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दूरबीन से देखने पर भी यूपी में नहीं दिखते माफिया: अमित शाह

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लखनऊ। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सपा, बसपा और कांग्रेस की सरकारों पर उत्तर प्रदेश को बर्बाद करने का दोष लगाया है। उन्होंने कहा है कि सपा-बसपा के खेल में उत्तर प्रदेश की कानून-व्यवस्था का हाल देखकर खून खौल जाता था। हर जिले में दो-तीन माफिया-बाहुबली हुआ करते थे, लेकिन 2017 में आई योगी आदित्यनाथ सरकार ने ऐसा काम किया कि आज दूरबीन से देखने पर भी यहां माफिया नहीं दिखते।

शुक्रवार को लखनऊ में भाजपा के वृहद सदस्यता अभियान “मेरा परिवार-भाजपा परिवार” का शुभारंभ किया। यूपी विधानसभा चुनाव के लिए “फिर एक बार भाजपा 300 पार” का नारा दिया देते हुए शाह ने कहा कि 2024 में अगर नरेंद्र मोदी को फिर से देश का प्रधानमंत्री बनाना है तो 2022 में योगी आदित्यनाथ को यूपी का मुख्यमंत्री बनाना ही होगा। डिफेंस एक्सपो ग्राउंड पर उत्साह-उमंग से लबरेज कार्यकर्ताओं के हुजूम को सम्बोधित करते हुए शाह ने एक-एक कर सपा, बसपा और कांग्रेस पर निशाना साधा तो तथ्यों और तर्कों के साथ योगी सरकार की जमकर सराहना की।

उन्होंने कहा कि यूपी ने सपा, बसपा, कांग्रेस के बाद अब भाजपा का शासन भी देखा है। मुगलों का राज खत्म होने के बाद भी यूपी को बहुत वर्षों तक यह एहसास नहीं होता था कि यह बाबा विश्वनाथ, भगवान राम, गौतम बुद्ध जैन संतों और महामना मालवीय की भूमि है। इसका एहसास 2017 में हुआ जब बीजेपी की सरकार आई। योगी सरकार ने यूपी को उसकी असल पहचान वापस दिलाने का काम किया है।

राम मंदिर के लिए ₹5000 का चंदा तक न दे पाई अखिलेश एंड कंपनी: अमित शाह ने कहा कि भाजपा हर चुनाव में राम मंदिर और कश्मीर से 370 के खात्मे का संकल्प लेती थी। जनता को भी इंतज़ार था कि कभी तो समय आएगा और यह दोनों सपने पूरे होंगे। अखिलेश एंड कंपनी हम पर तंज करती थी कि मंदिर वहीं बनाएंगे, तारीख नहीं बताएंगे, लेकिन परिवर्तन हुआ और सपा की सरकार में जिस जगह रामभक्तों को गोलियों से भूना गया था आज वहां गगनचुंबी मंदिर बन रहा है। चुटकी लेते हुए शाह ने कहा कि अखिलेश जी तो राम मंदिर के लिए 5,000 रुपया देने से भी चूक गए।

हमने कश्मीर से 370 और 35ए को उखाड़ फेंका। शाह ने कहा कि जब कोरोना आया, बाढ़ आई तो अखिलेश एंड कंपनी घर में छुपी हुई थी, आज चुनाव नजदीक देख नए कपड़े पहल बरसाती मेंढक की तरह यह चुनावी मेंढक निकल पड़े हैं। सपा अध्यक्ष अखिलेश को सम्बोधित करते हुए शाह ने पूछा कि अखिलेश जी हिसाब बताएं कि वो 5 साल में कितने दिन विदेश में रहे? कोरोना और बाढ़ में अखिलेश कहाँ थे।

सपा-बसपा के गड्ढे पाटने में लग रहा समय: कोरोना काल में योगी सरकार के प्रयासों की सराहना करते हुए अमित शाह ने कहा कि योगी आदित्यनाथ की कोशिशों ने लोगों का जीवन बचाया। आज टेस्ट हो या टीका, दोनों में यूपी नंबर एक है। योगी सरकार की सराहना करते हुए शाह ने कहा कि अखिलेश राज में जो यूपी देश की सातवें नम्बर की अर्थव्यवस्था थी आज योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में दूसरे नम्बर की अर्थव्यवस्था है।

2017 में यहां 12 मेडिकल कॉलेज थे आज 30 मेडिकल कॉलेज बन चुके हैं और 2022 से पहले 40 हो जाएंगे। शाह ने कहा कि 2017 में हमारे सामने इतना बड़ा गड्ढा छोड़कर दिया गया था कि उसे भरना मुश्किल था। योगी सरकार ने बहुत कुछ किया पर अभी भी बहुत कुछ करना बाक़ी है। हम फिर से घोषणापत्र लाएंगे और उसे भी पूरा करके दिखाएंगे। प्रदेशवासियों का आह्वान करते हुए शाह ने कहा कि हमें एक मौका और दीजिए, हम यूपी को नम्बर एक राज्य बना देंगे।

