नौ साल के बच्चे के बीच ‘सुहागरात’ होता भी दिखाया गया है।

निर्माताओं ने कहा कि वे जरूरत पड़ने पर संबंधित प्राधिकरण को स्पष्टीकरण देने के लिए तैयार हैं। यहां तक कि मुंबई की एक एनजीओ द्वारा और एक दर्शक द्वारा ऑनलाइन याचिका देकर प्राइम टाइम में प्रसारित होने वाले शो पर रोक लगाने की मांग की गई है।

साक्षी से जब पूछा गया कि क्या उन्हें सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय से कोई नोटिस मिला है तो उन्होंने कहा, नहीं, हमें अधिकारियों से कोई नोटिस नहीं मिला है और अगर हमें मिलता है तो हम स्पष्टीकरण देने के लिए तैयार हैं क्योंकि हम जानते हैं कि हमने कहानी में कुछ गलत नहीं दिखाया है। हम सबसे यह कहना चाहते हैं कि शो को देखे बिना जज नहीं करें।

यह पूछे जाने पर कि अगर ‘प्रसारण सामग्री शिकायत परिषद’ (बीसीसीसी) निर्माताओं से कहानी के विषयवस्तु में बदलाव लाने के लिए कहता है तो वे क्या करेंगे, इस पर सुमित ने कहा, नहीं, हम बदलाव करने के बजाय उनसे कोई भी फैसला लेने से पहले कहानी को जानने का अनुरोध करेंगे। अभी तक हमारी शो के विषयवस्तु में बदलाव लाने की कोई योजना नहीं है।

निर्माताओं ने संवाददाता सम्मेलन में ‘पहरेदार पिया की’ के दो एपिसोड भी दिखाए कि किन हालातों में दिव्या (किरदार का नाम) की शादी रतन (बच्चे) से हुई है।

साक्षी के मुताबिक, कई लोगों ने शो को बिना देखे इस पर प्रतिबंध लगाने की बात की है। उन्होंने बताया कि एक पार्टी में कुछ महिलाएं शो पर प्रतिबंध लगाने का बात कर रही थी, जब उन्होंने उनसे पूछा कि क्या उन्होंने शो देखा है, तो उन लोगों ने मना कर दिया। उन्होंने सवालिया लहजे में पूछा कि फिर यह तर्कसंगत कैसे है?

अभिनेता करण वाही ने भी पिछले महीने सोशल मीडिया पर शो की कहानी को लेकर अलोचना की थी।

साक्षी ने कहा कि शो में परिवार के लोग दिव्या और रतन को जानबूझकर परेशान करने और उनका मजाक बनाने के लिए उनके कमरे को सजाकर उन्हें सुहागरात मनाने और फिर हनीमून मनाने जैसे असहज माहौल में डालते हैं।

उन्होंने कहा कि एपिसोड देखने पर आपको पता चलेगा कि कोई भी असहज दृश्य नहीं फिल्माए गए हैं।

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उत्तर प्रदेश

योगी को यूपी का साथ, 9 में जीतीं सीटें सात

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लखनऊ |  योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश ने उपचुनाव में बड़ी जीत हासिल की। उत्तर प्रदेश की जनता ने एक बार फिर बता दिया कि उन्हें योगी आदित्यनाथ का ही साथ पसंद है। प्रदेश में 9 सीटों पर हुए उपचुनाव में सात पर एनडीए ने जीत दर्ज की। इसमें से छह पर भारतीय जनता पार्टी और एक सीट पर एनडीए गठबंधन (रालोद) ने जीत हासिल की। वहीं भारतीय जनता पार्टी ने समाजवादी पार्टी के हिस्से की कुंदरकी व कटेहरी सीट भी जीत ली। इन दोनों सीटों पर नया इतिहास लिखा गया।

पांच दिन में योगी आदित्यनाथ ने किए थे 15 चुनावी कार्यक्रम

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भारतीय जनता पार्टी व रालोद प्रत्याशी के पक्ष में पांच दिन में 15 चुनावी कार्यक्रम किए। सीएम योगी ने फूलपुर, मझवा, खैर व कटेहरी में दो-दो रैली की। गाजियाबाद में भी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एक रैली व एक रोड शो कर कमल को फिर से खिलाने की अपील की, जिस पर जनता ने मुहर लगाया। वहीं कुंदरकी व मीरापुर में भी सीएम की रैली हुई। इसका असर यह हुआ कि कुंदरकी में भारतीय जनता पार्टी ने ऐतिहासिक जीत हासिल की।

