नेशनल
आजादी अभी अधूरी है!
भोपाल, 14 अगस्त (आईएएनएस)| देश के पूर्व प्रधानमंत्री और मध्य प्रदेश के ग्वालियर से नाता रखने वाले अटल बिहारी वाजपेयी द्वारा आजादी के एक दिन पूर्व अर्थात 14 अगस्त, 1947 को लिखी कविता ’15 अगस्त का दिन कहता आजादी अभी अधूरी है’ आज भी उतनी ही प्रासांगिक है, जितनी तब रही होगी। ऐसा इसलिए, क्योंकि खेतों में हल में बैल की जगह किसान जुतने को मजबूर हैं।
आजादी की 70वीं सालगिरह से पहले मध्य प्रदेश के डिंडौरी जिले से एक ऐसी तस्वीर आई है, जो विचलित कर देने वाली है। यहां के मोहनी गांव के किसान गोहर सिंह के पास पहले बैल हुआ करता था, जिसके जरिए वे अपने खेत की हल से जुताई करते थे, मगर बैल के मर जाने पर उन्हें इन दिनों हल में बैल की जगह बेटों और अपने को स्वयं जोतना पड़ रहा है।
गोहर सिंह ने संवाददाताओं को बताया कि नागपंचमी के दिन उसका एक बैल मर गया और दूसरा बैल खरीदने के लिए उसके पास पैसा नहीं था, लिहाजा उसने खुद और परिवार के सदस्यों को हल में जोता, क्योंकि उसके पास अन्य कोई और विकल्प नहीं था। धान का रोपा करने के लिए खेत को तैयार करना था, एक बैल के अभाव में वह खुद बैल की जगह हल में जुत गया।
बताया गया है कि गोहर हल के बैल की जगह एक तरफ खुद लगा रहता है, तो दूसरी ओर अपने बेटों को बदल-बदल कर लगाता रहता है। उसके सामने समस्या यह है कि अगर बैल खरीदने के लिए रकम का इंतजाम करता, तब तक धान के रोपा करने का समय उसके हाथ से निकल जाता।
यह हाल उस राज्य के किसान का है, जहां कृषि विकास दर 20 प्रतिशत को पार कर गई है, पांच बार कृषि कर्मण पुरस्कार मिले हैं। इतना ही नहीं सरकार किसानों को तमाम तरह की रियायतें व सुविधाएं देने का दावा करती है। जिन राज्यों में यह सब नहीं है, वहां क्या हाल होगा, अंदाजा लगाना आसान नहीं है।
डिंडौरी के कृषि विभाग के अनुविभागीय अधिकारी (एसडीओ) एस.आर. अहिरवार ने संवाददाताओं को बताया कि खेत जुताई के लिए आर्थिक मदद दिए जाने की उनके विभाग में योजना है, मगर गोहर ने विभाग से संपर्क ही नहीं किया। इस बात की जानकारी भी मीडिया से हुई है।
वहीं दूसरी ओर खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री ओमप्रकाश धुर्वे ने संवाददाताओं को बताया कि संबंधित किसान को बैल खरीदने के लिए 20 हजार रुपये की राशि प्रदान की जा रही है।
डिंडौरी का यह पहला मामला नहीं है, इससे पहले भी इसी तरह की तस्वीरें सामने आती रही हैं। गोहर को तो सरकार की ओर से बैल खरीदने के लिए 20 हजार रुपये मिल जाएंगे, मगर उन किसानों का क्या होगा, जिनकी समस्या मीडिया तक ही नहीं आ पाती।
पूर्व प्रधानमंत्री वाजपेयी ने 70 वर्ष पहले ही लिख दिया था, 15 अगस्त का दिन कहता आजादी अभी अधूरी है, सपने सच होना बाकी है, रावी की शपथ न पूरी है। कलकत्ते के फुटपाथों पर जो आंधी-पानी सहते हैं, उनसे पूछो पंद्रह अगस्त के बारे में क्या कहते हैं।
