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एम.जे. अकबर मामला : रमानी पर फैसला 29 जनवरी को

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नई दिल्ली, 22 जनवरी (आईएएनएस)| दिल्ली की एक अदालत ने पत्रकार प्रिया रमानी के खिलाफ दायर पूर्व केंद्रीय मंत्री एम.जे.अकबर की मानहानि याचिका को लेकर मंगलवार को कहा कि वह 29 जनवरी को निर्णय करेगी कि रमानी को तलब किया जाए, या नहीं।

  अकबर की वकील और वरिष्ठ वकील गीता लूथरा और वकील संदीप कपूर द्वारा रमानी को तलब करने के मामले में बहस समाप्त होने के बाद, अतिरिक्त मुख्य महानगर दंडाधिकारी समर विशाल ने फैसला सुरक्षित रख लिया।

वकील ने अदालत से कहा कि रमानी ने अकबर की प्रतिष्ठा को धूमिल किया है, जो उन्होंने कठिन मेहनत कर के वर्षो में हासिल किया है।

उन्होंने कहा कि रमानी के अपमानजनक बयान ने लोगों की नजरों में उनकी छवि को धूमिल किया है।

पत्रकार ने अक्टूबर 2018 में ट्वीट कर एक आलेख पोस्ट किया था, जिसमें लिखा था, “मैं एम.जे.अकबर की कहानी के साथ इसकी शुरुआत करती हूं। कभी उनका नाम नहीं लिया, क्योंकि उन्होंने कुछ भी नहीं ‘किया’, महिलाओं के पास इस राक्षस(प्रीडेटर) के बारे में इससे भी खराब कहानियां हैं- संभव है वे साझा करें।”

अकबर के वकील ने अदालत से कहा कि रमानी ने गलत ढंग से आरोप लगाया, क्योंकि उन्होंने स्वीकार किया था कि अकबर ने उनके साथ कुछ नहीं किया।

वकील ने अदालत से रमानी को मामले में आरोपी के रूप में तलब करने का आग्रह करते हुए कहा कि रमानी की भाषा काफी अपमानजनक थी।

अदालत भाजपा नेता और पूर्व विदेश राज्य मंत्री अकबर द्वारा रमानी के खिलाफ मानहानि मामले की सुनवाई कर रही थी।

अकबर पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगानी वाली महिला पत्रकारों में रमानी पहली महिला थी।

अकबर समेत सात प्रत्यक्षदर्शियों के बयान रिकार्ड किए जा चुके हैं।

राज्यसभा के सदस्य अकबर ने सभी आरोपों से इनकार किया था और इसे ‘फर्जी और बेबुनियाद’ बताया था।

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महाकुम्भ में पहली बार चप्पे चप्पे पर नजर रखने के लिए हवा में टीथर्ड ड्रोन तैनात

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महाकुम्भनगर|  महाकुम्भ में पहली बार चप्पे चप्पे पर नजर रखने के लिए हवा में टीथर्ड ड्रोन तैनात किया गया है। हाई रिजॉल्यूशन इमेज, वीडियो और सेंसर डेटा एकत्र करने की क्षमता वाले इस हाई सिक्योरिटी टीथर्ड ड्रोन की नजर से किसी का भी बच पाना नामुमकिन है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए यह अत्याधुनिक उपकरण महाकुम्भनगर में लगाया गया है। महाकुम्भनगर के एसएसपी ने इसकी निगरानी के लिए एक एक्सपर्ट टीम तैनात कर दी है।

हर गतिविधि होगी कैप्चर

महाकुम्भनगर के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक राजेश द्विवेदी ने इसे सेकेंडों में अलर्ट मोड में आ जाने वाला नायाब उपकरण बताया है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ चाहते हैं कि इस बार के महाकुम्भ को अविस्मरणीय बनाया जाए, जिसके लिए सुरक्षा व्यवस्था को हाईटेक किया जा रहा है। इस टीथर्ड ड्रोन में हाई रिजॉल्यूशन इमेज, वीडियो और सेंसर डेटा एकत्र करने की अद्भुत क्षमता है। डेटा ट्रांसमिशन के लिए यह बेहद सुरक्षित है और ऊंचाई से महाकुम्भनगर की हर छोटी-बड़ी गतिविधियां कैप्चर करने में इसे महारत हासिल है।

महाकुम्भ पुलिस की तीसरी आंख से बच पाना नामुमकिन

महाकुम्भनगर की पुलिस के लिए टीथर्ड ड्रोन तीसरी आंख का काम कर रहा है। इससे बच पाना किसी के लिए भी नामुमकिन है। इसके जरिए संगम तट के अलावा अत्यधिक भीड़ भाड़ वाले घाटों और प्रमुख स्थलों पर पैनी नजर रखी जा रही है। इसके अलावा मंदिरों और अन्य प्रमुख स्थलों पर नजर रखने के लिए हाई रिजॉल्यूशन कैमरे से लैस इस उपकरण को तैनात कर दिया गया है, जो पलक झपकते ही श्रद्धालुओं से संबंधित अलर्ट अफसरों को जारी कर रहे हैं।

एआई लाइसेंस युक्त कैमरे के साथ पुलिस अफसर मुस्तैद

महाकुम्भ के दौरान पुलिस पूरे मेला क्षेत्र में 2750 से अधिक सीसीटीवी कैमरों से निगरानी की जा रही है। इसमें आधे से ज्यादा एआई लाइसेंस युक्त कैमरे भी शामिल हैं। एसएसपी महाकुम्भनगर राजेश द्विवेदी के अनुसार, इस बार महाकुम्भनगर में 45 करोड़ श्रद्धालुओं के आने की संभावना है। ऐसे में सीएम योगी की मंशा के अनुरूप सुरक्षा व्यवस्था चाक चौबंद बनाए रखने और किसी तरह की कोई अप्रिय घटना न हो, इसके लिए हर अधिकारी मुस्तैदी से कार्य कर रहा है।

ये है टीथर्ड ड्रोन

महाकुम्भनगर की महत्ता को ध्यान में रखते हुए इस बार टीथर्ड ड्रोन का इस्तेमाल किया जा रहा है। ये एक विशेष प्रकार के कैमरे होते हैं। इन कैमरों को एक बड़े बलून के सहारे रस्सी से बांधकर एक निश्चित ऊंचाई पर तैनात किया जाता है। महाकुम्भनगर में इन्हें ऊंचे टॉवर्स पर इंस्टॉल किया जा रहा है। यहीं से ये पूरे मेला क्षेत्र में नजर रख रहे हैं। इन्हें बार-बार उतारना भी नहीं पड़ेगा और ये पूरे मेला क्षेत्र पर अपनी पैनी नजर से निगरानी कर सकने में सक्षम हैं।

बहुत दूर तक देख पाने में सक्षम

टीथर्ड ड्रोन की मदद से कंट्रोल रूम को मेला क्षेत्र की हर एक महत्वपूर्ण फुटेज प्राप्त हो सकेगी। इसके माध्यम से अत्यधिक भीड़ भाड़ वाले स्थानों को चिह्नित कर वहां तत्काल पुलिस का प्रबंध किया जा सकता है। वहीं किसी भी तरह की संदिग्ध गतिविधि पर भी नजर रखी जा सकती है। हाई रिजॉल्यूशन के कारण ये कैमरे बहुत दूर तक देख पाने में सक्षम हैं।

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