कटेहरी में तीन दशक बाद कमल का कमाल, 34514 वोट से दर्ज की जीत

कटेहरी में लगभग तीन दशक से अधिक समय से इस सीट पर भाजपा को जीत नहीं मिल पा रही थी, लेकिन इस बार उपचुनाव में योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में कटेहरी में भी कमल ने कमाल कर दिखाया। भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी धर्मराज निषाद ने तीन दशक बाद यहां कमल खिलाया। धर्मराज निषाद ने न सिर्फ सपा से यह सीट छीनी, बल्कि सपा प्रत्याशी शोभावती वर्मा को 34514 के बड़े अंतर से हराया।

कुंदरकी में भी खिला कमल, योगी को मिला जनता का साथ

2022 विधानसभा चुनाव में कुंदरकी में समाजवादी पार्टी ने जीत हासिल की थी। इस सीट पर भी विधायक के सांसद चुने जाने के कारण यहां उपचुनाव हुआ। इस सीट पर भी काफी समय से समाजवादी पार्टी का कब्जा था, लेकिन 2024 में हुए उपचुनाव में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में यह सीट भाजपा के खाते में गई। योगी के आह्वान पर जनता ने यहां से सपा को चारों खाने चित कर दिया। यहां के भाजपा उम्मीदवार रामवीर सिंह ठाकुर ने सपा के मो. रिजवान को काफी बड़े अंतर से पराजित किया।

मझवा, फूलपुर, गाजियाबाद, खैर व मीरापुर में भी योगी-योगी

मझवा, फूलपुर, गाजियाबाद, खैर के साथ ही मीरापुर में भी रैलियों से चल रही योगी-य़ोगी की गूंज शनिवार को जीत के बाद और तेज होती गई। मीरापुर में रालोद व अन्य सीटों पर भारतीय जनता पार्टी ने जीत हासिल की। मझवा में विनोद बिंद, फूलपुर से प्रवीण पटेल, गाजियाबाद से अतुल गर्ग, खैर से अनूप प्रधान वाल्मीकि व मीरापुर से चंदन चौहान के सांसद चुने जाने के उपरांत यहां उपचुनाव कराए गए। इन सीटों को बरकरार रखते हुए भारतीय जनता पार्टी ने अन्य सीटों पर जीत हासिल की।

सपा के घर करहल के साथ सीसामऊ में जीत का अंतर भी हुआ कम

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मेहनत का ही प्रतिफल है कि समाजवादी पार्टी के घर करहल में भी सपा की जीत का अंतर काफी कम हुआ। 2022 आमचुनाव में सपा प्रत्याशी अखिलेश यादव ने यहां 67504 वोटों से जीत हासिल की थी, जो 2024 उपचुनाव में घटकर महज 14725 वोट पहुंच गई। तेज प्रताप यादव को यहां से 104304 वोट मिले। भाजपा के अनुजेश यादव ने 89579 वोट प्राप्त किया। वहीं सीसामऊ में 2022 में सपा के इरफान सोलंकी ने 12266 वोटों से जीत हासिल की। उपचुनाव में सपा प्रत्याशी नसीम सोलंकी ने 69714 वोट पाकर 8564 वोट से जीत दर्ज की। यहां से भाजपा के सुरेश अवस्थी को 61150 वोट मिले।

सात सीटों पर जीत व अंतर

कुंदरकी- रामवीर सिंह ठाकुर
गाजियाबाद- संजीव शर्मा- 96946 (69351 से जीत)
फूलपुर- दीपक पटेल- 78289 (11305 से जीत)
मझवां- सुचिस्मिता मौर्या- 77737 (4922 से जीत)
कटेहरी- धर्मराज निषाद- 104091 (34514 से जीत)
खैर- सुरेंद्र दिलेर – 100181 (38393 से जीत)
मीरापुर- मिथिलेश पाल (रालोद)- 84304 (30796 से जीत

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