पंजाब
ओलंपिक में हॉकी को सपोर्ट करने पेरिस जाना चाहते थे भगवंत मान, केंद्र ने नहीं दी मंजूरी
नई दिल्ली। ओलंपिक में हॉकी को सपोर्ट करने के लिए पंजाब के सीएम भगवंत मान पेरिस जाना चाहते थे। हालांकि केंद्र सरकार उन्हें इसकी मंजूरी देने से इंकार कर दिया है। सीएम मान आज पेरिस के लिए उड़ान भरने वाले थे लेकिन केंद्र की तरफ से उन्हें इसकी मंजूरी नहीं दी गई।
सूत्रों के मुताबिक सुरक्षा कारणों से अनुमति देने से मना किया गया है। मुख्यमंत्री कार्यालय को शुक्रवार देर शाम यात्रा की अनुमति नहीं मिलने की सूचना मिली। सीएम मान को ओलंपिक में भाग लेने वाली हॉकी टीम के जोश को बढ़ाने के लिए पेरिस जाना था।
पेरिस ओलंपिक 2024 में भारतीय पुरुष हॉकी टीम ने अब तक शानदार प्रदर्शन किया है। भारतीय पुरुष हॉकी टीम ने 52 साल बाद ओलंपिक में ऑस्ट्रेलिया को 3-2 से हरा कर ऐतिहासिक जीत हासिल की। 1972 के बाद पहली बार ओलंपिक खेलों में भारत ने हॉकी ने ऑस्ट्रेलिया को हराया। इसके साथ ही भारतीय हॉकी टीम क्वार्टर फाइनल में पहुंच गई है। पेरिस ओलंपिक में भारतीय हॉकी टीम से पदक की उम्मीद है। टोक्यो ओलंपिक में भारत ने 41 साल बाद हॉकी में कांस्य पदक जीता था।
पंजाब
किसानों ने शुरू किया रेल रोको आंदोलन, 30 दिसंबर तक पंजाब बंद का आह्वान
चंडीगढ़। किसान नेता सरवन सिंह पंधेर ने बुधवार को कहा कि किसानों ने 30 दिसंबर को ‘पंजाब बंद’ का आह्वान किया है। इसके साथ ही पंधेर ने प्रदर्शनकारी किसानों की मांगें नहीं मानने के लिए केंद्र की आलोचना की। पंधेर ने कहा कि ‘बंद’ का आह्वान करने का फैसला संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा ने किया है। किसान नेता ने कहा, ‘‘इस महीने की 30 तारीख को पूर्ण ‘बंद’ रहेगा।’’
अमृतसर में मीडिया को संबोधित करते हुए पंधेर ने कहा कि ‘बंद’ के दौरान आपातकालीन सेवाएं चालू रहेंगी। उन्होंने व्यापारियों, कारोबारियों, ट्रांसपोर्टरों समेत अन्य लोगों से ‘बंद’ को सफल बनाने की अपील की। उन्होंने कहा, जिस तरह रेल रोको विरोध सफल रहा। उसी तरह पंजाब बंद को भी सफल बनाया जाना चाहिए।
अपनी मांगों पर अड़े किसान
पजाब में बुधवार को रेल सेवाएं प्रभावित हुईं, क्योंकि किसानों ने फसलों के लिए कानूनी रूप से बाध्यकारी न्यूनतम समर्थन मूल्य सहित अपनी विभिन्न मांगों को स्वीकार करने के लिए केंद्र पर दबाव बनाने के लिए तीन घंटे के ‘रेल रोको’ विरोध प्रदर्शन के तहत 50 से अधिक स्थानों पर रेल पटरियों पर धरना दिया। फिरोजपुर रेलवे मंडल के अधिकारियों के अनुसार, 52 स्थानों पर किसानों के विरोध प्रदर्शन के कारण 12 रेलगाड़ियां रद्द कर दी गईं। उन्होंने बताया कि 34 रेलगाड़ियां देरी से चल रही हैं।
किसानों की क्या हैं मांगें?
किसान न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) की कानूनी गारंटी, फसलों का मूल्य तय करने के लिए स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों को लागू करना, कृषि को विश्व व्यापार संगठन से बाहर करने और कुछ अन्य मांगों को लेकर आंदोलन कर रहे हैं। किसानों और खेतिहर मज़दूरों के लिए पेंशन की भी मांग है। साथ ही बिजली दरों में कोई बढ़ोतरी नहीं करने की भी मांग की जा रही है।
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