उत्तर प्रदेश
10 दिन में 4 रोजगार मेला के माध्यम से 30 हजार रोजगार के अवसर उपलब्ध करा रही योगी सरकार
लखनऊ। युवाओं को रोजगार से जोड़ने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मिशन रोजगार के तहत रोजगार मेला का आयोजन कर रहे हैं। अगस्त में अब तक तीन रोजगार मेला का आयोजन करने के बाद अब इसकी रफ्तार और तेज होने जा रही है। इसी क्रम में योगी सरकार आगामी दस दिनों के अंदर चार अलग-अलग जनपदों में रोजगार मेला का आयोजन करके लगभग 30 हजार रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने जा रही है। इसके तहत, 27 अगस्त को मैनपुरी, 28 अगस्त को अलीगढ़, एक सितंबर को मीरजापुर और 2 सितंबर को मुरादाबाद में रोजगार मेला का आयोजन प्रस्तावित है। इन रोजगार मेला के जरिए चारों ही जनपदों में 1-1 हजार नियुक्ति पत्र का वितरण भी किया जाएगा। रोजगार मेला और नियुक्ति पत्र वितरण के इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रह सकते हैं। उल्लेखनीय है कि योगी सरकार ने 17 अगस्त को अंबेडकरनगर, 18 अगस्त को अयोध्या और 22 अगस्त को मुजफ्फरनगर में रोजगार मेला का आयोजन किया था, जिसके माध्यम से 17 हजार से अधिक नियुक्ति पत्र वितरित किए गए थे।
प्रशिक्षित युवाओं को मिल रहा रोजगार
प्रदेश सरकार में व्यावसायिक शिक्षा, कौशल विकास और उद्यमशीलता राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) कपिल देव अग्रवाल ने बताया कि रोजगार मेला के माध्यम से विभिन्न क्षेत्रों में प्रशिक्षित युवाओं को रोजगार से जोड़ने का कार्य किया जा रहा है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशों के अनुरूप अन्य जनपदों में भी वृहद रोजगार मेला आयोजित करके युवाओं को रोजगार के अवसर उपलब्ध कराए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश कौशल विकास मिशन के अंतर्गत प्रशिक्षण प्राप्त करने वाले प्रशिक्षणार्थियों को प्रशिक्षण के बाद रोजगार से जोड़ने के लिए प्रदेश सरकार विभिन्न गतिविधियां आयोजित कर रही है। इसी क्रम में मैनपुरी, अलीगढ़, मीरजापुर और मुरादाबाद में रोजगार मेला प्रस्तावित है। इसके माध्यम से लगभग 30 हजार रोजगार के अवसर प्रदान किए जाएंगे, जबकि 4 हजार (प्रत्येक जनपद में एक हजार) नियुक्ति पत्र वितरित किए जाएंगे। प्रत्येक जनपद में देश की 50 प्रतिष्ठित कंपनियां हिस्सा ले रही हैं, जो युवाओं का साक्षात्कार लेंगी और उन्हें जॉब ऑफर करेंगी। मैनपुरी के करहल में नरसिंह इंट कॉलेज में और अलीगढ़ के गुरुकुल पब्लिक स्कूल, सोमना रोड, खैर,में रोजगार मेला का आयोजन होगा। दोनों स्थानों पर रोजगार मेला सुबह 9:00 बजे से प्रारंभ होगा। शेष दोनों जनपदों में वेन्यू का निर्धारण जल्द किया जाएगा।
6 दिनों में 3 रोजगार मेला के जरिए 17 हजार को मिला रोजगार
योगी सरकार ने अगस्त में अब तक आयोजित रोजगार मेला के माध्यम से अयोध्या और अंबेडकरनगर में 12 हजार से अधिक नियुक्ति पत्र वितरित किए थे तो वहीं मुजफ्फरनगर में भी करीब 5 हजार नियुक्ति पत्र वितरित किए गए। कुल मिलाकर 6 दिनों में आयोजित तीन रोजगार मेला के जरिए सरकार ने 17 हजार नियुक्ति पत्र वितरित किए हैं। इन रोजगार मेला में विभिन्न कंपनियों ने प्रतिभाग किया और नौजवानों को मैन्युफैक्चरिंग, इंजीनियरिंग, टेलीकॉम, हेल्थकेयर, कंस्ट्रक्शन और आईटी जैसे सेक्टर में जॉब