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बिजनेस

भारत को नया आईपीआर मानदंड अपनाने की जरूरत : अमेरिका

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नई दिल्ली| अमेरिकी सरकार ने सोमवार को इस बात पर जोर दिया कि भारत को बौद्धिक संपदा अधिकार (आईपीआर), स्थानीय स्रोत मानदंड तथा उच्च कुशलता वाले श्रमिकों की गतिशीलता के संबंध में नए मानदंड अपनाने की जरूरत है। अमेरिकी व्यापार प्रतिनिधि राजदूत माइकल फ्रोमन ने यहां कई कोराबारी समूहों के साथ एक गोलमेज सम्मेलन के दौरान यह बात कही। राजदूत फ्रोमन ने कहा कि ट्रांस पैसिफिक पार्टनरशिप (टीपीपी) ने आईपीआर के उच्च मानदंडों को अपनाया है और भारत को भी इस वर्तमान नए आईपीआर मानदंड को देखने की जरूरत है।

फ्रोमन ने सम्मेलन में भाग ले रहे भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) के प्रतिनिधियों से कहा कि व्यापार से संबंधित उन मुद्दों को सुलझाने की जरूरत है, जिन पर अभी तक कोई समझौता नहीं हुआ है। राजदूत फ्रोमन ने कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति ओबामा द्वारा आव्रजन के संबंध में हाल में दिए गए आदेश से एचवनबी वीजा रखने वाले भारतीयों को फायदा होगा।

उन्होंने आशा जताई कि अमेरिकी राष्ट्रपति का हालिया कदम उन भारतीय कंपनियों की चिंताओं को दूर करेगा, जो उच्च कुशलता वाले कर्मियों को अमेरिका भेजते हैं। भारतीय अर्थव्यवस्था में सुधारों पर चर्चा करते हुए सीआईआई अध्यक्ष अजय श्रीराम ने कहा, “भारतीय अर्थव्यवस्था को खोलने के लिए सरकार प्रतिबद्ध है। रक्षा क्षेत्र में हम इसे भलिभांति देख सकते हैं और आशा करते हैं कि ऐसा अन्य क्षेत्रों में भी होगा।”

नेशनल

ऑनलाइन फूड ऑर्डरिंग ऐप को मनमानी करने पर 103 के बदले देने पड़ेंगे 35,453 रु, जानें क्या है पूरा मामला

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हैदराबाद। ऑनलाइन फूड ऑर्डरिंग ऐप स्विगी को ग्राहक के साथ मनमानी करना भारी पड़ गया। कंपनी की इस मनमानी पर एक कोर्ट ने स्विगी पर तगड़ा जुर्माना ठोक दिया। हैदराबाद के निवासी एम्माडी सुरेश बाबू की शिकायत पर उपभोक्ता आयोग ने बड़ा फैसला सुनाया है। बाबू ने आरोप लगाया था कि स्विगी ने उनके स्विगी वन मेंबरशिप के लाभों का उल्लंघन किया और डिलीवरी Food Delivery की दूरी को जानबूझकर बढ़ाकर उनसे अतिरिक्त शुल्क वसूला

क्या है पूरा मामला ?

सुरेश बाबू ने 1 नवंबर, 2023 को स्विगी से खाना ऑर्डर किया था। सुरेश के लोकेशन और रेस्टॉरेंट की दूरी 9.7 किमी थी, जिसे स्विगी ने बढ़ाकर 14 किमी कर दिया था। दूरी में बढ़ोतरी की वजह से सुरेश को स्विगी का मेंबरशिप होने के बावजूद 103 रुपये का डिलीवरी चार्ज देना पड़ा। सुरेश ने आयोग में शिकायत दर्ज कराते हुए कहा कि स्विगी वन मेंबरशिप के तहत कंपनी 10 किमी तक की रेंज में फ्री डिलीवरी करने का वादा किया था।कोर्ट ने बाबू द्वारा दिए गए गूगल मैप के स्क्रीनशॉट्स और बाकी सबूतों की समीक्षा की और पाया कि दूरी में काफी बढ़ोतरी की गई है।

कोर्ट ने स्विगी को अनुचित व्यापार व्यवहार का दोषी पाया और कंपनी को आदेश दिया कि वे सुरेश बाबू को 9 प्रतिशत ब्याज के साथ 350.48 रुपये के खाने का रिफंड, डिलीवरी के 103 रुपये, मानसिक परेशानी और असुविधा के लिए 5000 रुपये, मुकदमे की लागत के लिए 5000 रुपए समेत कुल 35,453 रुपये का भुगतान करे।

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