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विवादों के बीच अकालियों को धर्म का सहारा

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चंडीगढ़| पंजाब में सत्ताधारी शिरोमणि अकाली दल ने विवादों के घेरे से निकलने के लिए धर्म का सहारा लिया है। यह कहना है विपक्षी नेताओं का।

लोकसभा में कांग्रेस के उपनेता अमरिंदर सिंह ने कहा कि मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल और उनकी पार्टी आर्थिक और कानून-व्यवस्था के मोर्चे पर पूरी तरह से असफल रही है। इसलिए अब वह वापस पंथिक एजेंडे पर काम कर रहे हैं।

अमरिंदर पंजाब सरकार और शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एसजीपीसी) द्वारा छह मई को शुरू की गई धार्मिक दर्शन यात्रा का जिक्र कर रहे थे। इस यात्रा की वजह से हाल ही के विवादों से ध्यान हटकर धार्मिक मुद्दों की ओर चला गया है।

पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री अमरिंदर ने कहा, “यह चुनाव एक तरफ आर्थिक प्रगति और विकास के बीच और दूसरी तरफ पंथिक एजेंडे का है। जब चीजें बादल परिवार के खिलाफ चली जाती हैं तो वे धार्मिक मुद्दों को उठा देते हैं। ये इसी के लिए लोकप्रिय हैं।”

मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल की सरकार के लिए सबसे बड़ा विवाद हाल ही में पंजाब के मोगा कस्बे में एक दलित किशोरी की मौत से जुड़ा है। इस किशोरी और इसकी मां के साथ चलती बस में छेड़छाड़ किया गया और जब उसने विरोध किया तो उसे चलती बस से धक्का दे दिया गया। इस हादसे में लड़की की मौत हो गई थी, जबकि उसकी मां गंभीर रूप से घायल हो गई।

यह बस ऑर्बिट एविएशन परिवहन कंपनी की है, जिसका स्वामित्व पंजाब के रसूखदार उपमुख्यमंत्री सुखबीर सिंह बादल के पास है।

इस घटना के बाद विपक्षी दलों को बादल सरकार पर निशाना साधने का मौका मिल गया।

अमरिंदर ने मुख्यमंत्री और उनकी सरकार की असफलताओं को गिनाते हुए कहा, “मैं बादल को चुनौती देता हूं कि वह एक ऐसी उपलब्धि बता दे, जिसका वह श्रेय लेना चाहते हैं। गेहूं खरीदी, कानून-व्यवस्था, अर्थव्यवस्था, उद्योग, कृषि सभी क्षेत्रों में वह और उनकी सरकार असफल रही है।”

प्रताप सिंह बाजवा और सुखपाल सिंह खैरा जैसे कांग्रेस नेताओं ने सवाल उठाया कि बादल परिवार का कारोबार दिन दूना रात चौगुना तरक्की कैसे कर रहा है, जबकि राज्य ऋण के जाल में फंसा हुआ है।

इस आलोचना से अडिग बादल परिवार ने 2.25 करोड़ रुपये की लागत से इस धार्मिक कार्यक्रम का आगाज किया है। वाहन पर तीन सिख गुरुओं के अवशेषों के साथ पूरे पंजाब में यात्रा की जाएगी, ताकि लोग करीब से इनका दर्शन कर सकें और आर्शीवाद पा सकें।

सुखबीर सिंह बादल ने कहा, “दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी और अन्य संगठनों की मदद से यह यात्रा देश के विभिन्न राज्यों में भी की जाएगी। धार्मिक दर्शन यात्रा राजस्थान, दिल्ली, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में भी की जाएगी।”

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बदल गई उपचुनावों की तारीख! यूपी, केरल और पंजाब में बदलाव पर ये बोला चुनाव आयोग

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नई दिल्ली। विभिन्न उत्सवों के कारण केरल, पंजाब और उत्तर प्रदेश में विधानसभा क्षेत्रों में उपचुनाव 13 नवंबर की जगह 20 नवंबर को होंगे। कांग्रेस, भाजपा, बसपा, रालोद और अन्य राष्ट्रीय और राज्य दलों के अनुरोध पर चुनाव आयोग ने ये फैसला लिया है।

विभिन्न उत्सवों की वजह से कम मतदान की किसी भी संभावना को खारिज करने के लिए, चुनाव आयोग ने ये फैसला लिया है। ऐसे में ये साफ है कि अब यूपी, पंजाब और केरल में उपचुनाव 13 नवंबर की जगह 20 नवंबर को होंगे।

चुनाव आयोग के मुताबिक राष्ट्रीय और राज्य स्तर की पार्टियों की ओर से उनसे मांग की गई थी कि 13 नवंबर को होने वाले विधानसभा उपचुनाव की तारीख में बदलाव किया जाए, क्योंकि उस दिन धार्मिक, सामाजिक कार्यक्रम हैं। जिसके चलते चुनाव संपन्न करवाने में दिक्कत आएगी और उसका असर मतदान प्रतिशत पर भी पड़ेगा।

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