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प्रादेशिक

दिल्ली चुनाव के लिए आज शाम से थमेगा प्रचार का शोर

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नई दिल्ली। दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए चल रहा अंतिम दौर का प्रचार-प्रसार गुरुवार शाम छह बजे से थम जाएगा। प्रचार बंद होने के बाद प्रत्याशी अपने इलाके में किसी भी तरह की जनसभा, पदयात्रा, मोबाइल पर बल्क एसएमएस या चौपाल लगाकर प्रचार नहीं कर सकते हैं। अगर कोई प्रत्याशी ऐसा करता है तो इसे आचार संहिता का उल्लंघन माना जाएगा। चुनाव अधिकारियों ने कहा कि प्रचार बंद होने के बाद चुनाव आयोग की सभी टीमें अपने-अपने क्षेत्र में ऐसे कार्यक्रमों पर नजर रखेंगी।

दिल्ली मुख्य निर्वाचन अधिकारी कार्यालय ने राजनीतिक दलों को गुरुवार शाम से प्रचार बंद करने का निर्देश जारी कर दिया है। जनसभा, पदयात्रा, भोंपू का शोर, सोशल मीडिया समेत सभी माध्यमों से राजनीतिक दल प्रचार नहीं कर पाएंगे। दिल्ली की 70 विधानसभा सीट पर कुल 673 उम्मीदवार मैदान में हैं। कुल 1.33 करोड़ मतदाता इस दंगल में उतरे नेताओं के भाग्य का फैसला करेंगे। मतदाताओं तक अपनी बात पहुंचाने के लिए पार्टियों के पास अब सिर्फ गुरुवार का दिन का समय बचा है। यही वजह है कि बुधवार को राहुल गांधी, नरेंद्र मोदी समेत सभी बड़े नेताओं ने जनसभा कर वोट मांगे।

प्रचार के प्रिंट माध्यम को छोड़कर सभी इलेक्ट्रॉनिक, डिजिटल माध्यम से भी प्रचार पर रोक है। कोई भी टीवी चैनल इस दौरान ओपिनियन पोल भी नहीं दिखा पाएगा। आयोग ने प्रचार बंद होने के बाद मतदान वाले दिन तक इलाके में नजर रखने के लिए 161 फ्लाइंग स्क्वॉयड टीम, 1200 अधिक सेक्टर ऑफिसर्स, 600 से अधिक माइक्रो ऑब्जर्वर समेत संवेदनशील इलाकों में वीडियोग्राफी टीम भी तैनात की है।

दिल्लीक के मुख्य निर्वाचन अधिकारी चंद्रभूषण कुमार ने कहा कि मतदान वाले दिन 7 फरवरी से 48 घंटे पहले चुनाव प्रचार बंद हो जाएगा। सार्वजनिक सूचना जारी करके सभी दलों व प्रत्याशियों को सूचित कर दिया जाएगा। इस दौरान चुनाव आयोग की पर्यवेक्षकों, वीडियोग्राफी की टीम अपने-अपने क्षेत्र में सक्रिय होगी। समूह में एक साथ कई लोगों को राजनीतिक एसएमएस करने पर भी रोक लगा दी है।

IANS News

वसुधैव कुटुंबकम’ भारत का शाश्वत संदेश : योगी आदित्यनाथ

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लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ‘वसुधैव कुटुंबकम’ के आदर्श वाक्य के महत्व पर जोर देते हुए इसे भारत की वैश्विक मानवता के प्रति प्रतिबद्धता का प्रतीक बताया है। उन्होंने इसे भारत का शाश्वत संदेश बताते हुए कहा कि हमने हमेशा से शांति, सौहार्द और सह-अस्तित्व को प्राथमिकता दी है। सीएम योगी ने यह बात शुक्रवार को एलडीए कॉलोनी, कानपुर रोड स्थित सिटी मॉन्टेसरी स्कूल (सीएमएस) के वर्ल्ड यूनिटी कन्वेंशन सेंटर में विश्व के मुख्य न्यायाधीशों के 25वें अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का उद्घाटन करने के दौरान अपने संबोधन में कही। कार्यक्रम में 56 देशों के 178 मुख्य न्यायाधीश और डेलिगेट्स ने भाग लिया।

‘अनुच्छेद 51 की भावनाओं को विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक’
अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने भारत के संविधान के अनुच्छेद 51 की भावनाओं को विश्व शांति और सुरक्षा के लिए प्रेरक बताया। उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद सम्मानजनक अंतरराष्ट्रीय संबंधों को विकसित करने और संघर्षों को शांतिपूर्ण ढंग से हल करने के लिए नैतिक मार्ग का अनुसरण करने के लिए हम सभी को प्रेरित करता है। उन्होंने समारोह को प्रेरणादायक बताते हुए कहा कि 26 नवंबर 2024 को संविधान अंगीकरण के 75 वर्ष पूरे होंगे। यह संविधान के अंगीकृत होने के अमृत महोत्सव वर्ष की शुरुआत के दौरान आयोजित हो रहा है।

‘युद्ध समस्याओं का समाधान नहीं है’
योगी आदित्यनाथ ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा संयुक्त राष्ट्र के ‘समिट ऑफ दि फ्यूचर’ में दिये गये संबोधन की चर्चा करते हुए कहा कि युद्ध समस्याओं का समाधान नहीं है। युद्ध ने दुनिया के ढाई अरब बच्चों के भविष्य को खतरे में डाला है। उन्होंने दुनिया के नेताओं से आग्रह किया कि वे एकजुट होकर आने वाली पीढ़ियों के लिए स्वच्छ, सुरक्षित और भयमुक्त समाज का निर्माण करें। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सम्मेलन को वैश्विक संवाद और सहयोग का मंच बताते हुए विश्वास व्यक्त किया कि अनुच्छेद 51 की भावना के अनुरूप यह आयोजन विश्व कल्याण के मार्ग को प्रशस्त करेगा। उन्होंने दुनिया भर के न्यायाधीशों से इस दिशा में सक्रिय योगदान देने का भी आह्वान किया।

‘भारत विश्व शांति और सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध’
मुख्यमंत्री ने संविधान के अनुच्छेद 51 की चर्चा करते हुए कहा कि यह वैश्विक शांति और सौहार्द की दिशा में भारत की सोच को दर्शाता है। उन्होंने कहा कि यह अनुच्छेद संघर्षों के शांतिपूर्ण समाधान और सभी देशों के बीच सम्मानजनक संबंधों को बढ़ावा देने का संदेश देता है। मुख्यमंत्री ने भारत की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए कहा कि संयुक्त राष्ट्र जैसे अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत की सक्रिय भागीदारी से यह स्पष्ट होता है कि भारत विश्व शांति और सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध है।

सीएमएस के संस्थापक को दी श्रद्धांजलि
सीएमएस के संस्थापक डॉ. जगदीश गांधी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी दूरदृष्टि और प्रयासों से यह सम्मेलन एक महत्वपूर्ण मंच बना है। उन्होंने डॉ. भारती गांधी और गीता गांधी को इस कार्यक्रम को अनवरत जारी रखने के लिए धन्यवाद दिया।

इस अवसर पर हंगरी की पूर्व राष्ट्रपति, हैती रिपब्लिक के पूर्व प्रधानमंत्री सहित दुनिया के 56 देशों से आए हुए न्यायमूर्तिगण, सीएमएस की संस्थापक निदेशक डॉ भारती गांधी, प्रबंधक गीता गांधी किंगडन समेत स्कूली बच्चे और अभिभावकगण मौजूद रहे।

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