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जुर्म

बिहार: लालू यादव के करीबी भोला यादव गिरफ्तार, रेलवे भर्ती घोटाले का है मामला

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पटना। बिहार के पूर्व सीएम व राजद सुप्रीमो लालू यादव के करीबी भोला यादव को सीबीआई ने गिरफ्तार कर लिया है। सीबीआई ने यह कार्रवाई IRCTC घोटाले से जुड़े मामले में की है। भोला यादव राजद के पूर्व विधायक और एमएलसी भी रहे हैं। भोला यादव को लालू यादव का बेहद करीबी बताया जाता है। मामला नौकरी के बदले जमीन और आईआरसीटीसी स्कैम का है। उन्हें चार दिन पहले पूछताछ के लिए बुलाया गया था, लेकिन वह नहीं गए थे।

दरभंगा आवास पर रेड

राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव के हनुमान कहे जाने वाले बहादुरपुर के पूर्व विधायक भोला यादव के घर पर सीबीआइ की टीम ने बुधवार की सुबह छापेमारी की। बताया जाता है कि पूर्व विधायक के गंज स्थित आवास पर सीबीआइ की टीम सुबह छह बजे पहुंची।

कमरा बंद पाए जाने पर केयर टेकर से चाभी को लेकर पूछताछ की गई। केयर टेकर प्रशांत ने बताया कि पास के एक कार्यकर्ता के पास मकान का चाभी है। कुछ ही क्षण में कार्यकर्ता ललित यादव को बुलाया गया और ललित ने मकान की चाभी उपलब्ध कराई।  इसके बाद पांच सदस्यीय टीम ने बारी-बारी से सभी कमरों की तलाशी ली लेकिन, वहां कुछ भी नहीं मिला।

लगभग दो घंटे तक चली छापेमारी के बाद सीबीआइ के अधिकारी ने दो प्रति में एक कागजात को तैयार किया। जिसकी एक कापी भोला यादव के कार्यकर्ता को उपलब्ध कराने के बाद आठ बजे टीम वापस हो गई। बताया जा रहा है कि रेलवे भर्ती घोटाले को लेकर छापेमारी की गई है। गौरतलब है कि सीबीआई ने मई में लालू यादव के 17 ठिकानों पर छापेमारी की थी। इस दौरान पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी से भी घंटों पूछताछ की गई थी।

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उत्तर प्रदेश

मेरी पत्नी से शिक्षक का था अफेयर, इसलिए मार डाला; वकील के कबूलनामे से आया नया ट्विस्ट

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कानपुर। उप्र के कानपुर के पनकी के पतरसा में शिक्षक दयाराम सोनकर की हत्या के आरोप में गिरफ्तार वकील संजीव कुमार के बयान ने पेंच फंसा दिया है। वकील ने जो बयान दिया, उसके मुताबिक शिक्षक के उसकी पत्नी से अवैध संबंध थे। चूंकि शिक्षक वर्तमान में कानपुर देहात में ही रह रहा था।

इसके चलते पत्नी भी कानपुर देहात स्थित मायके में ही थी। इसलिए उसने रविवार को दयाराम को बुलाकर अकेले ही बंद कमरे में जिंदा जलाकर मार डाला। वहीं, मृतक के भाई का कहना है कि भाभी के संबंध ढाबा संचालक से थे। विरोध करने पर भाभी ने प्रेमी और वकील के साथ मिलकर भाई की हत्या कर दी।

मृतक दयाराम के छोटे भाई अनुज ने पुलिस को दी तहरीर में बताया कि भाई दयाराम ने अपने मोबाइल फोन से उन्हें कॉल करके बताया था कि संजीव, पवन और संगीता ने उन्हें कमरे में बंद करके आग लगा दी है और भाग गए हैं। तहरीर के आधार पर पुलिस ने जब वकील संजीव को उठाकर पूछताछ शुरू की तो कहानी में नया मोड़ आ गया।

पुलिस सूत्रों के मुताबिक संजीव ने बताया कि दयाराम जिस कॉलेज में पढ़ाता था, उसी में संजीव का साला शिक्षक है। दोनों में गहरी दोस्ती थी। दयाराम का संजीव के साले के घर में भी आना-जाना था। संजीव को दयाराम और उसकी पत्नी के बीच अवैध संबंध का शक था।

संजीव के अनुसार, पत्नी को कई बार घर लाने की कोशिश की, लेकिन वो राजी नहीं हुई। पत्नी से संबंधों को लेकर बातचीत के लिए दयाराम को घर बुलाया। इसके बाद पेट्रोल डालकर आग लगा दी। हालांकि, पुलिस को अन्य हत्यारोपियों की घटनास्थल के आसपास लोकेशन भी नहीं मिली है। दोनों कहानियों की तह तक जाने के लिए पुलिस अब सक्ष्यों की मदद ले रही है।

संजीव कई बार बुला चुका था दयाराम को

अनुज ने बताया कि संजीव कई बार दयाराम को फोन करके उसकी पत्नी से समझौता कराने की बात कहकर बुला चुका था। परिवार वालों की राय के बाद वे समझौते के लिए गए थे, वहां सभी ने मिलकर उनके भाई की हत्या कर दी।

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