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शाह ने पहले भाषण में ही कांग्रेस को लिया निशाने पर, ‘पकौड़े’ पर किया तंज

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नई दिल्ली | भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) अध्यक्ष अमित शाह ने राज्यसभा में अपने पहले भाषण में सोमवार को कहा कि पकौड़ा बेचना शर्मनाक नहीं है लेकिन इसकी तुलना भीख मांगने से करना शर्मनाक है। राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर दिए गए अपने भाषण में उन्होंने बेरोजगारी पर भी अपनी बात रखी।  शाह ने कहा कि पकौड़े बेचना बेरोजगार रहने से ज्यादा बेहतर है।

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उन्होंने कहा, “कुछ लोग पकौड़ा बेचने के बारे में कई बातें कह रहे हैं। मैंने भी पी. चिदंबरम का ट्वीट पढ़ा। हां, मेरा मानना है कि बेरोजगार रहने से ज्यादा बेहतर पकौड़ा बेचना है।” अमित शाह ने कहा, “पकौड़ा बनाना व बेचना शर्म की बात नहीं है, लेकिनइसकी तुलना भीख मांगने से करना निश्चिय ही शर्मनाक है।” उन्होंने विपक्ष के शोरगुल के दौरान कहा, “आज यदि एक व्यक्ति पकौड़ा बेचकर अपना जीविकोपार्जन कर रहा है तो आने वाले कल में उसका बेटा एक बड़ा उद्योगपति बन सकता है। एक चाय विक्रेता का बेटा देश का प्रधानमंत्री बन सकता है।”

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बजट सत्र से पहले एक टेलीविजन साक्षात्कार में कहा था कि जो लोग पकौड़ा बेचकर रोजाना 200 रुपये कमा रहे हैं, उन्हें रोजगार संपन्न मना जा सकता है। मोदी के इस बयान की विपक्ष ने कड़ी निंदा की। विपक्ष ने कहा कि यह एक क्रूर मजाक है और यह भीख मांगने को भी रोजगार बताने जैसा है। वरिष्ठ कांग्रेस नेता व पूर्व वित्त मंत्री चिदंबरम ने ट्वीट किया, “प्रधानमंत्री यदि पकौड़ा बेचने को नौकरी कहते हैं, तो उसी तर्क से भीख मांगना भी एक नौकरी है। इस तरह सभी गरीब व अक्षम व्यक्तियों की गणना रोजगार कर रहे व्यक्ति के रूप में की जाए, जो जीविका के लिए भीख मांगने को मजबूर हैं।”

शाह ने कांग्रेस के 55 साल के शासन को व्यापक रूप से बेरोजगारी के लिए जिम्मेदार ठहराया। अमित शाह ने कहा कि देश में 55 साल कांग्रेस की सरकार थी। हम सात-आठ साल सत्ता में रहे है। यह समस्या (बेरोजगारी) ज्यादा भयावह नहीं हुई होती यदि 55 सालों के दौरान प्रभावी कदम उठाया गया होता। अमित शाह ने कहा, “यह याद करना उचित होगा कि 2013 में क्या परिस्थितियां थीं। यहां तक कि सीमा पर सुरक्षा करने वाले जवान भी सरकार की दुविधा की स्थिति की वजह से अपने वीरता का प्रदर्शन नहीं कर पाते थे। पूरी तरह से नीतिगत अक्षमता व्याप्त थी।”

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महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे की हार पर बोलीं कंगना रनौत, उनका वही हश्र हुआ जो ‘दैत्य’ का हुआ था

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मुंबई। महाराष्ट्र में बीजेपी के नेतृत्व वाले महायुति गठबंधन को मिली प्रचंड जीत ने विपक्षी गठबंधन महा विकास अघाड़ी में शामिल पार्टियों को चारों खाने चित कर दिया है। महाराष्ट्र में पार्टी की प्रचंड जीत पर बीजेपी की सांसद कंगना रनौत काफी खुश हैं। वहीं, उद्धव ठाकरे की हार पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कंगना ने कहा कि महिलाओं का अपमान करने की वजह से उनका ये हश्र हुआ है। मुझे उनकी हार का अनुमान पहले से ही था।

कंगना रनौत ने कहा, “मुझे उद्धव ठाकरे की हार का अनुमान पहले ही था। जो लोग महिलाओं का अपमान करते हैं, वे राक्षस हैं और उनका भी वही हश्र हुआ जो ‘दैत्य’ का हुआ था। वे हार गए, उन्होंने महिलाओं का अपमान किया। मेरा घर तोड़ दिया और मेरे खिलाफ अपशब्दों का भी इस्तेमाल किया, इसलिए यह स्पष्ट है कि वे सही और गलत की समझ खो चुके हैं।

बता दें कि कंगना रनौत और महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की महा विकास आघाडी (एमवीए) सरकार के बीच 2020 में तब कड़वाहट भरी झड़प हुई थी, जब तत्कालीन अविभाजित शिवसेना के नेतृत्व वाली बृहन्मुंबई महानगरपालिका (बीएमसी) ने उनके बांद्रा स्थित बंगले में कथित अवैध निर्माण को ध्वस्त कर दिया था। अपने बंगले में तोड़फोड़ की कार्रवाई से पहले रनौत ने यह भी कहा था कि उन्हें “मूवी माफिया” से ज्यादा मुंबई पुलिस से डर लगता है और उन्होंने महाराष्ट्र की राजधानी की तुलना पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर से की थी।

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