ऑफर किए गए। योगी सरकार का लक्ष्य युवाओं को सरकारी नौकरी के साथ-साथ निजी कंपनियों में भी रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने का है, जिसके लिए सरकार की ओर से युवाओं के कौशल विकास हेतु विभिन्न कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं। सरकार की योजना 2024 में इन रोजगार मेलों के माध्यम से बड़ी संख्या में युवाओं को निजी कंपनियों में नियोजित करने की है। योगी सरकार के प्रयासों का ही असर है कि साढ़े सात वर्षों में साढ़े छह लाख से ज्यादा युवाओं को सरकारी नौकरी के अलावा संविदा के माध्यम से 3.75 लाख से अधिक युवाओं को नौकरी से जोड़ा गया है। वहीं, दो करोड़ लोगों को निजी क्षेत्र/एमएसएमई के अंतर्गत रोजगार उपलब्ध कराया गया है।
दो साल में दो लाख नौजवानों को सरकारी नौकरी देने का लक्ष्य
युवाओं को रोजगार दिलाने के लिए योगी सरकार लगातार कदम बढ़ा रही है। इसके लिए लक्ष्य निर्धारित कर कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 22 अगस्त को मुजफ्फरनगर में आयोजित रोजगार मेला में कहा था कि प्रदेश सरकार अगले दो साल में दो लाख युवाओं को सरकारी नौकरी प्रदान करेगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में निकलने वाली सरकारी नौकरियों में यहां के युवाओं को बढ़चढ़ कर भाग लेना होगा। सरकार के प्रयासों का ही नतीजा है कि इस समय प्रदेश में 60 हजार से ज्यादा पदों के लिए पुलिस भर्ती परीक्षा का आयोजन किया जा रहा है, जबकि कई अन्य विभागों में नौकरियों के सृजन का प्रस्ताव है।
उत्तर प्रदेश
उत्तर प्रदेश में हुई 559 वर्ग किमी. वन व वृक्ष आच्छादन की वृद्धि
लखनऊ | मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में पिछले साढ़े सात वर्ष से चल रहा ‘पेड़ लगाओ-पेड़ बचाओ जनअभियान’ रंग ले आया। 2024 में 36.80 करोड़ से अधिक पौधरोपण करने वाले उत्तर प्रदेश में आईएसएफआर 2023 के अनुसार 559 वर्ग किमी. वन व वृक्ष आच्छादन से अधिक की वृद्धि हुई है। उत्तर प्रदेश से आगे केवल छत्तीसगढ़ है, जबकि अन्य सभी राज्य उत्तर प्रदेश से पीछे हैं। इस उपलब्धि पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वन विभाग के अधिकारियों व कर्मचारियों के नेतृत्व में आए इस सकारात्मक पहल की बधाई दी। वहीं केंद्रीय वन-पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव ने भी इस उपलब्धि पर उत्तर प्रदेश को शुभकामना दी।
देहरादून में भारत वन स्थिति रिपोर्ट (आईएसएफआर) 2023 की रिपोर्ट प्रस्तुत की गई
🌳भारत का वन एवं वृक्ष आवरण 8,27,357 वर्ग किमी है, जो देश के भौगोलिक क्षेत्र का 25.17% है। इसमें 7,15,343 वर्ग किमी (21.76%) वन आवरण और 1,12,014 वर्ग किमी (3.41%) वृक्ष आवरण है।
🌳2021 के आकार-फ़ाइल आधारित मूल्यांकन की तुलना में वन एवं वृक्ष आवरण में 1,445 वर्ग किमी की वृद्धि हुई है, जिसमें वन आवरण में 156 वर्ग किमी और वृक्ष आवरण में 1289 वर्ग किमी की वृद्धि शामिल है।
🌳वन एवं वृक्ष आवरण में अधिकतम वृद्धि दिखाने वाले शीर्ष चार राज्यों में उत्तर प्रदेश दूसरे स्थान पर है। छत्तीसगढ़ (684 वर्ग किमी) के साथ शीर्ष पर है। ओडिशा का क्षेत्रफल (558.57 वर्ग किमी), राजस्थान (394 वर्ग किमी) व झारखंड (286.96 वर्ग किमी.) है।
इनसेट
इन राज्यों में हुई वृद्धि
राज्य एरिया
छत्तीसगढ़ 683.62 वर्ग किमी.
