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हेल्थ

मोटापे को कहें अलविदा, मधुमेह से पाएं मुक्ति

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नई दिल्ली| खान-पान की गलत आदतें, धूम्रपान की लत और अस्वस्थ जीवनशैली भारतीय युवाओं में मधुमेह (डायबिटीज) की आशंका को बढ़ा रही है। मोटापा इसमें समस्या और बढ़ा देता है। ऐसे में स्वस्थ जीवनशैली और मोटापे से दूर रहकर मधुमेह जैसी बीमारी से भी बचा जा सकता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के मुताबिक, डायबिटीज एशिया की बड़ी सबसे बड़ी स्वास्थ्य समस्या के रूप में उभरी है, एशियाई सबसे अधिक मात्रा में मधुमेह का शिकार हो रहे हैं।

अंतर्राष्ट्रीय मधुमेह फेडरेशन के अनुसार, भारत में वर्तमान समय में 6.5 करोड़ वयस्क मधुमेह की समस्या से ग्रस्त हैं और लगभग 7.7 करोड़ लोगों में प्री डायबिटीज की संभावनाएं दिखाई दे रही हैं। इनके अनुसार, 2035 तक यह आंकड़े 10.9 करोड़ तक पहुंचने की आशंका जाताई जा रही है। 40 वर्ष से कम उम्र के, लगभग 15 प्रतिशत (1.5 करोड़) लोग मधुमेह की इस समस्या से ग्रस्त हैं।

ऐसा पाया जाता कि मधुमेह के रोगी मधुमेह के साथ-साथ अन्य कई शारीरिक बीमारियों, जैसे-मोटापा, डिप्रेशन, उच्च रक्तचाप, सुनने में समस्या, आर्थोपेडिक जटिलताओं और हृदय संबंधी रोग का शिकार हो जाते हैं।

मोटापा मधुमेह की समस्या का एक बड़ा कारण है। अतिरिक्त चर्बी, इंसुलिन संवेदनशील कोशिकाओं को प्रभावित करती है साथ ही ये कम इंसुलिन की वजह से संवेदनशीलता को भी जन्म दे सकता है।

ऐसा माना जाता है कि मोटापा, टाइप 2 मधुमेह के खतरे को लगभग 80-85 तक बढ़ा देता है, जबकि हाल के शोध के अनुसार, मोटापे से ग्रस्त लोगों में लगभग टाइप 2 डायबिटीज की संभावना उन लोगों से 80 गुना ज्यादा होती है, जिनकी बीएमआई 22 से कम है।

फोर्टिस अस्पताल में मेटाबोलिक एंड बरिएट्रिक सर्जरी के निदेशक डॉ. अतुल पीटर्स बताते हैं कि आजकल कई युवा भागदौड़ भरी जीवनशैली और काम के दबाव से तनाव का शिकार हो जाते हैं, जिसके चलते वे तनाव दूर करने के लिए धूम्रपान का सहारा लेते हैं। अंतत: ये समस्याएं मोटापे और आगे चलकर मधुमेह का रूप ले लेती हैं।

तथ्यों के मुताबिक, वजन में कमी और मेटाबॉलिक सर्जरी मोटापे से निपटने में लोगों की मदद करता है, साथ ही यह टाइप 2 डायबिटीज की समस्या से ग्रस्त मोटे लोगों को भी इससे निजात दिलाता है। ऐसे में मधुमेह से ग्रस्त लोगों को इसकी रोकथाम के लिए जागरुक होने की आवश्यकता है। मोटापे से दूर रहकर और स्वस्थ भोजन के जरिए मधुमेह की समस्याओं से निपटा जा सकता है।

भारत की मेटाबोलिक सर्जरी फाउंडेशन के अनुसार, भारत में कई बरिएट्रिक सर्जरी देखी गई हैं जिसके जरिए मधुमेह की समस्या का इलाज किया गया है। फाउंडेशन के अनुसार, इनकी संख्या 2011 में लगभग 3500 थी और अब 2013 में ये बढ़कर 10,000 हो गई है।

मधुमेह की समस्या से पार पाने के लिए उचित और दृढ़ संकल्प जरूरी है। इसके अलावा रक्त ग्लूकोज वैल्यू की नियमित जांच के साथ-साथ उचित देखभाल भी मधुमेह की समस्या से निपटने का एक महत्पूर्ण साधन है।

 

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दिल्ली में डेंगू, मलेरिया और चिकनगुनिया के मरीजों की संख्या में तेजी से बढ़ोतरी

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नई दिल्ली। दिल्ली में डेंगू, मलेरिया और चिकनगुनिया के मरीजों की संख्या में तेजी से बढ़ोतरी का क्रम लगातार जारी है. अस्पतालों और नर्सिंग होम्स में अकेले डेंगू के मरीजों में भारी संख्या में इजाफे की सूचना है. दिल्ली नगर निगम के आंकड़ों के मुताबिक साल 2024 में डेंगू के अब तक 4533 मरीज सामने आए हैं. इनमें 472 मरीज नवंबर माह के भी शामिल हैं.

एमसीडी की ओर से जारी आंकड़ों के मुताबिक दिल्ली में इस साल अब तक मलेरिया के 728 और चिकनगुनिया के 172 केस दर्ज हुए हैं.

डेंगू एक गंभीर वायरल संक्रमण है, जो एडीज़ मच्छर के काटने से फैलता है। इसके होने से मरीज को शरीर में कमजोरी लगने लगती है और प्लेटलेट्स डाउन होने लगते हैं। एक आम इंसान के शरीर में 3 से 4 लाख प्लेटलेट्स होते हैं। डेंगू से ये प्लेटलेट्स गिरते हैं। डॉक्टरों का मानना है कि 10 हजार प्लेटलेट्स बचने पर मरीज बेचैन होने लगता है। ऐसे में लगातार मॉनीटरिंग जरूरी है।

डॉक्टरों के अनुसार, डेंगू के मरीज को विटामिन सी से भरपूर फल खिलाना सबसे लाभकारी माना जाता है। इस दौरान कीवी, नाशपाती और अन्य विटामिन सी से भरपूर फ्रूट्स खिलाने चाहिए। इसके अलावा मरीज को ज्यादा से ज्यादा लिक्विड डाइट देना चाहिए। इस दौरान मरीज को नारियल पानी भी पिलाना चाहिए। मरीज को ताजा घर का बना सूप और जूस दे सकते हैं।

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