मुख्य समाचार
खिलाड़ियों के वर्कलोड के बारे में जानकारी नहीं : नाइट राइडर्स
कोलकाता, 19 फरवरी (आईएएनएस)| भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) ने हाल ही में ऐसे संकेत दिए थे कि वह इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) के आने वाले सीजन में भारत के खिलाड़ियों के वर्कलोड पर नजर रखेगा लेकिन कोलकाता नाइट राइडर्स के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) वैंकी मैसूर ने मंगलवार को कहा कि उन्हें इस संबंध में कोई जानकारी नहीं मिली है। उन्होंने आत्मविश्वास के साथ कहा कि इस तरह की स्थिति नहीं आएगी और चीजें अच्छे से होंगी।
मैसूर ने यहां ईडन गरडस स्टेडियम में मेयर्स कप से इतर संवाददाताओं से कहा, “ईमानदारी से कहूं तो यह काल्पनिक स्थिति है। मुझे नहीं लगता कि ऐसी स्थिति सामने आएगी क्योंकि खिलाड़ियों और प्रशिक्षकों के साथ रहने और प्रतिस्पर्धी क्रिकेट खेलना अभ्यास सत्र में समय बिताने से ज्यादा बेहतर है।”
इस मौके पर नाइट राइडर्स के कप्तान दिनेश कार्तिक और अकादमी के मुख्य कोच तथा मेंटोर अभिषेक नायर भी मौजूद थे।
मैसूर ने कहा, “12 मई को फाइनल में दो टीमें रहेंगी। उससे पहले प्लेऑफ हैं। इसलिए ऐसा नहीं है कि टूर्नामेंट से हर कोई जुड़ा रहेगा। यह टीम पर निर्भर करता है। मुझे लगाता है कि सभी कुछ अच्छे से होगा।”
बीसीसीआई के कार्यवाहक सचिव अमिताभ चौधरी और मुख्य चयनकर्ता एम.एस.के प्रसाद ने हाल ही में कहा था कि वह इंग्लैंड में इसी साल मई से शुरू होने वाले विश्व कप से पहले होने वाले आईपीएल में भारतीय खिलाड़ियों के वर्कलोड पर ध्यान रखेंगे।
विश्व कप की शुरुआत 30 मई से हो रही है जो 14 जुलाई तक चलेगा। वहीं आईपीएल की शुरुआत 23 मार्च से हो रही है।
मैसूर से जब बोर्ड के इस बयान के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा, “हमने उनसे इस तरह की बात को नहीं सुना है। टूर्नामेंट काफी पहले खत्म हो रहा है। अगर 12 मई को फाइनल होगा और भारत विश्व कप में अपना पहला मैच पांच जून को खेलती है तो मुझे लगता है कि दोनों के बीच काफी अंतर है, लेकिन हमें किसी तरह का आदेश नहीं मिला है।”
इसी साल आम चुनाव होने हैं ऐसे में हो सकता है कि फ्रेंचाइजियों को तटस्थ स्थानों पर मैच खेलने पड़े।
इसे लकेर मैसूर ने कहा, “इस बात की काफी संभावनाएं हैं। जो मैंने सुना है उसके हिसाब से वह पूरा टूर्नामेंट भारत में कराना चाहते हैं। इसलिए हो सकता है कि तटस्थ स्थानों पर मैच खेले जाएं। यह देश के बाहर तटस्थ स्थानों पर खेलने से बेहतर है।”
मुख्य समाचार
महाकुम्भ में पहली बार चप्पे चप्पे पर नजर रखने के लिए हवा में टीथर्ड ड्रोन तैनात
महाकुम्भनगर| महाकुम्भ में पहली बार चप्पे चप्पे पर नजर रखने के लिए हवा में टीथर्ड ड्रोन तैनात किया गया है। हाई रिजॉल्यूशन इमेज, वीडियो और सेंसर डेटा एकत्र करने की क्षमता वाले इस हाई सिक्योरिटी टीथर्ड ड्रोन की नजर से किसी का भी बच पाना नामुमकिन है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए यह अत्याधुनिक उपकरण महाकुम्भनगर में लगाया गया है। महाकुम्भनगर के एसएसपी ने इसकी निगरानी के लिए एक एक्सपर्ट टीम तैनात कर दी है।
