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नेशनल

दिल्ली कांग्रेस के नेताओं ने साफ़ कहा- AAP का न करें समर्थन, न ही गठबंधन

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Delhi Congress leaders clearly said

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नई दिल्ली। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और राहुल गांधी ने आज दिल्ली और पंजाब कांग्रेस के नेताओं से मुलाकात की। इस बैठक में दिल्ली में अधिकारियों के ट्रांसफर के खिलाफ केंद्र के अध्यादेश पर चर्चा की गई। बैठक में दिल्ली कांग्रेस के नेताओं ने केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ आप का समर्थन नहीं करने की सलाह दी। दिल्ली कांग्रेस ने आप के साथ दिल्ली में गठबंधन को भी खारिज कर दिया। हालांकि आखिरी फैसला पार्टी आलाकमान पर छोड़ दिया गया है।

अरविंद केजरीवाल जुटा रहे हैं विपक्षी पार्टियों का समर्थन

बता दें कि केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ विपक्षी दलों का समर्थन जुटा रहे हैं। इसी कड़ी में केजरीवाल ने मल्लिकार्जुन खरगे और राहुल गांधी से भी मिलने का समय मांगा है। केजरीवाल इस मुद्दे पर समर्थन के लिए कई नेताओं से मुलाकात कर चुके हैं।

हाल ही में वह हैदराबाद दौरे पर गए थे और बीआरएस चीफ केसीआर से मुलाकात की थी। इस मुलाकात के बाद के चंद्रशेखर राव ने आप का समर्थन किया था और केंद्र से अध्यादेश वापस लेने की अपील की थी। केजरीवाल एनसीपी चीफ शरद पवार से भी मिले थे।

क्या है दिल्ली अध्यादेश का मामला

दिल्ली में प्रशासन के मुद्दे पर केंद्र सरकार और दिल्ली सरकार में खींचतान चल रही है। मामला सुप्रीम कोर्ट भी गया। जहां बीती 11 मई को सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में कहा था कि अफसरों के ट्रांसफर, पोस्टिंग के अधिकार दिल्ली सरकार के पास रहेंगे। वहीं जमीन, पुलिस और कानून व्यवस्था पर केंद्र सरकार का नियंत्रण रहेगा।

इसके बाद दिल्ली सरकार ने वरिष्ठ अधिकारियों के तबादले का एक आदेश जारी किया लेकिन इसके खिलाफ केंद्र सरकार एक अध्यादेश ले आई है, जिसके तहतत अफसरों के ट्रांसफर, पोस्टिंग और विजिलेंस से जुड़े मामलों के लिए केंद्र सरकार नेशनल कैपिटल सिविल सर्विसेज अथॉरिटी का गठन करेगी। इस अथॉरिटी में दिल्ली के मुख्यमंत्री, मुख्य सचिव, प्रधान गृह सचिव होंगे।

यही अथॉरिटी अधिकारियों के ट्रांसफर, पोस्टिंग पर फैसले लेगी और एलजी को सिफारिश भेजेगी। उपराज्यपाल इन्हीं सिफारिशों के आधार पर फैसले लेंगे। अगर उपराज्यपाल सहमत नहीं होंगे तो वह इसे लौटा भी सकते हैं। मतभेद की स्थिति में उपराज्यपाल का फैसला अंतिम माना जाएगा।

दिल्ली सरकार इस अध्यादेश का विरोध कर रही है और केंद्र पर सुप्रीम कोर्ट के आदेश को नहीं मानने का आरोप लगा रही है। अब केजरीवाल इस मुद्दे पर विपक्षी पार्टियों का समर्थन जुटा रहे हैं। हालांकि दिल्ली कांग्रेस, आप के साथ गठबंधन के समर्थन में नहीं दिख रही है।

नेशनल

पीएम मोदी पर लिखी किताब के प्रचार के लिए स्मृति ईरानी चार देशों की यात्रा पर

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नई दिल्ली। पूर्व केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी एक नवीनतम पुस्तक ‘मोडायलॉग – कन्वर्सेशन्स फॉर ए विकसित भारत’ के प्रचार के लिए चार देशों की यात्रा पर रवाना हो गई हैं। यह दौरा 20 नवंबर को शुरू हुआ और इसका उद्देश्य ईरानी को मध्य पूर्व, ओमान और ब्रिटेन में रहने वाले भारतीय समुदाय के लोगों से जोड़ना है।

स्मृति ईरानी ने अपने एक्स अकाउंट पर लिखा कि,

एक बार फिर से आगे बढ़ते हुए, 4 देशों की रोमांचक पुस्तक यात्रा पर निकल पड़े हैं! 🇮🇳 जीवंत भारतीय प्रवासियों से जुड़ने, भारत की अपार संभावनाओं का जश्न मनाने और सार्थक बातचीत में शामिल होने के लिए उत्सुक हूँ। यह यात्रा सिर्फ़ एक किताब के बारे में नहीं है; यह कहानी कहने, विरासत और आकांक्षाओं के बारे में है जो हमें एकजुट करती हैं। बने रहिए क्योंकि मैं आप सभी के साथ इस अविश्वसनीय साहसिक यात्रा की झलकियाँ साझा करता हूँ

कुवैत, दुबई, ओमान और ब्रिटेन जाएंगी स्मृति ईरानी

डॉ. अश्विन फर्नांडिस द्वारा लिखित यह पुस्तक प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के शासन दर्शन पर प्रकाश डालती है तथा विकसित भारत के लिए उनके दृष्टिकोण पर ध्यान केंद्रित करती है। कार्यक्रम के अनुसार ईरानी अपनी यात्रा के पहले चरण में कुवैत, दुबई, फिर ओमान और अंत में ब्रिटेन जाएंगी।

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