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प्रादेशिक

गोवा : पूर्व मंत्री की क्षमादान याचिका पर विचार

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पणजी | गोवा सरकार पूर्व मंत्री फ्रांसिस्को पचेको को क्षमादान देने की मांग करने वाले उनकी पार्टनर के आवेदन पर विचार कर रही है। पचेको को हमले के एक मामले में छह महीने की सजा सुनाई गई है। मुख्य सचिव आर.के.श्रीवास्तव ने एक मीडिया कार्यक्रम से इतर मौके पर शनिवार को बताया कि उन्हें क्षमादान की मांग करने वाला आवेदन मिला है, जो राज्यपाल मृदुला सिन्हा द्वारा उनके कार्यालय को अग्रसारित किया गया है।

उन्होंने कहा, “हमें याचिका मिली है। मैं इस पर विचार कर रहा हूं।” यह आवेदन अच्छे व्यवहार का हवाला देते हुए भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष विनय तेंदुलकर के पचेको को क्षमादान दिए जाने की वकालत करने के एक दिन बाद दिया गया है। क्षमा याचिका पचेको की पार्टनर वियोला ने दायर की है, जिन्होंने राज्यपाल से अपील की है कि पूर्व मंत्री को संविधान के अनुच्छेद 161 के तहत माफ कर दिया जाए। पूर्व पुरातत्व तथा अभिलेख मंत्री को एक जून को सर्वोच्च न्यायालय ने एक सरकारी कर्मचारी पर हमला करने के आरोप में छह महीने कारावास की सजा सुनाई थी। मंत्री को फिलहाल वास्को के साडा उप कारावास में रखा गया है।

2006 के हमले के अतिरिक्त पचेको पर अन्य आपराधिक मामले भी दर्ज है, जिसमें हत्या, हमला और उगाही शामिल है। अमेरिकी सरकार के ब्यूरो और डिप्लोमेटिक सिक्योरिटी अवैध तस्करी, धन की हेराफेरी के मामले में भी पचेको की जांच कर रही है तथा 2010 में केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने उनसे इसी संबंध में पूछताछ की थी। लेकिन इन आरोपों के बावजूद मुख्यमंत्री लक्ष्मीकांत पारसेकर चाहते हैं कि पचेको गोवा विधानसभा के आगामी सत्र में हिस्सा लें। पारसेकर ने आईएएनएस को बताया, “वह उस विधानसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करते हैं, जहां 25,000 मतदाता है। उन्हें उन लोगों की शिकायत तथा समस्या रखने के लिए विधानसभा में आना चाहिए।”

IANS News

महाकुंभ मेला क्षेत्र के सभी सेक्टरों में नियुक्त किए गए सेक्टर मजिस्ट्रेट

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प्रयागराज। महाकुंभ 2025 को लेकर प्रयागराज में तेजी से निर्माण कार्य चल रहा है। सीएम योगी के दिव्य भव्य महाकुंभ की योजना के मुताबिक महाकुंभ नगरी ने संगम तट पर आकार लेना शुरू कर दिया है। महाकुंभ में आने वाले करोड़ों श्रद्धालुओं, कल्पवासियों और साधु-संन्यासियों के रहने और स्नान के लिए घाटों, अस्थाई सड़कों व टेंट सिटी का निर्माण शुरू हो गया है। प्रयागराज मेला प्रधिकरण ने योजना के मुताबिक पूरे मेला क्षेत्र को 25 सेक्टरों में बांटा हैं। सेक्टर और कार्य के मुताबिक सेक्टर मजिस्ट्रेटों की नियुक्ति कर दी गई है। सभी सेक्टर मजिस्ट्रेट अपने – अपने सेक्टर में भूमि अधिग्रहण से लेकर प्रशासन व्यवस्था के लिए जिम्मेदार रहेंगे। महाकुंभ के दौरान सेक्टर मजिस्ट्रेट आम जनता और प्रशासन के बीच कड़ी का कार्य करेंगे।

विभागीय समन्वय का करेंगे कार्य

महाकुंभ 2025 में लगभग 45 करोड़ श्रद्धालुओं के आने और लगभग 1 लाख से अधिक लोगों के कल्पवास करने की संभावना है। इसके साथ ही हजारों की संख्या में साधु-संन्यासियों और मेला प्रशासन के लोग महाकुंभ के दौरान मेला क्षेत्र में रहेंगे। इन सबके रहने के लिए टेंट सिटी व स्नान के लिए घाटों और मार्गों का निर्माण कार्य युद्धस्तर पर चल रहा है। पूर्व योजना के मुताबिक प्रयागराज मेला प्राधिकरण ने पूरे महाकुंभ क्षेत्र को 25 सेक्टरों में बांटा है। 4000 हेक्टेयर और 25 सेक्टरों में बंटा महाकुंभ मेला क्षेत्र इससे पहले के किसी भी महाकुंभ मेले से सबसे बड़ा क्षेत्र है। मेला प्राधिकरण ने प्रत्येक सेक्टर में भूमि अधिग्रहण से लेकर प्रशासन व्यवस्था और विभागीय समन्वय के लिए उप जिलाधिकारियों को सेक्टर मजिस्ट्रेट के तौर पर नियुक्ति किया है। ये सेक्टर मजिस्ट्रेट पूरे महाकुंभ के दौरान अपने-अपने सेक्टर, कार्य विभाग और विभागीय समन्वयन का कार्य करेंगे।

अधिकांश ने ग्रहण किया कार्यभार

प्रयागराज मेला प्राधिकरण ने सेक्टर वाईज सेक्टर मजिस्ट्रेट की लिस्ट जारी कर दी है। इस सबंध में एसडीएम मेला अभिनव पाठक ने बताया कि अधिकांश सेक्टर मजिस्ट्रेटों ने कार्यभार ग्रहण कर लिया है। शेष अपनी विभागीय जिम्मेदारियों से मुक्त होकर जल्द ही मेला क्षेत्र में अपना कार्यभार ग्रहण कर लेंगे। जो कि महाकुंभ के दौरान अपने-अपने सेक्टर की प्रशासन व्यवस्था व विभागीय समन्वयन का कार्य करेंगे। प्रत्येक सेक्टर में भूमि आवंटन की प्रगति और लोगों की समस्याओं के त्वरित निस्तारण में ये सेक्टर मजिस्ट्रेट मददगार होंगे।

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