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उत्तर प्रदेश

प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की 18वीं किस्त से यूपी के 2.25 करोड़ से अधिक किसान होंगे लाभांवित

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लखनऊ। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को महाराष्ट्र के वेगॉल (वाशिम) में आयोजित एक विशेष कार्यक्रम में किसान सम्मान निधि की 18वीं किस्त जारी करेंगे। इससे उत्तर प्रदेश के 2,25,91,884 किसानों के खातों में कुल 4,985.49 करोड़ रुपये की धनराशि स्थानांतरित की जाएगी।

प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना ने किसानों की आर्थिक स्थिति को सशक्त बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। केंद्र और राज्य सरकार के समन्वय से उत्तर प्रदेश के किसान लगातार इस योजना का लाभ उठा रहे हैं, जिससे उनकी आय में वृद्धि हो रही है और कृषि क्षेत्र में स्थिरता आ रही है।

उत्तर प्रदेश में योगी सरकार ने केंद्र सरकार की योजनाओं को तत्परता से लागू करते हुए शानदार प्रगति की है। प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने पत्रकारवार्ता में जानकारी देते हुए बताया कि प्रदेश में योजना की शुरुआत से लेकर जुलाई 2024 तक सभी 17 किस्तों के माध्यम से किसानों को अब तक कुल 74,492.71 करोड़ रुपये का भुगतान किया जा चुका है। इस अवधि में राज्य के 2.76 करोड़ किसानों को कम से कम एक बार इस योजना का लाभ प्राप्त हुआ है।

प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की 17वीं किस्त का वितरण 18 जून 2024 को वाराणसी में आयोजित एक कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री द्वारा किया गया था। इस दौरान 2,14,55,237 किसानों को 4,831.10 करोड़ रुपये की धनराशि वितरित की गई थी। इसके साथ ही, जिन किसानों की किस्तें किसी कारणवश रुकी हुई थीं, उन्हें 46.70 करोड़ रुपये की राशि उनके डाटा सुधार के बाद दी गई थी।

देश के लगभग 9.51 करोड़ किसान होंगे लाभांवित

पीएम किसान सम्मान निधि की 18वीं किस्त से पूरे देश के लगभग 9.51 करोड़ किसानों लाभांवित होंगे। 20,552 करोड़ रुपये की धनराशि सीधे किसानों के बैंक खातों में स्थानांतरित की जाएगी।

प्रधानमंत्री किसान सम्मान योजना की शुरुआत दिसंबर 2018 में किसानों की आय में वृद्धि के उद्देश्य से की गई थी। इस योजना के तहत, किसानों को आर्थिक सहायता के रूप में हर चार महीने में 2,000 रुपये की किस्त दी जाती है, जिससे एक साल में उन्हें कुल 6,000 रुपये की सहायता प्राप्त होती है।

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उत्तर प्रदेश

महाकुम्भ में अग्नि जनित घटनाओं के खिलाफ एडब्ल्यूटी बनेगा सुरक्षा कवच

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महाकुम्भनगर। उत्तर प्रदेश में महाकुम्भ-2025 को लेकर तैयारियां जोर-शोर से जारी हैं। इसी क्रम में, उत्तर प्रदेश अग्निशमन व आपात सेवा विभाग एडवांस्ड फीचर्स युक्त 4 आर्टिकुलेटिंग वॉटर टावर (एडब्ल्यूटी) का भी मेला क्षेत्र को इस्तेमाल करेगी। इन आर्टिकुलेटिंग वॉटर टावर को मेला क्षेत्र में टेंट सिटी और बड़ी टेंट सेटअप के दृष्टिगत डिप्लॉय किया गया है। यह वीडियो तथा थर्मल इमेजिनिंग सिस्टम समेत कई आधुनिक फीचर्स से लैस हैं तथा इनके जरिए मेला क्षेत्र में अग्नि जनित घटनाओं की रोकथाम के साथ ही दमकलकर्मियों के जीवन रक्षण में भी मदद मिलेगी। यह जोखिम से भरे फायर ऑपरेशंस को अंजाम देने के साथ ही अग्निरक्षकों की सुरक्षा के लिए भी कवच के तौर पर कार्य कार करने में सक्षम होगा।

कई तरह की खूबियों से लैस है एडब्ल्यूटी

महाकुम्भ के नोडल/मुख्य अग्निशमन अधिकारी प्रमोद शर्मा ने बताया कि आर्टिकुलेटिंग वॉटर टावर (एडब्ल्यूटी) एक आधुनिक अग्निशमन वाहन है। मुख्यत: इसका प्रयोग बहुमंजिलीय एवं विशेष ऊँचाई के टेन्ट तथा भवन की आग बुझाने में किया जाता है। चार बूम से निर्मित ए.डब्ल्यू.टी 35मी की ऊंचाई तथा 30मी की क्षैतिज दूरी की पहुंच तक अग्निशमन कार्य को संचालित कर सकते हैं। यह कई प्रकार के आधुनिक फीचर्स से लैस है तथा वीडियो तथा थर्मल इमेजिंग कैमरे से युक्त होने के कारण इसकी उपयोगिता और बढ़ जाती है। यही कारण है कि यह न केवल रेस्क्यू ऑपरेशंस को अंजाम देकर जान-माल की रक्षा करने में सक्षम हैं बल्कि अग्निरक्षकों के जीवनरक्षण और उनकी सुरक्षा में कवच का कार्य भी करते हैं।

131.48 करोड़ के वाहन व उपकरणों को किया जा रहा डिप्लॉय

डिप्टी डायरेक्टर अमन शर्मा ने बताया कि महाकुम्भ को अग्नि दुर्घटना रहित क्षेत्र बनाने के लिए विभाग को 66.75 करोड़ का बजट आवंटित हुआ है, जबकि विभागीय बजट 64.73 करोड़ है। इस प्रकार, कुल 131.48 करोड़ रुपए की लागत से वाहन व उपकरणों को महाकुम्भ मेला में अग्नि जनित दुर्घटनाओं से सुरक्षा के लिए डिप्लॉय किया जा रहा है। इनको पूरी तरह से मेला क्षेत्र में डिप्लॉय करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। उल्लेखनीय है कि सीएम योगी के विजन अनुसार, इस बार महाकुम्भ में अलग-अलग प्रकार के 351 से अधिक अग्निशमन वाहन, 2000 से अधिक ट्रेन्ड मैनपावर, 50 से अधिक अग्निशमन केंद्र व 20 फायर पोस्ट बनाए जा रहे हैं। प्रत्येक अखाड़ों के टेंट्स को फायर फाइटिंग इक्विप्मेंट्स से भी लैस किया जा रहा है।

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