Connect with us
https://aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

खेल-कूद

महिला विश्व कप : इतिहास रचने से एक कदम दूर भारतीय महिलाएं

Published

on

Loading

लंदन, 22 जुलाई (आईएएनएस)| महिला विश्व कप के पिछले संस्करण में भारतीय टीम सातवें स्थान पर रही थी, लेकिन इस बार इतिहास ने अपने आप को दोहराया और साल 2005 की तरह भारतीय महिलाओं ने विश्व कप के फाइनल में कदम रख दिया है। अब रविवार को उसका सामना मेजबान इंग्लैंड से ‘क्रिकेट का मक्का’ कहे जाने वाले लॉर्ड्स मैदान पर होगा।

भारत टूर्नामेंट के लीग दौर के अपने पहले मैच में इंग्लैंड को हरा चुकी है।

साल 2005 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ विश्व कप का फाइनल में हारने वाली भारतीय टीम के लिए रविवार का दिन विशेष है। भारतीय टीम इंग्लैंड के मुकाबले बेहतर फॉर्म में दिखाई दे रही है। मैच की सभी टिकटें बिक चुकी हैं। दुनिया भर में करीब पांच करोड़ से ज्यादा लोगों ने लीग मैचों का और कुल करीब साढ़े सात करोड़ लोगों ने इस विश्व कप में खेले गए सभी मैचों का लुत्फ उठाया है।

इस मैच में 2005 विश्व कप टीम का सदस्य झूलन गोस्वामी चार रन बनाते ही एक हजार रन और सौ विकेट लेने वाली पहली भारतीय खिलाड़ी बन जाएंगी। आस्ट्रेलिया के खिलाफ सेमीफाइनल मैच में हरमनप्रीत 171 रन बनाकर भारत की ओर से दूसरा सबसे बड़ा निजी स्कोर बनाने का कमाल पहले ही कर चुकी हैं।

इससे बड़ा स्कोर इसी टीम की सदस्य दीप्ति शर्मा के नाम (188) है जो उन्होंने आयरलैंड के खिलाफ इस साल मई में बनाया था।

फाइनल में भारत का पलड़ा मेजबान टीम पर भारी लग रहा है। भारतीय टीम में युवा जोश की आक्रामकता और अनुभवी खिलाड़ियों का अच्छा तालमेल है जो टीम की बल्लेबाजी, गेंदबाजी और फील्डिंग में दिखाई देता है। भारतीय स्पिनर फॉर्म में चल रहीं जो सीम और स्विंग कंडीशंस में भी बढ़िया प्रदर्शन कर रही हैं।

दीप्ति शर्मा ने इंग्लैंड के खिलाफ लीग दौर में 8.3 ओवरों में 47 रन देकर तीन विकेट हासिल करके न सिर्फ शानदार प्रदर्शन किया था। उनसे फाइनल में टीम को इसी प्रदर्शन की उम्मीद होगी। उन्होंने उस मैच में नतालीए डेनियल और अन्या के विकेट चटकाये थे।

इंग्लैंड के खिलाफ इस मैच में स्मृति मंधाना, पूनम राउत और कप्तान मिताली राज की शानदार बल्लेबाजी के दम पर भारत ने 247 का स्कोर खड़ा करके जीत दर्ज की थी। साथ ही इस विश्व कप में भारत की रोटेशन पॉलिसी में अच्छी रणनीति की छाप दिखाई देती है। मंधाना, मिताली और एकता बिष्ट से लेकर वेदा कृष्णामूर्ति और अब हरमनप्रीत के बारे में सही समय पर सही फैसले लिए गये जो टीम के लिए खासे उपयोगी रहे।

मौजूदा टीम में मंधाना और मिताली के प्रदर्शन पर कपिल देव के उस प्रदर्शन की छाप दिखाई देती हैए जब भारत ने 1983 का वल्र्ड कप अपने नाम किया था। भारती टीम सही समय पर शवाब पर पहुंची है। खिलाड़ियों की बॉडी लैंग्वेज में आक्रामकता दिखाई देने लगी है।

भारतीय खिलाड़ी मैदान पर अब बेहतर डाइव लगाने लगी हैं और रन आउट के आधे मौकों को पूरे मौकों में तब्दील करने लगी हैं। भारत के शीर्ष क्रम की तीन बल्लेबाज इस विश्व कप में सेंचुरी लगा चुकी हैं। बाएं हाथ की स्पिनर्स बखूबी विकेट चटका रही हैं।

वहीं मेजबान टीम को हल्के में भारत के लिए गलत साबित हो सकता है। मिताली इस बात को भलीभांती जानती हैं कि इंग्लैंड अपने घर में मजबूत टीम है। इंग्लैंड की नैट स्काइवर न्यूजीलैंड और पाकिस्तान के खिलाफ शतक बनाए थे। वह मैच को अपने पक्ष में करने का माद्दा रखती हैं। वह अपनी टीम को 2009 में न्यूजीलैंड को हराकर विश्व कप ट्रॉफी दिला चुकी हैं।

(लेखक महिला क्रिकेट एक्पर्ट और हिस्टोरियन हैं)

Continue Reading

खेल-कूद

भारत और साउथ अफ्रीका के बीच आज खेला जाएगा पहला टी 20 मैच

Published

on

Loading

डरबन। भारत और साउथ अफ्रीका चार मैच की टी20 सीरीज का आगाज 8 नवंबर से होने जा रहा है। सीरीज के सभी मुकाबले अलग-अलग मैदानों पर खेले जाने हैं। सीरीज के सभी मुकाबले अलग-अलग मैदानों पर खेले जाने हैं। पहला मैच डरबन पर तो अगले तीन मुकाबले गेकेबरहा, सेंचरियन और जोहान्सबर्ग में क्रमश: 10, 13 और 15 नवंबर को खेले जाएंगे। पहला मुकाबला 8 नवंबर को डरबन में खेला जाएगा तो आखिरी मैच 15 नवंबर को जोहेनेसबर्ग में खेला जाएगा। सभी मैच भारतीय समयानुसार रात 9.30 बजे से खेले जाएंगे।

SA vs IND टी20 सीरीज का पूरा कार्यक्रम

8 नवंबर 2024, पहला टी20: डरबन
10 नवंबर 2024, दूसरा टी20: क्वेबराह
12 नवंबर 2024, तीसरा टी20: सेंचुरियन
15 नवंबर 2024, चौथा टी20: जोहेनेसबर्ग
भारतीय टीम और साउथ अफ्रीका की टीमें आखिरी बार मेंस टी20 वर्ल्डकप 2024 के फाइनल में आमने सामने हुई थीं कांट के मुकाबले में टीम इंडिया ने बाजी मारी और साउथ अफ्रीका को हराकर अपना दूसरा खिताब जीता। इससे पहले टीम इंडिया ने साउथ अफ्रीका की जमीं पर ही अपना पहला टी20 वर्ल्डकप का खिताब जीता था। भारतीय टीम 1983 वर्ल्डकप के बाद से 2003 वनडे वर्ल्डकप के फाइनल में पहुंची थी, जो साउथ अफ्रीका में खेला गया था। अब देखना ये होगा कि यंग इंडिया के लिए साउथ अफ्रीका और साउथ अफ्रीका की सरजमीं कितनी लकी साबित होती है।

 

Continue Reading

Trending