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उत्तर प्रदेश

कुंभ में लिये संकल्प को महाकुंभ तक पूरा करने में जुटे योगी

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लखनऊ। 2019 के कुंभ में अपने मंत्रिमंडल के साथ मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा लिये गये संकल्प की सिद्धि का समय नजदीक आ रहा है। गंगा एक्सप्रेस-वे के रूप में सीएम योगी का यह ड्रीम प्रोजेक्ट किसी एक प्रदेश में बनने वाला अबतक का दूसरा सबसे लंबा एक्सप्रेस-वे होगा, जिसके निर्माण का कार्य तेज गति से जारी है। यूपी में इन्फ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट की दिशा में गंगा एक्सप्रेस-वे मील का पत्थर साबित होने जा रहा है, जिसके मुख्य कैरिज वे का काम महाकुंभ 2025 को देखते हुए दिसंबर 2024 तक पूरा हो जाएगा। इसे महाकुंभ 2025 से पहले पूरा करने का संकल्प मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बहुत पहले ही ले लिया था। मेरठ के बिजौली से प्रयागराज के जूडापुर दांदू तक 594 किमी लंबे इस एक्सप्रेस-वे से पश्चिमी यूपी और पूर्वी यूपी के बीच की दूरी और सफर की देरी दोनों घट जाएगी।

518 गांवों से होकर गुजरेगा गंगा एक्सप्रेस-वे

उत्तर प्रदेश के 12 जिलों से होकर गुजरने वाला यह एक्सप्रेस-वे 36,230 करोड़ रुपए की लागत से निर्माणाधीन है। लगभग 7453.15 हेक्टेयर भूमि पर बन रहा गंगा एक्सप्रेस-वे प्रदेश के 518 गांवों से होकर गुजरेगा। शुरुआत में इसे 6 लेन का बनाया जा रहा है, जिसे आगे चलकर 8 लेन का किया जाना है। इसके राइट ऑफ वे की चौड़ाई 120 मीटर होगी, जो 120 किलोमीटर प्रतिघंटा की डिजाइन स्पीड देगी। गंगा एक्सप्रेस-वे को चार ग्रुपों में बनाया जा रहा है। इनमें मेरठ-बदायूं (129.70 किमी) का कार्य मेसर्स आईआरबी इन्फ्रास्ट्रक्चर, जबकि बाकि के तीन ग्रुप बदायूं-हरदोई (151.70 किमी), हरदोई-उन्नाव (155.70 किमी) और उन्नाव-प्रयागराज (156.85 किमी) का निर्माण मेसर्स अदाणी इन्फ्रास्ट्रक्चर कर रही है।

होंगे 14 मेजर ब्रिज, 7 आरोबी और 32 फ्लाईओवर

गंगा एक्सप्रेस-वे के मुख्य कैरिज वे को पूरा करने का लक्ष्य 31 दिसंबर 2024 रखा गया है, जबकि अन्य कार्यों को पूरा करने के लिए नवंबर 2025 तक का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। जून 2024 तक मुख्य कैरिज वे में मिट्टी का काम चारों ग्रुप में औसतन 82 प्रतिशत से अधिक पूरा हो चुका है, जोकि 3 लाख 85 हजार घन मीटर प्रतिदिन है। गंगा एक्सप्रेस-वे का निर्माण कितना जटिल है इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि इसपर मेरठ-बदायूं के बीच गंगा नदी पर 960 मीटर और बदायूं-हरदोई के बीच रामगंगा पर 720 मीटर लंबा पुल भी निर्माणाधीन है। यह एक्सप्रेस-वे 14 मेजर ब्रिज, 7 आरओबी और 32 फ्लाईओवर से होकर गुजरेगा। यही नहीं इसपर शाहजहांपुर के जलालाबाद के पास साढ़े तीन किलोमीटर लंबी हवाई पट्टी भी होगी, जिसपर किसी भी आपात स्थिति में बड़े बोइंग विमान उतर सकते हैं। गंगा एक्सप्रेस-वे पर मेरठ और प्रयागराज में दो मुख्य जबकि अन्य स्थानों पर 15 रैम्प टोल प्लाजा होंगे। इसपर 9 जन सुविधा परिसरों की भी स्थापना होगा।

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उत्तर प्रदेश

उत्तर प्रदेश में अनुसूचित जाति-जनजाति आयोग का गठन, पूर्व विधायक बैजनाथ रावत बने अध्यक्ष

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश में अनुसूचित जाति-अनुसूचित जनजाति (SC-ST) आयोग का गठन किया गया है। इस आयोग का अध्यक्ष पूर्व विधायक बैजनाथ रावत को बनाया गया है जबकि बेचन राम और जीत सिंह खरवार को आयोग का उपाध्यक्ष बनाया गया है। आयोग में 16 सदस्य भी बनाए गए हैं। राज्यपाल की एक्सेप्टेन्स के बाद आयोग के नए सदस्यों की लिस्ट जारी कर दी गई है। बैजनाथ रावत बाराबंकी के रहने वाले हैं जबकि उपाध्यक्ष बेचन राम पूर्व विधायक हैं और गोरखपुर के रहने वाले हैं।

एससी-एसटी आयोग के सदस्यों के नाम

हरेन्द्र जाटव- मेरठ
महिपाल वाल्मीकि- सहारनपुर
संजय सिंह-बरेली
दिनेश भारत- आगरा
शिव नारायण सोनकर-हमीरपुर
नीरज गौतम-औरेया
रमेश कुमार तूफानी-लखनऊ
नरेन्द्र सिंह खजूरी-मेरठ
तीजाराम- आजमगढ़
विनय राम- मऊ
अनिता गौतम- गोंडा
रमेश चन्द्र- कानपुर
मिठाई लाल- भदोही
उमेश कठेरिया-बरेली
जितेन्द्र कुमार-कौशाम्बी
अनिता कमल-अम्बेडकरनगर

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