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अगर आपके पास भी है इन बैंकों के एटीएम तो अभी बदल दीजिये, बंद हो रही हैं सेवाएं
एटीएम आज सबकी जरूरत बन गयी है। अब हर वक़्त तो आप कैश कैरी नहीं कर सकते ऐसे में एटीएम ही सहारा होता है। आज के डिजिटल जामने में एटीएम की जरूरत को इनकार नहीं किया जा सकता। ऐसे में इन बैंक्स के एटीएम धारकों के लिए ख़बर अच्छी नहीं है क्योंकि कुछ बैंक्स के एटीएम बंद होने जा रहे हैं।
आरबीआई के प्रॉम्प्ट करेक्टिव एक्शन (PCA) लिस्ट के अंदर आने वाले सरकारी बैंकों ने अपने एटीएम बंद करने शुरू कर दिए हैं। कॉस्ट को कम करने के लिए आरबीआई के रेगुलेटरी ऑर्डर के बाद इंडियन ओवरसीज बैंक से लेकर कैनरा बैंक तक ने अपने एटीएम को बंद करना शुरू कर दिए हैं।
इस लिस्ट में इलाहाबाद बैंक, इंडियन ओवरसीज बैंक, बैंक ऑफ महाराष्ट्र, सेंट्रल बैंक, बैंक ऑफ इंडिया और यूको बैंक शामिल हैं। एटीएम में कटौती आरबीआई के रेगुलेटरी ऑर्डर्स के बाद की जा रही है। सबसे ज्यादा एटीएम इंडियन ओवरसीज बैंक ने बंद किए हैं।
बैंक ऑफ बड़ौदा और पंजाब नेशनल बैंक ऐसे दो बड़े बैंक हैं, जो पीसीए से बाहर होने के बावजूद एटीएम में कटौती कर रहे हैं। बैंक ऑफ बड़ौदा ने 2,000 एटीएम बंद किए हैं, वहीं स्कैम में फंसे पीएनबी ने 1,000 एटीएम बंद किए।
जहां सरकारी बैंक एटीएम में कटौती कर रहे हैं, वहीं प्राइवेट और स्मॉल फाइनेंस बैंक (SFBs) ने इसकी कमी पूरी कर दी है। नए फीनो पेमेंट बैंक ने 2,700 एटीएम मशीनें लगाई हैं, वहीं सबसे बड़े सार्वजनिक बैंक स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने 500 नए एटीएम लगाए।
वहीं प्राइवेट बैंकों ने साल 2016 से 2017 के बीच 7,500 नए एटीएम इंस्टॉल किए। हालांकि ये आंकड़ा उससे पिछले साल के मुकाबले कम है जब प्राइवेट बैंकों ने 15,714 एटीएम लगाए थे। एसबीआई के डिप्टी मैनेंजिंग डायरेक्टर नीरज व्यास ने कहा की एटीएम बिजनेस खास आकर्षक नहीं है।
उन्होंने कहा, ‘एक एटीएम की कीमत 2.5 लाख होती है और ऑपरेशनल कॉस्ट 4.-5 लाख के बीच। इसपर 20 लाख रुपये और जोड़ लें जिसपर कोई रिटर्न नहीं मिलता। अपने नेटवर्क पर नकदी और फ्री ट्रांस्जैक्शन का प्रबंधन करते हैं, और फिर हमारे ग्राहक अन्य बैंकों के एटीएम का उपयोग करते हैं। इससे एटीएम बिजनेस कोई भी आकर्षक नहीं बनता है।’
मार्च 2016 से दिसंबर 2017 के बीच स्टेट बैंकों के शेयर में भारी गिरावट देखने को मिली थी। इस दौरान कॉमर्शियल लेंडिंग मार्केट में इन बैंकों के शेयर 32 लाख गिरे। वहीं इसी दौरान प्राइवेट बैंकों के शेयर 9.1 लाख करोड़ से बढ़कर 10.9 लाख करोड़ और एनबीएफसी में ये 2.2 लाख करोड़ से 3.9 लाख करोड़ पहुंच गए थे।
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गैस चेंबर बनी दिल्ली, AQI 500 तक पहुंचा
नई दिल्ली। दिल्ली-एनसीआर में इन दिनों सांस लेना भी मुश्किल हो गया है। दरअसल दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण का स्तर बदतर स्थिति में है। अगर श्रेणी के आधार पर बात करें तो दिल्ली में प्रदूषण गंभीर स्थिति में बना हुआ है। कल जहां एक्यूआई 470 था तो वहीं आज एक्यूआई 494 पहुंच चुका है। दिल्ली के अलग-अलग इलाकों में एक्यूआई के आंकड़ें आ चुके हैं। अलीपुर में 500, आनंद विहार में 500, बवाना में 500 के स्तर पर एक्यूआई बना हुआ है।
कहां-कितना है एक्यूआई
अगर वायु गुणवत्ता की बात करें तो अलीपुर में 500, बवाना में 500, आनंद विहार में 500, डीटीयू में 496, द्वारका सेक्टर 8 में 496, दिलशाद गार्डन में 500, आईटीओ में 386, जहांगीरपुरी में 500, जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम में 500, लोधी रोड में 493, मेजर ध्यानचंद नेशनल स्टेडियम 499, मंदिर मार्ग में 500, मुंडका में 500 और नजफगढ़ में 491 एक्यूआई पहुंच चुका है। दिल्ली की वायु गुणवत्ता गंभीर श्रेणी में बनी हुई है। ऐसे में दिल्ली में ग्रेप 4 को लागू कर दिया गया है। इस कारण दिल्ली के अलावा नोएडा, गाजियाबाद, हापुड़, मेरठ में स्कूलों को बंद कर दिया गया है और ऑनलाइन माध्यम से अब क्लासेस चलाए जाएंगे।
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