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सांसदों के निलंबन को सोनिया ने बताया लोकतंत्र की हत्या, राहुल संग किया प्रदर्शन

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नई दिल्ली। कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मंगलवार को कहा कि लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन द्वारा कांग्रेस के 25 सांसदों को निलंबित किया जाना लोकतंत्र की हत्या है। उन्होंने इसके विरोध में संसद परिसर में कांग्रेस सांसदों के प्रदर्शन का नेतृत्व किया। संसद के दोनों सदनों (लोकसभा एवं राज्यसभा) के सभी प्रमुख कांग्रेस नेताओं ने पार्टी सांसदों को निलंबित किए जाने के विरोध में मंगलवार को बाहों पर काली पट्टियां बांध कर संसद परिसर में महात्मा गांधी की प्रतिमा के सामने प्रदर्शन किया।

प्रदर्शन में पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी, लोकसभा में कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे और पूर्व केंद्रीय मंत्री गुलाम नबी आजाद और आनंद शर्मा शामिल रहे। प्रदर्शनकारी सांसदों ने ‘नरेंद्र मोदी हाय हाय’, ‘हमें न्याय चाहिए’ और ‘तानाशाह शर्म करो’ जैसे नारे लगाए। सोनिया गांधी ने कहा कि महाजन द्वारा कांग्रेस के 25 सांसदों को निलंबित किया जाना गैरलोकतांत्रिक है और यह लोकतंत्र की हत्या है।

सोनिया ने कहा, “सदन की कार्यवाही चलाना सरकार का दायित्व है। जिस तरीके से हमारे सांसदों को निलंबित किया गया, वह गैरलोकतांत्रिक है। लोकतंत्र की हत्या की जा रही है।” कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेताओं के इस्तीफे की मांग को न्यायोचित बताया। उन्होंने कहा, “व्यापमं घोटाले ने हजारों लोगों की जिंदगियां बर्बाद कर दी है। सुषमा स्वराज ने कानून तोड़ा है और राजस्थान की मुख्यमंत्री (वसुंधरा राजे) की पूर्व आईपीएल प्रमुख ललित मोदी के साथ वित्तीय लेन-देन है।”

उन्होंने कहा, “उनके इस्तीफे की मांग कांग्रेस पार्टी की मांग नहीं है, बल्कि पूरे देश की मांग है। मैं बस देश की आवाज प्रधानमंत्री तक पहुंचाना चाहता हूं।” उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री को अपने ‘मन की बात’ कहना पसंद है, जबकि उन्हें ‘हिंदुस्तान के मन की बात’ ज्यादा सुननी चाहिए।” राहुल ने कहा, “हम अपने रुख से डिगेंगे नहीं और जहां तक भ्रष्टाचार, सुषमा स्वराज और व्यापमं का मामला है, सरकार पर से दबाव हटाया नहीं जाएगा।”

उन्होंने कहा कि कांग्रेस के 25 सांसदों के साथ जैसा व्यवहार हुआ, ठीक वैसा ही पूरे देश में कॉलेज के विद्यार्थियों, दूसरे संगठनों और इंटरनेट पर नियंत्रण करने के लिए किया जा रहा है। पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कहा कि लोकसभा में कांग्रेस के सांसदों को निलंबित कर देना इस मुद्दे का समाधान निकालने का तरीका नहीं है। खड़गे ने कहा, “तृणमूल कांग्रेस, वाम मोर्चा और आम आदमी पार्टी (आप) ने हमें समर्थन दिया है और कहा है कि वे लोकसभा की कार्यवाही का बहिष्कार करेंगे।”

लोकसभा में मंगलवार को सदन की कार्यवाही हंगामे के साथ शुरू हुई, जब समाजवादी पार्टी (सपा) के अध्यक्ष मुलायम सिंह यादव ने कांग्रेस सांसदों के निलंबन के मुद्दे पर अपनी बात रखने की अनुमति मांगी। महाजन ने इस पर कहा कि वह यह मुद्दा बाद में भी उठा सकते हैं, लेकिन सपा सदस्य इसके विरोध में सदन से बहिर्गमन कर गए। तृणमूल कांग्रेस, वाम मोर्चा और जनता दल (युनाइटेड) जैसी कई पार्टियों ने भी लोकसभा की कार्यवाही का बहिष्कार किया।

प्रादेशिक

IPS अधिकारी संजय वर्मा बने महाराष्ट्र के नए डीजीपी, रश्मि शुक्ला के ट्रांसफर के बाद मिली जिम्मेदारी

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महाराष्ट्र। महाराष्ट्र के नए डीजीपी का कार्यभार IPS संजय वर्मा को सौंपा गया है। आईपीएस संजय वर्मा को केंद्रीय चुनाव आयोग ने महाराष्ट्र के नए पुलिस महानिदेशक के रूप में नियुक्त किया है। कुछ ही दिनों में महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव है। उससे पहले चुनाव आयोग ने राज्य कांग्रेस प्रमुख नाना पटोले की शिकायत मिलने के बाद डीजीपी रश्मि शुक्ला के तबादले का आदेश दिया था।

कौन हैं IPS संजय वर्मा?

IPS संजय वर्मा 1990 बैच के पुलिस अधिकारी हैं। वह महाराष्ट्र में वर्तमान में कानून और तकनीकी के डीजी के रूप में कार्यरत रहे। वह अप्रैल 2028 में सेवानिवृत्त पुलिस सेवा से रिटायर होंगे। दरअसल, डीजीपी रश्मि शुक्ला को लेकर सियासी दलों के बीच पिछले कुछ समय से माहौल गर्म था। कांग्रेस के बाद उद्धव गुट की शिवसेना ने भी चुनाव आयोग को पत्र लिखकर उन्हें हटाने की मांग की थी।

कांग्रेस ने रश्मि शुक्ला की निष्पक्षता पर सवाल उठाते हुए चुनाव आयोग से उन्हें महानिदेशक पद से हटाने की मांग की थी। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष नाना पटोले ने उन पर आरोप लगाया था कि वह बीजेपी के आदेश पर सरकार के लिए काम कर रही हैं।

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