उत्तर प्रदेश 559.19 वर्ग किमी.
ओडिशा 558.57 वर्ग किमी.
राजस्थान 394.46 वर्ग किमी.
झारखंड 286.96 वर्ग किमी.
‘हरित उत्तर प्रदेश’ बनने की दिशा में तीव्रता से गतिमान है नया उत्तर प्रदेश:सीएम योगी
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने सोशल मीडिया एकाउंट ‘एक्स’ पर पोस्ट किया। उन्होंने लिखा कि नया उत्तर प्रदेश ‘हरित उत्तर प्रदेश’ बनने की दिशा में तीव्रता से गतिमान है। आईएसएफआर 2023 के अनुसार उत्तर प्रदेश में हुई 559 वर्ग कि.मी. की वन और वृक्ष आच्छादन की ऐतिहासिक वृद्धि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के आह्वान ‘एक पेड़ मां के नाम’ और भारतीय दर्शन ‘माता भूमिः पुत्रोऽहं पृथिव्याः’ भाव से उत्तर प्रदेश वासियों के जुड़ाव का प्रतिफल है।
मानवता के कल्याण को समर्पित इस ऐतिहासिक उपलब्धि के लिए पौधरोपण अभियान से जुड़े सभी लोगों, प्रकृति प्रेमियों एवं प्रदेश वासियों को हार्दिक बधाई!
यूपी में लगाए गए 36.80 करोड़ से अधिक पौधे
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में एक दिन (20 जुलाई) को 36.51 करोड़ पौधरोपण कर इतिहास रचने वाले उत्तर प्रदेश ने 30 सितंबर तक 36.80 करोड़ से अधिक पौधरोपण किए। साढ़े सात वर्ष में योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में 210 करोड़ पौधरोपण किये गए।
भारतीय वन सर्वेक्षण, देहरादून द्वारा वर्ष 2023 में प्रकाशित रिपोर्ट के परीक्षण करने पर उत्तर प्रदेश में वनावरण की स्थिति…
वनावरण
1. अति सघन वन 2,688.73 वर्ग कि०मी०
2. मध्यम सघन वन 4,001.41 वर्ग कि०मी०
3. खुला वन 8.355.66 वर्ग कि०मी०
4. कुल योग 15045.80 वर्ग कि०मी० (6.24%)
वृक्षावरण 8950.92 वर्ग कि0मी (3.72%)
कुल वनावरण व वृक्षावरण 23996.72 वर्ग कि0मी0 (9.96%)
भारतीय वन सर्वेक्षण, देहरादून द्वारा वर्ष 2021 (यथा संशोधित) में प्रकाशित रिपोर्ट में उत्तर प्रदेश से सम्बन्धित आंकड़े…
वनावरण
1. अति सघन वन 2655.29 वर्ग कि०मी०
2. मध्यम सघन वन 3995.53 वर्ग कि०मी०
3. खुला वन 8276.55 वर्ग कि०मी०
4. कुल योग 14927.37 वर्ग कि०मी० (6.20%)
5-वृक्षावरण 8510.16 वर्ग कि0मी0 (3.53%)
6-कुल वनावरण व वृक्षावरण 23437.53 वर्ग कि0मी0.( 9.73%)
सर्वाधिक वृद्धि वाले उत्तर प्रदेश के पांच जनपद
1- झांसी – 8597 एकड़
2- अमरोहा – 7769 एकड़
3- इटावा – 7127 एकड़
4- कानपुर नगर – 6249 एकड़
5- बिजनौर – 3343 एकड
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