Connect with us
https://aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

मुख्य समाचार

लोकपाल की नियुक्ति न होने पर कांग्रेस ने उठाए सवाल

Published

on

लोकपाल की नियुक्ति न होने पर कांग्रेस ने उठाए सवाल

Loading

नई दिल्ली | कांग्रेस सदस्य के.सी.वेणुगोपाल ने बुधवार को लोकपाल की नियुक्ति नहीं करने पर केंद्र सरकार पर निशाना साधा और सरकार की भ्रष्टाचार से लड़ने की मंशा पर सवाल उठाया। लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष नहीं होने की वजह से लोकपाल की नियुक्ति का मुद्दा लंबे अर्से से लटका हुआ है और अलग प्रावधान बनाने के लिए विधेयक में संशोधन करना पड़ा।

लोकपाल की नियुक्ति न होने पर कांग्रेस ने उठाए सवाल

सरकार ने हालांकि कहा कि लोकपाल विधेयक में संशोधन संसदीय समिति के समक्ष लंबित पड़ा है और समिति द्वारा इसे मंजूरी देने के बाद ही कानून में बदलाव किया जा सकता है।

प्रश्नकाल के तुरंत बाद इस मुद्दे को उठाते हुए वेणुगोपाल ने कहा, “लोकपाल की नियुक्ति का मुद्दा पिछले ढाई वर्षों से लटका हुआ है। सरकार भ्रष्टाचार से निपटने से झूठे वादे कर सत्ता में आई। सरकार एक तरफ भ्रष्टाचार की बात कर रही है तो दूसरी तरफ इस तरह की संस्थाओं को कमजोर करने की कोशिश कर रही है।”

वित्तमंत्री अरुण जेटली ने कहा कि विधेयक संसदीय समिति के पास लंबित है। जेटली ने कहा, “स्थाई समिति के समक्ष एक संशोधन लंबित है। पहले स्थाई समिति की रपट आने दीजिए, हम उसका अनुसरण करेंगे।” शहरी विकास मंत्री एम.वेंकैया नायडू ने बुल्डोजिंग शब्द के इस्तेमाल पर आपत्ति जताई।

उन्होंने कहा, “संसद बहुमत की स्थिति में ही विधेयकों को पारित कर सकती है। कुछ सदस्य बुल्डोजिंग शब्द का इस्तेमाल कर रहे हैं, जो गलत है।”

इस दौरान कांग्रेस के एक अन्य नेता सुरेश कोडिकुन्निल ने अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और अल्पसंख्यक आयोगों में सदस्यों की नियुक्ति नहीं होने पर सरकार की आलोचना की।

सामाजिक न्याय एवं अधिकारित मंत्री थावर चंद गहलोत ने कहा कि इन आयोगों में नियुक्तियों को लेकर तीन से 10 महीनों तक का अंतर रहता है। उन्होंने कहा, “हम सभी आयोगों का सम्मान करते हैं और इन्हें सशक्त करने के लिए कदम उठाए हैं। इनमें नियुक्तियों में तीन से 10 महीनों का अंतर रहता है।”गहलोत ने कहा कि सरकार जल्द ही पिछड़े वर्गो के लिए एक आयोग का गठन करेगी।

 

मुख्य समाचार

पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा में बड़ा आतंकी हमला, 38 लोगों की मौत

Published

on

Loading

पख्तूनख्वा। पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा में बड़ा आतंकी हमला हुआ है। इस हमले में 38 लोगों की मौत हो गई है। यह हमला खैबर पख्तूनख्वा के डाउन कुर्रम इलाके में एक पैसेंजर वैन पर हुआ है। हमले में एक पुलिस अधिकारी और महिलाओं समेत दर्जनों लोग घायल भी हुए हैं। जानकारी के मुताबिक उत्तर-पश्चिमी पाकिस्तान के अशांत प्रांत खैबर पख्तूनख्वा में आतंकियों ने शिया मुस्लिम नागरिकों को ले जा रहे यात्री वाहनों पर गोलीबारी की है। यह क्षेत्र में हाल के वर्षों में इस तरह का सबसे घातक हमला है। मृतकों की संख्या में इजाफा हो सकता है।

AFP की रिपोर्ट के मुताबिक इस हमले में 38 लोगों की मौत हुई है. पैसेंजर वैन जैसे ही लोअर कुर्रम के ओचुट काली और मंदुरी के पास से गुजरी, वहां पहले से घात लगाकर बैठे आतंकियों ने वैन पर अंधाधुंध गोलियां बरसानी शुरू कर दीं. पैसेंजर वैन पाराचिनार से पेशावर जा रही थी। पाकिस्तान की समाचार एजेंसी डॉन के मुताबिक तहसील मुख्यालय अस्पताल अलीजई के अधिकारी डॉ. ग़यूर हुसैन ने हमले की पुष्टि की है.

शिया और सुन्नी मुसलमानों के बीच तनाव 

अफगानिस्तान की सीमा से लगे कबायली इलाके में भूमि विवाद को लेकर शिया और सुन्नी मुसलमानों के बीच दशकों से तनाव बना हुआ है। किसी भी समूह ने घटना की जिम्मेदारी नहीं ली है। जानकारी के मुताबिक “यात्री वाहनों के दो काफिले थे, एक पेशावर से पाराचिनार और दूसरा पाराचिनार से पेशावर यात्रियों को ले जा रहा था, तभी हथियारबंद लोगों ने उन पर गोलीबारी की।” चौधरी ने बताया कि उनके रिश्तेदार काफिले में पेशावर से यात्रा कर रहे थे।

Continue Reading

Trending