आम किसान यूनियन के केदार सिरोही कहते हैं कि राजनीतिक तौर पर तो हम आजाद हो गए, मगर आर्थिक तौर पर नहीं हुए। सरकारों ने कभी भी किसान, गरीब, मजदूर के बारे में नहीं सोचा। पहले किसान मानव और पशुधन से खेती करता था, मगर आर्थिक विपन्नता के चलते किसान पशुधन को बचा नहीं पाया, लिहाजा अब सिर्फ मानव श्रम ही उसके पास बचा है। यही कारण है कि हल में बैल नहीं खुद किसान जुतने को मजबूर हैं। देश का किसान समृद्ध होता तो आज उसके पास भी हवाईजहाज होता, मगर सरकारें सिर्फ कार्पोरेट के लिए काम कर रही हैं।
वे आगे व्यंग्य में कहते हैं कि बाबा रामदेव का भला हो, जिन्होंने आर्थिक आजादी की बात की है, इसलिए हम भी आर्थिक आजादी का जिक्र कर सकते हैं, अगर आजादी की बात करेंगे तो उसके अर्थ और मायने कुछ और निकाले जाएंगे।
यह बात सही है कि 15 अगस्त का सड़क के फुटपाथ पर सोने, रोज कमाने खाने वालों के लिए ज्यादा मायने नहीं होता, क्योंकि यह दिन भी उनके लिए आम दिनों जैसा ही होता है।
नेशनल
केरल के कन्नूर जिले में चोरों ने व्यवसायी के घर से उड़ाए एक करोड़ रुपये, सोने के 300 सिक्के
कन्नूर। केरल के कन्नूर जिले में चोरों के एक गिरोह ने वालापट्टनम में एक व्यवसायी के घर से एक करोड़ रुपये की नकदी और सोने की 300 गिन्नियां चुरा लिए। पुलिस ने सोमवार को यह जानकारी दी।पुलिस के मुताबिक चोरी की यह घटना उस समय हुई जब व्यवसायी और उसका परिवार एक विवाह समारोह में भाग लेने के लिए तमिलनाडु के मदुरै गए हुए थे। उन्होंने बताया कि चोरी का पता तब चला जब रविवार रात को व्यवसायी का परिवार घर लौटा और लॉकर में रखा कीमती सामान गायब पाया।
सीसीटीवी फुटेज में तीन लोगों को दीवार फांदकर घर में घुसते देखा
पुलिस सूत्रों ने बताया कि घर के सभी लोग 19 नवंबर से ही घर से बाहर थे। और संदेह है कि चोरों ने रसोई की खिड़की की ग्रिल काटकर घर में प्रवेश किया। सीसीटीवी फुटेज में तीन लोगों को दीवार फांदकर घर में घुसते देखा जा सकता है।
चोरों को लिए गए फिंगरप्रिंट
पीड़ित परिवार के एक रिश्तेदार ने मीडिया को बताया कि नकदी, सोना और अन्य कीमती सामान आलमारी में बंद करके रखे गए थे। इसकी चाबी दूसरे कमरे में रखी गई थी। पुलिस और ‘फिंगरप्रिंट’ (अंगुलियों के निशान) लेने वाले विशेषज्ञों की एक टीम घर पहुंची और सुबूत एकत्र किए तथा आरोपियों को पकड़ने के लिए व्यापक तलाश अभियान चलाया गया है।
-
लाइफ स्टाइल13 hours ago
साइलेंट किलर है हाई कोलेस्ट्रॉल की बीमारी, इन लक्षणों से होती है पहचान
-
ऑफ़बीट3 days ago
बिहार का ‘उसैन बोल्ट’, 100 किलोमीटर तक लगातार दौड़ने वाला यह लड़का कौन
-
नेशनल3 days ago
आज शाम दिल्ली स्थित बीजेपी मुख्यालय जाएंगे पीएम मोदी, कार्यकर्ताओं को करेंगे संबोधित
-
नेशनल3 days ago
संजय राउत को महाराष्ट्र के नतीजे मंजूर नहीं, कहा- ये कैसा लोकतंत्र है, प्रदेश की जनता के साथ हुई बेईमानी
-
खेल-कूद3 days ago
IND VS AUS : दूसरी पारी में मजबूत स्थिति में भारत, केएल राहुल और यशस्वी ने जड़ा अर्धशतक
-
नेशनल3 days ago
महाराष्ट्र के रुझानों में महायुति को प्रचंड बहुमत, MVA को तगड़ा झटका
-
अन्तर्राष्ट्रीय3 days ago
पीएम मोदी को मिलेगा ‘विश्व शांति पुरस्कार’
-
उत्तर प्रदेश2 days ago
राम नगरी अयोध्या के बाद भगवान श्री राम से जुड़ी एक और नगरी को भव्य स्वरूप दे रही योगी सरकार