Connect with us
https://aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

ऑफ़बीट

अगर पूजा मेरी बेटी नहीं होती तो मैं उससे शादी कर लेता: महेश भट्ट

Published

on

Loading

मुंबई। एक समय था जब महेश भट्ट अक्सर अपने रिश्तों को लेकर चर्चाओं और कुचर्चाओं में रहते थे। कभी परवीन बाबी से अपने रिश्तों को लेकर तो कभी अपनी बेटी के साथ कराए फोटोशूट को लेकर। अगर नज़र डालें महेश भट्ट के इतिहास पर तो देखने को मिलता है कि भट्ट साहब ने वर्ष 1970 में किरण भट्ट से शादी की, इनके दो बच्चे हुए पूजा भट्ट और राहुल भट्ट। 1990 में दोनों अलग हो गए। इसके बाद महेश भट्ट ने सोनी राज़दान से शादी की। जिनसे इन्हें दो बेटियां शाहीन भट्ट और आलिया भट्ट हुए।

महेश भट्ट अपनी बेटी पूजा भट्ट के साथ कराए एक फोटोशूट के बाद काफ़ी चर्चाओं में रहे थे। इस विवादित फोटोशूट में बाप-बेटी की जोड़ी स्मूच करती हुई नजर आ रही थी। इस फोटोशूट को देखने के बाद सभी ने महेश व पूजा की खूब आलोचना की थी। कईयों ने कहा था कि जिस तरह इस फोटोशूट में पिता व बेटी एक-दूसरे को किस कर रहें हैं वो सभ्यता के विरूद्ध था। पूजा व महेश ने ये फोटोशूट एक मैगज़ीन के लिए कराया था। जब कवर पेज पर सभी ने इस फोटो को देखा तो सामाजिक व धार्मिक संगठनो ने भी उनके इस फोटोशूट का जमकर विरोध किया था।

इंटरनेट पर कई जगह खबरें हैं कि महेश भट्ट ने एक बार कहा था कि यदि पूजा उनकी बेटी न होती तो वो उनसे शादी कर लेते। ऐसे फोटोशूट व बयान सुनने के बाद हर कही महेश व पूजा के रिश्तो की आलोचना हुई थी।

ऑफ़बीट

बिहार का ‘उसैन बोल्ट’, 100 किलोमीटर तक लगातार दौड़ने वाला यह लड़का कौन

Published

on

Loading

चंपारण। बिहार का टार्जन आजकल खूब फेमस हो रहा है. बिहार के पश्चिम चंपारण के रहने वाले राजा यादव को लोगों ने बिहार टार्जन कहना शुरू कर दिया है. कारण है उनका लुक और बॉडी. 30 मार्च 2003 को बिहार के बगहा प्रखंड के पाकड़ गांव में जन्मे राज़ा यादव देश को ओलंपिक में गोल्ड मेडल दिलाना चाहते हैं.

लिहाजा दिन-रात एकक़र फिजिकल फिटनेस के साथ-साथ रेसलिंग में जुटे हैं. राज़ा को कुश्ती विरासत में मिली है. दादा जगन्नाथ यादव पहलवान और पिता लालबाबू यादव से प्रेरित होकर राज़ा यादव ने सेना में भर्ती होने की कोशिश की. सफलता नहीं मिली तो अब इलाके के युवाओं के लिए फिटनेस आइकॉन बन गए हैं.

महज 22 साल की उम्र में राजा यादव ‘उसैन बोल्ट’ बन गए. संसाधनों की कमी राजा की राह में रोड़ा बन रहा है. राजा ने एनडीटीवी से कहा कि अगर उन्हें मौका और उचित प्रशिक्षण मिले तो वे पहलवानी में देश का भी प्रतिनिधित्व कर सकते हैं. राजा ओलंपिक में गोल्ड मेडल लाने के लिए दिन रात मैदान में पसीना बहा रहे हैं. साथ ही अन्य युवाओं को भी पहलवानी के लिए प्रेरित कर रहे हैं.

’10 साल से मेहनत कर रहा हूं. सरकार ध्यान दे’

राजा यादव ने कहा, “मेरा जो टारगेट है ओलंपिक में 100 मीटर का और मेरी जो काबिलियत है उसे परखा जाए. इसके लिए मैं 10 सालों से मेहनत करते आ रहा हूं तो सरकार को भी ध्यान देना चाहिए. मेरे जैसे सैकड़ों लड़के गांव में पड़े हुए हैं. उन लोगों के लिए भी मांग रहा हूं कि उन्हें आगे बढ़ाने के लिए सुविधा मिले तो मेरी तरह और युवक उभर कर आएंगे.”

Continue Reading

Trending