Connect with us
https://aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

नेशनल

राष्ट्रपति चुनाव में वोटिंग का रिकॉर्ड हुआ कायम, 20 को आएगा रिजल्ट

Published

on

Loading

नई दिल्ली। राजग उम्मीदवार रामनाथ कोविंद और विपक्ष की संयुक्त उम्मीदवार मीरा कुमार के बीच मुख्य मुकाबले वाला देश के 14वें राष्ट्रपति का चुनाव सोमवार को करीब-करीब 100 फीसदी मतदान के साथ संपन्न हुआ। लोकसभा के सचिव एवं निर्वाचन अधिकारी अनूप मिश्रा ने ‘संभवत: अब तक के सर्वाधिक मतदान’ वाला राष्ट्रपति चुनाव करार देते हुए बताया कि निर्वाचक मंडल के ’98-99′ फीसदी सदस्यों ने अपने मताधिकार का इस्तेमाल किया।

मिश्रा ने बताया कि संसद भवन में 717 सांसदों और पांच विधायकों के मतदान करने की संभावना थी, जिनमें से 714 सांसदों और चार विधायकों ने अपने मताधिकार का इस्तेमाल किया। गुजरात से विधायक भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के अध्यक्ष अमित शाह ने दिल्ली में मतदान करने की इजाजत मांगी थी।

मतदान में हिस्सा न लेने वालों में तृणमूल कांग्रेस के सांसद तापस पाल, बीजू जनता दल (बीजद) के सांसद रामचंद्र हंसदा और पीएमके के सांसद अंबुमणि रामदास शामिल रहे। मिश्रा ने बताया कि लोकसभा और राज्यसभा के कुल 776 सदस्यों के पास मताधिकार था, जिनमें से 771 सदस्यों ने मतदान किया। उन्होंने बताया कि लोकसभा और राज्यसभा में दो-दो पद रिक्त थे और भाजपा के सांसद छेदी पासवान को मताधिकार नहीं था।

मिश्रा ने बताया कि 54 सांसदों ने दिल्ली में मतदान की इजाजत मांगी थी। उन्होंने कहा कि अरुणाचल प्रदेश, असम, बिहार, छत्तीसगढ़, गुजरात, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, झारखंड, नगालैंड, उत्तराखंड और पुदुचेरी में 100 फीसदी मतदान दर्ज किया गया। उन्होंने यह भी कहा कि इसके अलावा अन्य राज्यों में भी 100 फीसदी के करीब ही मतदान हुआ है।

मिश्रा ने कहा कि आंध्र प्रदेश, जम्मू एवं कश्मीर, मणिपुर और त्रिपुरा से मत प्रतिशत के अंतिम आंकड़े अभी आने बाकी हैं। सोमवार को संसद भवन और प्रत्येक राज्य की विधानसभाओं में स्थापित 32 मतदान केंद्रों पर मतदान हुआ। मतदान सुबह 10 बजे शुरू हुआ और शाम पांच बजे संपन्न हुआ।

राष्ट्रपति चुनाव में 776 सांसदों और 4,120 विधायकों को मत डालने का अधिकार था तथा निर्वाचक मंडल के कुल मतों की कीमत 10,98,903 है। राज्य विधानसभाओं से मतपेटियां अब दिल्ली लाई जाएंगी, जहां 20 जुलाई को मतों की गणना होगी। 20 जुलाई को ही चुनाव परिणाम घोषित कर दिए जाएंगे।

मिश्रा ने बताया कि दिल्ली में पड़े मतों की गणना सबसे पहले होगी। आठ चरणों में होने वाली मतगणना चार मेजों पर एक साथ होगी और हर चरण के बाद परिणाम घोषित किए जाएंगे। मिश्रा ने बताया कि राज्यों में अधिकतर विधायकों ने शुरुआती तीन घंटे में ही मत डाल दिए थे। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व में आम आदमी पार्टी (आप) के विधायकों और सांसदों ने मतदान किया। पंजाब विधानसभा में मतदान के बाद मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने सभी कांग्रेस विधायकों के लिए नाश्ते की व्यवस्था की थी।

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाली राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के राष्ट्रपति उम्मीदवार बिहार के पूर्व राज्यपाल रामनाथ कोविंद का पलड़ा भारी माना जा रहा है, जिनका मुख्य रूप से कांग्रेस के नेतृत्व में 17 विपक्षी दलों की संयुक्त उम्मीदवार लोकसभा की पूर्व अध्यक्ष मीरा कुमार से मुकाबला है।

भाजपा उम्मीदवार कोविंद को राजग से अलग भी कई दलों ने समर्थन देने की घोषणा की है और कुल मिलाकर उन्हें 63 फीसदी वोट मिलने की उम्मीद है। मौजूदा राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का कार्यकाल 25 जुलाई को समाप्त हो रहा है। अगर राजग के उम्मीदवार कोविंद चुनाव जीतते हैं तो वह के. आर. नारायणन के बाद देश के दूसरे दलित राष्ट्रपति होंगे।

नेशनल

महाराष्ट्र में बोले अमित शाह- शरद पवार की चार पुश्तें भी जम्मू-कश्मीर में धारा 370 वापस नहीं ला सकती

Published

on

Loading

नई दिल्ली। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने महाराष्ट्र के सांगली में एक जनसभा को संबोधित करते हुए राहुल गांधी, कांग्रेस और महाविकास अघाड़ी गठबंधन पर जमकर हमला बोला। अमित शाह ने कहा, “मैं एमवीए वालों से पूछने आया हूं कि औरंगाबाद का नाम संभाजी नगर होना चाहिए या नहीं?

अमित शाह ने आगे कहा, ”अभी-अभी जम्मू कश्मीर के असेंबली में मीटिंग हुई, नेशनल कॉन्फ्रेंस के साथ कांग्रेस पार्टी ने भी एक संकल्प किया कि धारा 370 वापस लाइए, कश्मीर जो है भारत का अभिन्न यंग नहीं है। मैं आज संभाजी महाराज की भूमि पर कह कर जा रहा हूं- शरद पवार साहब, चाहे आपकी चार पुश्ते भी आ जाएं, हम धारा 370 को वापस नहीं आने देंगे।”

अमित शाह यहीं पर नहीं रुके। उन्होंने राम मंदिर का जिक्र करके कांग्रेस पार्टी पर हमला किया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी 75 साल से राम मंदिर को लटका रही थी। राहुल गांधी अयोध्या नहीं गए, उन्हें वोट बैंक से डर लगता है। हम बीजेपी वाले उस वोट बैंक से नहीं डरते हैं. हमने काशी विश्वनाथ का कॉरिडोर भी बनाया, सोमनाथ का मंदिर भी सोने का बन रहा है। उन्होंने आगे कहा कि यहां पर तुष्टिकरण की राजनीति चल रही है, इसे रोकने का एकमात्र रास्ता बीजेपी की सरकार है। महायुति की सरकार है।

 

Continue Reading

Trending