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उत्तर प्रदेश

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में सीएम मॉडल कम्पोजिट विद्यालय का हो रहा निर्माण

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा उपलब्ध कराने के लिए योगी सरकार निरंतर अनूठे प्रयास कर रही है। इसी क्रम में प्रदेश सरकार आगामी तीन वर्ष में प्रदेश के 57 जनपदों (मंडल मुख्यालय वाले 18 जनपदों को छोड़कर) मुख्यमंत्री मॉडल कंपोजिट विद्यालय का निर्माण कर रही है। यह विद्यालय प्री प्राइमरी से कक्षा 12 तक के छात्रों के लिए होंगे। योजना के अनुसार प्रत्येक न्याय पंचायत स्तर पर एक विद्यालय का निर्माण कराया जाएगा, जहां 3000 विद्यार्थी एक साथ अध्ययन कर सकेंगे। न्यूनतम 25 एकड़ में निर्मित होने वाले इन विद्यालयों के निर्माण में योगी सरकार की ओर से शिक्षा विभाग को गुणवत्ता का विशेष ध्यान रखने का निर्देश दिया गया है।

मुख्यमंत्री मॉडल कम्पोजिट विद्यालय के निर्माण को लेकर जो योजना है उसके अनुसार यहां प्री प्राइमरी (बाल वाटिका) के साथ 12वीं तक की कक्षाएं संचालित की जाएंगी। राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के अनुरूप छात्र-छात्राओं के समग्र विकास पर फोकस किया जाएगा। यहां छात्रों को यूपी बोर्ड पाठ्यक्रम पर आधारित विज्ञान, गणित, वाणिज्य एवं कला वर्ग में अध्ययन का अवसर मिलेगा। इन विद्यालयों में पूर्व से कार्यरत शिक्षकों में से उत्कृष्ट शिक्षकों की प्रमाणिकता आधारित तैनाती की जाएगी। योजना के अनुसार प्री प्राइमरी, प्राथमिक, उच्च प्राथमिक एवं सेकेंडरी और सीनियर सेकेंडरी कक्षाओं के लिए अलग-अलग शैक्षणिक ब्लॉक निर्मित किए जाएंगे। आधुनिक गणित, विज्ञान, प्रयोगशाला, स्मार्ट क्लास, कंप्यूटर लैब, खेल का मैदान, स्किल लैब और केंद्रीकृत किचन का भी निर्माण होगा।

विद्यालय भवन भूकंपरोधी निर्माण तकनीक, हरित ऊर्जा और ऊर्जा कुशल वास्तुकला के मानदंड पर आधारित होगा। विद्यायलों में वर्ल्ड क्लास अवस्थापना सुविधाएं सुलभ कराई जाएंगी। इनमें प्रत्येक कक्षाकक्ष के लिए स्मार्ट क्लास, स्किल हब सेंटर, कक्षा एक से 8 के लिए कम्पोजिट विज्ञान गणित प्रयोगशाला, कक्षा 9 से 12 के लिए रसायन, भौतिकी विज्ञान हेतु मॉड्यूलर प्रयोगशाला, कम्प्यूटर लैब एवं लैंग्वेज लैब, कक्षा एक से 8 एवं कक्षा 9 से 12 के लिए अलग-अलग पुस्तकालय, खेल का मैदान व ओपन जिम के साथ मल्टीपल एक्टिविटी हॉल की सुविधा होगी। इसके साथ ही, सोलर पैनल एवं वर्षा जल संचयन इकाइ की स्थापना, आरओ एंड यूवी वाटर प्लांट, मिड डे मील, किचन व डायनिंग हॉल, वॉशिंग एरिया, मल्टीपल हैंडवॉशिंग यूनिट की व्यवस्था होगी। साथ ही शिक्षक व शिक्षिकाओं के लिए अलग-अलग स्टाफ रूम भी निर्मित किए जाने की योजना है।

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उत्तर प्रदेश

महाकुम्भ 2025 के सफल आयोजन के लिए 07 हजार बसों के अलावा 550 शटल बसें संचालित करेगा परिवहन निगम

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लखनऊ/प्रयागराज। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशन में उ0प्र0 परिवहन निगम दिव्य, भव्य एवं ग्रीन महाकुम्भ मेला-2025 के सफल आयोजन के लिए 07 हजार बसों को संचालित करेगा। परिवहन निगम प्रदेश के सभी महत्वपूर्ण स्थानों से सुगम, सस्ती एवं आरामदायक सुविधायें उपलब्ध कराने के लिए कटिबद्ध है।

