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खेल-कूद

ऑस्ट्रेलिया से हिसाब बराबर करने उतरेगा भारत

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सिडनी। चार बार का चैम्पियन आस्ट्रेलिया जब जारी आईसीसी विश्व कप के सेमीफाइनल में गुरुवार को सिडनी क्रिकेट मैदान (एससीजी) में मौजूदा चैम्पियन भारत से भिड़ेगा तो उसके ऊपर सबसे बड़ा दबाव अपने गृह मैदान में खेलने और प्रशंसकों की उम्मीदों पर खरा उतरने का होगा। आखिरी बार 1992 में जब आस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड में विश्व कप आयोजित हुए थे तो कंगारू टीम सेमीफाइनल तक का सफर तय नहीं कर सकी थी। इस बार सह-मेजबान न्यूजीलैंड फाइनल में पहुंच चुका है और ऐसे में यहां कंगारू प्रशंसक भी अपनी टीम से कुछ ऐसे ही प्रदर्शन की उम्मीद करेंगे।

बहरहाल, आस्ट्रेलिया के खिलाफ भारत का हाल में टेस्ट और त्रिकोणीय श्रृंखला में प्रदर्शन महेंद्र सिंह धौनी की टीम के लिए दबाव का मुख्य कारण होगा। हाल के टेस्ट श्रृंखला में भारत को 0-2 से हार का सामना करना पड़ा था। साथ ही त्रिकोणीय श्रृंखला में भी भारतीय टीम कोई मैच नहीं जीत सकी। विश्व कप शुरू होने के बाद हालांकि भारतीय टीम ने जरूर शानदार वापसी की है और अब तक अपराजित रही है। भारतीय टीम ने इस सफर में पाकिस्तान और दक्षिण अफ्रीका जैसी बड़ी टीमों को मात दी। साथ ही क्वार्टर फाइनल में बांग्लादेश को हराया।
भारत के पास लंबा बल्लेबाजी क्रम है। सलामी बल्लेबाज शिखर धवन इस टूर्नामेंट में दो तथा रोहित शर्मा, विराट कोहली और सुरेश रैना एक-एक शकत जड़ चुके हैं। भारतीय टीम का कमजोर पक्ष मानी जा रही गेंदबाजी भी अभी शानदार लय में है। मोहम्मद शमी (17) इस विश्व कप में सर्वाधिक विकेट हासिल करने वाले गेंदबाजों की सूची में तीसरे पायदान पर हैं। उमेश यादव, मोहित शर्मा और रविचंद्रन अश्विन भी टूर्नामेंट में अहम भूमिका निभाते नजर आए।

दूसरी ओर, आस्ट्रेलिया को बल्लेबाजी में डेविड वार्नर, ग्लेन मैक्सवेल सहित एरॉन फिंच आदि से उम्मीदें होंगी। तीनों अब तक एक-एक शतक इस टूर्नामेंट में लगा चुके हैं। साथ ही स्टीवन स्मिथ और माइकल क्लार्क भी अहम भूमिका निभा सकते हैं। आस्ट्रेलियाई टीम में एक बदलाव की उम्मीद की जा रही है तेज गेंदबाज जोस हेजलवुड की जगह पैट कमिस को शामिल किया जा सकता है। हेजलवुड ने हालांकि क्वार्टर फाइनल में पाकिस्तान के खिलाफ चार विकेट हासिल किए थे। ऐसे में उन्हें हटाने का फैसला कठिन होगा।

पुराने रिकार्ड को देखें तो आस्ट्रेलिया कभी भी विश्व कप के सेमीफाइनल में पराजित नहीं हुआ है। वैसे, एक दिलचस्प आंकड़ा यह भी है कि 1992 विश्व कप के बाद से हर बार कोई न कोई एशियाई टीम जरूर टूर्नामेंट के फाइनल में पहुंची है। आखिरी बार विश्व कप में दोनों टीमें चार साल पहले भिड़ी थी और 2011 में अहमदाबाद में हुए उस क्वार्टर फाइनल मुकाबले में भारत विजयी रहा था और फिर विश्व चैम्पियन बन कर उभरा।

टीम (संभावित) :

भारत : शिखर धवन, रोहित शर्मा, विराट कोहली, अजिंक्य रहाणे, सुरेश रैना, महेंद्र सिंह धौनी (विकेटकीपर/कप्तान), रवींद्र जडेजा, रविचंद्रन अश्विन, मोहित शर्मा, मोहम्मद शमी, उमेश यादव, स्टुअर्ट बिन्नी।

ऑस्ट्रेलिया : डेविड वार्नर, एरॉन फिंच, स्टीवन स्मिथ, माइकल क्लार्क (कप्तान), शेन वाटसन, ग्लेन मैक्सवेल, ब्रैड हैडिन (विकेटकीपर), जेम्स फॉल्कनर, मिशेन जानसन, मिशेल स्टार्क, जोस हाजेलवुड, पैट कमिंस।

खेल-कूद

विराट कोहली ने की है 12वीं तक पढ़ाई, इस सब्जेक्ट का नाम सुनकर ही आ जाता था पसीना

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नई दिल्ली। भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान विराट कोहली आज अपना 36वां जन्मदिन मना रहे हैं। अपने 16 साल के करियर में विराट इतने आगे निकल गए हैं कि उनके रिकार्ड्स को तोड़ना लगभग नामुमकिन सा लगता है। आज विराट के जन्मदिन के मौके पर हम आपको ऐसी बात बताने जा रहे हैं जो आपने शायद पहले कभी नहीं सुनी होगी। आज हम आपको बताएंगे कि मैदान पर अपनी बल्लेबाजी से गेंदबाजों को डराने वाले विराट किससे डरा करते थे।

आपको जानकर हैरानी होगी कि मैदान पर रिकॉर्ड्स के अंबार लगाने वाले विराट कोहली ने केवल 12वीं तक की ही पढ़ाई की है। क्रिकेट के प्रति दीवानगी के चलते उन्होंने अपनी पढ़ाई बीच में ही छोड़ दी। विराट ने दिल्ली की ‘विशाल भारती पब्लिक स्कूल’ से पढ़ाई की है। स्कूल की वेबसाइट में भी एल्युमनाई में कोहली का जिक्र है और उनकी तस्वीरें भी लगा रखी है।

दिल्ली के जानेमाने स्कूल में से एक इस स्कूल को कई अवार्ड मिल चुके हैं। विराट का फेवरेट सब्जेक्ट हिस्ट्री था। विराट हमेशा से ही अतीत की बातें सीखने के लिए उत्सुक रहते थे। मैथ्स एक ऐसा सब्जेक्ट था जिसके बारे में सुनकर विराट के पसीने छूट जाते थे। कहा जाता है कि एक बार विराट को मैथ्स में 100 में केवल 3 ही मार्क्स मिले थे।

विराट कोहली की ही कप्तानी में भारतीय टीम ने 2008 का अंडर-19 वर्ल्ड कप जीती थी। यह टूर्नामेंट मलेशिया में खेला गया था। इस शानदार प्रदर्शन के दम पर कोहली ने टीम इंडिया के लिए अपना पहला इंटरनेशनल मैच 18 अगस्त 2008 को श्रीलंका के खिलाफ खेला था।

 

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