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हार्दिक पर देशद्रोह का आरोप बरकरार, समर्थकों ने दी आत्मदाह की चेतावनी

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अहमदाबाद। गुजरात हाईकोर्ट ने मंगलवार को पाटीदार अनामत आंदोलन समिति (पीएएएस) के नेता हार्दिक पटेल पर लगे देशद्रोह के आरोप को हटाने से संबंधित याचिका खारिज कर दी। इस बीच, हार्दिक के तीन समर्थकों ने कहा है कि अगर पीएएएस नेता को 29 अक्टूबर तक रिहा नहीं किया गया और उन पर लगे देशद्रोह के आरोप को वापस नहीं लिया गया तो वे आत्मदाह कर लेंगे।

पटेलों के लिए आरक्षण की मांग कर रहे हार्दिक पर लगे देशद्रोह के आरोप को हटाने की याचिका उनके पिता और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के कार्यकर्ता भरत पटेल ने 20 अक्टूबर को दाखिल की थी। न्यायाधीश जे.बी. पारदीवाला ने मंगलवार को याचिका पर सुनवाई करते हुए उनके अनुरोध को खारिज कर दिया। पटेल समुदाय के तीन युवाओं ने कहा कि अगर हार्दिक को गुरुवार तक रिहा नहीं किया गया तो वे राज्य विधानसभा के सामने आत्मदाह कर लेंगे।

इन तीनों के नाम भरत पटेल, विजय पटेल और प्रतीक पटेल हैं। तीनों उत्तर गुजरात के अरावल्ली जिले के तेनपुर गांव के रहने वाले हैं। इन्होंने अधिकारियों को ज्ञापन सौंपकर कहा है कि अगर हार्दिक पर लगे देशद्रोह के आरोप को नहीं हटाया गया तो वे गांधीनगर में विधानसभा के सामने आत्मदाह कर लेंगे और इसके लिए सत्तारूढ़ दल जिम्मेदार होगा।

तेनपुर वही गांव है जहां से कुछ दिन पहले हार्दिक लापता हो गए थे और अगले दिन सबके सामने आए थे। उनका कहना है कि उन्हें सादे कपड़े में आए पुलिसवालों ने अगवा किया था। मामला अदालत में है। अदालत ने एक सुनवाई में अगवा का नाटक रचने की बात कही थी। अब अदालत ने हार्दिक से मामले में विस्तृत हलफनामा मांगा है।

सूरत में महानगर दंडाधिकारी की अदालत द्वारा हार्दिक की हिरासत बढ़ाए जाने की मांग खारिज होने के ठीक बाद अहमदाबाद की पुलिस अपराध शाखा ने हार्दिक को उनके पांच सहयोगियों के साथ राजद्रोह के मामले में हिरासत में ले लिया। वे सभी एक सप्ताह के लिए पुलिस हिरासत में हैं। हार्दिक ने सूरत के एक युवक विपुल देसाई को खुदकुशी करने के बारे में सोचने की बजाय एक-दो पुलिस वालों की हत्या करने का सुझाव दिया था, जिसके बाद उन पर देशद्रोह का मामला दर्ज किया गया।

विपुल देसाई ने घोषणा की थी कि पटेल समुदाय को सरकारी नौकरियों और शिक्षा संस्थानों में अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के तहत आरक्षण देने की मांग को लेकर दबाव बनाने के लिए वे खुदकुशी कर लेंगे। हार्दिक तीन अक्टूबर को एक समाचार चैनल के रिपोर्टर के साथ देसाई से मिलने गए थे। समाचार चैनल ने जैसे ही देसाई के साथ हार्दिक की बातचीत प्रसारित की, यह सोशल मीडिया पर चारों ओर छा गई। अहमदाबाद पुलिस अपराध शाखा ने दावा किया है कि उनके पास पीएएएस के नेताओं और समर्थकों के बीच हुई बातचीत के टेलीफोन कॉल के रिकॉर्ड मौजूद हैं, जिसमें हार्दिक और उनके सहयोगी कथित तौर पर युवकों को पुलिस और भाजपा के सत्तारूढ़ नेताओं के खिलाफ हिंसा के लिए भड़का रहे हैं। पुलिस ने बताया कि इसी आधार पर उनके खिलाफ देशद्रोह का मामला दर्ज किया गया।

इस बीच अपराध शाखा ने एक पुलिस कांस्टेबल और एक कंप्यूटर ऑपरेटर को हार्दिक के साथ सेल्फी खींचने के बाद निलंबित कर दिया है। यह तस्वीर भी सोशल मीडिया पर काफी चर्चित रही है।

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पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा में बड़ा आतंकी हमला, 38 लोगों की मौत

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पख्तूनख्वा। पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा में बड़ा आतंकी हमला हुआ है। इस हमले में 38 लोगों की मौत हो गई है। यह हमला खैबर पख्तूनख्वा के डाउन कुर्रम इलाके में एक पैसेंजर वैन पर हुआ है। हमले में एक पुलिस अधिकारी और महिलाओं समेत दर्जनों लोग घायल भी हुए हैं। जानकारी के मुताबिक उत्तर-पश्चिमी पाकिस्तान के अशांत प्रांत खैबर पख्तूनख्वा में आतंकियों ने शिया मुस्लिम नागरिकों को ले जा रहे यात्री वाहनों पर गोलीबारी की है। यह क्षेत्र में हाल के वर्षों में इस तरह का सबसे घातक हमला है। मृतकों की संख्या में इजाफा हो सकता है।

AFP की रिपोर्ट के मुताबिक इस हमले में 38 लोगों की मौत हुई है. पैसेंजर वैन जैसे ही लोअर कुर्रम के ओचुट काली और मंदुरी के पास से गुजरी, वहां पहले से घात लगाकर बैठे आतंकियों ने वैन पर अंधाधुंध गोलियां बरसानी शुरू कर दीं. पैसेंजर वैन पाराचिनार से पेशावर जा रही थी। पाकिस्तान की समाचार एजेंसी डॉन के मुताबिक तहसील मुख्यालय अस्पताल अलीजई के अधिकारी डॉ. ग़यूर हुसैन ने हमले की पुष्टि की है.

शिया और सुन्नी मुसलमानों के बीच तनाव 

अफगानिस्तान की सीमा से लगे कबायली इलाके में भूमि विवाद को लेकर शिया और सुन्नी मुसलमानों के बीच दशकों से तनाव बना हुआ है। किसी भी समूह ने घटना की जिम्मेदारी नहीं ली है। जानकारी के मुताबिक “यात्री वाहनों के दो काफिले थे, एक पेशावर से पाराचिनार और दूसरा पाराचिनार से पेशावर यात्रियों को ले जा रहा था, तभी हथियारबंद लोगों ने उन पर गोलीबारी की।” चौधरी ने बताया कि उनके रिश्तेदार काफिले में पेशावर से यात्रा कर रहे थे।

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