महाकुम्भ मेला में सड़क मार्ग से पूर्वाचल से अधिक संख्या में तीर्थयात्री आते हैं। इसके दृष्टिगत पूर्वांचल के छोटे-छोटे कस्बों से मेला स्थल को जोड़ते हुए बसों के संचालन की योजना परिवहन निगम ने तैयार की है। महिला एवं वृद्ध तीर्थयात्रियों को विशेष सुविधा प्रदान करने की योजना बनाई गयी है।

3 चरणों में संचालन

एमडी परिवहन निगम मासूम अली सरवर ने बताया कि महाकुम्भ मेला 2025 के दौरान मुख्य स्नान 13 जनवरी से 26 फरवरी, 2025 के बीच पड़ रहे, जिसमें मौनी अमावस्या का शाही स्नान 29 जनवरी एवं बसंत पंचमी का शाही स्नान 03 फरवरी, 2025 को है। महाकुम्भ 2025 के दौरान लगभग 6800 परिवहन बसें एवं लगभग 200 वातानुकूलित बसों का संचालन किये जाने की योजना है।

प्रथम चरण में 12 जनवरी से 23 जनवरी तक द्वितीय चरण में 24 जनवरी से 07 फरवरी तक एवं तीसरे चरण में 08 फरवरी से 27 फरवरी तक तीन चरणों में महाकुम्भ मेले में संचालन को बाटा गया है। निगम के कुल 19 क्षेत्रों से लगभग 165 मार्गों पर निगम की बसों का संचालन किया जायेगा।

550 शटल बसें चलाई जाएंगी

एमडी परिवहन निगम ने बताया कि बसों के अतिरिक्त 550 शटल बसें विभिन्न स्थाई एवं अस्थाई बस स्टेशनों एवं विभिन्न मार्गों पर निर्धारित वाहन पार्किंग स्थलों से संगम तट के निकट स्थित भारद्वाज पार्क एवं भारत स्काउट गाइड कालेज बैक रोड तक तथा लेप्रोसी बस स्टेशन व अंधावा बस स्टेशन तक संचालित किये जाने की योजना है।

उन्होंने बताया कि मुख्य स्नान पर्व पर शश्रद्धालुओं की अत्यधिक भीड़ बढ़ने के कारण शास्त्रीपुल, फाफामऊ पुल एवं यमुना पुल यातायात हेतु प्रतिबंधित रहने की स्थिति में शहर के बाहर कुल 08 अस्थाई बस स्टेशन गठित किये जायेंगे, जिसमें झूसी बस स्टेशन, दुर्जनपुर बस स्टेशन, सरस्वतीगेट बस स्टेशन, नेहरू पार्क बस स्टेशन, बेली कछार बस स्टेशन, बेला कछार बस स्टेशन, सरस्वती हाइटेक सिटी मेनू एवं लेप्रोसी मिशन बस स्टेशन हैं।

इन मार्गों प्रभाग संचालन

एमडी ने बताया कि झूसी बस स्टेशन से दोहरी घाट, बड़हलगंज, गोला, उरूवा, खजनी, सीकरीगंज, गोरखपुर मार्ग, आजमगढ़-बलिया-मऊ व सम्बद्ध मार्ग के लिए बसों का संचालन किया जायेगा। दुर्जनपुर बस स्टेशन का उपयोग झूसी बस स्टेशन की बसों का संचालन मेला प्रशासन द्वारा रोके जाने पर किया जायेगा।

इसी प्रकार सरस्वतीगेट बस स्टेशन से बदलापुर, शाहगंज, टांडा व सम्बद्ध मार्ग एवं वाराणसी एवं संबद्ध मार्ग के लिए बसों का संचालन किया जायेगा, नेहरू पार्क बस स्टेशन से कानपुर एवं कौशाम्बी को संबद्ध मार्ग के लिए, बेला कछार बस स्टेशन से रायबरेली लखनऊ व संबद्ध मार्ग एवं फैजाबाद, अयोध्या, गोण्डा, बस्ती, बहराइच व संबद्ध मार्ग के लिए, सरस्वती हाइटेक सिटी नैनी से विन्ध्यांचल, मिर्जापुर, शक्तिनगर व संबद्ध मार्ग के लिए, लैप्रोसी मिशन बस स्टेशन से बांदा-चित्रकूट व संबद्ध मार्ग एवं रीवा-सीधी व संबद्ध मार्ग के लिए संचालन किया जायेगा।
नेहरू पार्क बस स्टेशन पर बसों का संचालन मेला प्रशासन द्वारा रोके जाने पर बसों का संचालन बेली कछार बस स्टेशन से किया जायेगा।

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