2017 लोककल्याण संकल्पपत्र का 90 फीसदी वादा पूरा: मिशन यूपी की औपचारिक शुरुआत करते हुए अमित शाह ने कहा कि 2014 और 2019 के लोकसभा चुनाव में अगर नरेंद्र मोदी के दो बार पूर्ण बहुमत की सरकार बना पाए, इसका पूरा श्रेय यूपी की जनता को जाता है। हमने झोली फैलाकर आशीर्वाद मांगा और यहां की जनता ने भोले शंकर की तरह हमें आशीष दिया। कार्यकर्ताओं में जोश भरते अमित शाह ने कहा कि 2014 में प्रदेश प्रभारी और 2017 और 2019 में पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के रूप में गली-गली घूमा हूं।

अन्य दलों के लिए चुनाव सत्ता हथियाने का ज़रिया है जबकि हमारे लिए चुनाव हमारी विचारधारा को घर घर तक पहुंचाने और दल का विस्तार करने का जरिया होता है। बीजेपी कार्यकर्ता घर-घर जाकर “मेरा परिवार-भाजपा परिवार” का स्टिकर लगाने के साथ उनका हालचाल भी पूछें और सरकार की उपलब्धियां भी बताएं।

उन्होंने कहा कि भाजपा का घोषणापत्र कोई सर्वे एजेंसी नहीं बल्कि घर घर घूमने वाले कार्यकर्ता की रिपोर्ट से बनाया जाता है। 2017 के चुनाव में घोषित लोककल्याण संकल्प पत्र के 90 फीसदी वादे पूरे किए गए हैं, 2 महीना बाक़ी है, कोशिश रहेगी शत-प्रतिशत वायदे पूरे कर सकें। उन्होंने कहा कि 29 अक्टूबर से शुरू बीजेपी का सदस्यता अभियान 31 दिसम्बर तक चलाया जाएगा।

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बिहार में पुरुष शिक्षक हुआ गर्भवती, मैटरनिटी लीव भी मिला, जानें पूरा मामला

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हाजीपुर। अक्सर बिहार का शिक्षा विभाग सुर्खियों में रहता है लेकिन इस बार तो शिक्षा विभाग में बड़ा कांड हो गया। शिक्षा विभाग ने एक पुरुष BPSC शिक्षक को गर्भवती बना दिया और मैटरनिटी लीव (मातृत्व अवकाश) भी दे दी। खबर सामने आने के बाद अब बिहार शिक्षा विभाग और टीचरों का मजाक उड़ रहा है।

आधिकारिक वेबसाइट पर हुआ अपलोड

यह मामला हाजीपुर महुआ प्रखंड क्षेत्र के उच्च विद्यालय हसनपुर ओसती का है। यहां पर तैनात बीपीएससी टीचर जितेंद्र कुमार सिंह को शिक्षा विभाग की तरफ से गर्भवती बताकर छुट्टी दे दिया गया है। शिक्षा विभाग के पोर्टल ई शिक्षा कोष पर जितेंद्र कुमार सिंह को मैटरनिटी लीव दिया गया है। शिक्षा विभाग की नजरों में और ऑफिशल वेबसाइट के अनुसार, शिक्षक जितेंद्र कुमार सिंह प्रेग्नेंट हैं और छुट्टी पर हैं।

गौर करने वाली बात यह है कि मैटरनिटी लीव सिर्फ और सिर्फ महिला टीचर के लिए होती है। महिला शिक्षकों को यह छुट्टी तब मिलती है जब वह गर्भवती हों और बच्चे को जन्म देने वाली हों। लेकिन हाजीपुर में तो मामला ही पलट गया है। यहां तो पुरुष टीचर को भी मैटरनिटी लीव दिया गया है।

शिक्षा विभाग ने मानी गलती

हालांकि इस मामले में प्रखंड शिक्षा अधिकारी अर्चना कुमारी ने विभाग की गलती कबूल करते हुए यह बात कहा है कि गड़बड़ी से पोर्टल पर इस तरीके का हुआ है। पुरुष टीचर को इस तरीके की छुट्टी नहीं दी जाती। इसमें जल्द ही सुधार किया जाएगा।

लोग शिक्षा विभाग का बना रहे मजाक

जिस तरीके से एक टीचर को महिलाओं को मिलने वाली छुट्टी दी गई है, उससे जिले के पुरुष शिक्षकों में आक्रोश भी है और हंसी ठिठौली करने का एक अनोखा मुद्दा मिल गया है। शिक्षा विभाग ने कमरे पर जाकर मीडिया से बात करने का अनुमति नहीं दी है नहीं तो टीचर ना जाने क्या-क्या बात मजाक में बोल रहे हैं।

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