हर गतिविधि होगी कैप्चर
महाकुम्भनगर के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक राजेश द्विवेदी ने इसे सेकेंडों में अलर्ट मोड में आ जाने वाला नायाब उपकरण बताया है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ चाहते हैं कि इस बार के महाकुम्भ को अविस्मरणीय बनाया जाए, जिसके लिए सुरक्षा व्यवस्था को हाईटेक किया जा रहा है। इस टीथर्ड ड्रोन में हाई रिजॉल्यूशन इमेज, वीडियो और सेंसर डेटा एकत्र करने की अद्भुत क्षमता है। डेटा ट्रांसमिशन के लिए यह बेहद सुरक्षित है और ऊंचाई से महाकुम्भनगर की हर छोटी-बड़ी गतिविधियां कैप्चर करने में इसे महारत हासिल है।
महाकुम्भ पुलिस की तीसरी आंख से बच पाना नामुमकिन
महाकुम्भनगर की पुलिस के लिए टीथर्ड ड्रोन तीसरी आंख का काम कर रहा है। इससे बच पाना किसी के लिए भी नामुमकिन है। इसके जरिए संगम तट के अलावा अत्यधिक भीड़ भाड़ वाले घाटों और प्रमुख स्थलों पर पैनी नजर रखी जा रही है। इसके अलावा मंदिरों और अन्य प्रमुख स्थलों पर नजर रखने के लिए हाई रिजॉल्यूशन कैमरे से लैस इस उपकरण को तैनात कर दिया गया है, जो पलक झपकते ही श्रद्धालुओं से संबंधित अलर्ट अफसरों को जारी कर रहे हैं।
एआई लाइसेंस युक्त कैमरे के साथ पुलिस अफसर मुस्तैद
महाकुम्भ के दौरान पुलिस पूरे मेला क्षेत्र में 2750 से अधिक सीसीटीवी कैमरों से निगरानी की जा रही है। इसमें आधे से ज्यादा एआई लाइसेंस युक्त कैमरे भी शामिल हैं। एसएसपी महाकुम्भनगर राजेश द्विवेदी के अनुसार, इस बार महाकुम्भनगर में 45 करोड़ श्रद्धालुओं के आने की संभावना है। ऐसे में सीएम योगी की मंशा के अनुरूप सुरक्षा व्यवस्था चाक चौबंद बनाए रखने और किसी तरह की कोई अप्रिय घटना न हो, इसके लिए हर अधिकारी मुस्तैदी से कार्य कर रहा है।
ये है टीथर्ड ड्रोन
महाकुम्भनगर की महत्ता को ध्यान में रखते हुए इस बार टीथर्ड ड्रोन का इस्तेमाल किया जा रहा है। ये एक विशेष प्रकार के कैमरे होते हैं। इन कैमरों को एक बड़े बलून के सहारे रस्सी से बांधकर एक निश्चित ऊंचाई पर तैनात किया जाता है। महाकुम्भनगर में इन्हें ऊंचे टॉवर्स पर इंस्टॉल किया जा रहा है। यहीं से ये पूरे मेला क्षेत्र में नजर रख रहे हैं। इन्हें बार-बार उतारना भी नहीं पड़ेगा और ये पूरे मेला क्षेत्र पर अपनी पैनी नजर से निगरानी कर सकने में सक्षम हैं।
बहुत दूर तक देख पाने में सक्षम
टीथर्ड ड्रोन की मदद से कंट्रोल रूम को मेला क्षेत्र की हर एक महत्वपूर्ण फुटेज प्राप्त हो सकेगी। इसके माध्यम से अत्यधिक भीड़ भाड़ वाले स्थानों को चिह्नित कर वहां तत्काल पुलिस का प्रबंध किया जा सकता है। वहीं किसी भी तरह की संदिग्ध गतिविधि पर भी नजर रखी जा सकती है। हाई रिजॉल्यूशन के कारण ये कैमरे बहुत दूर तक देख पाने में सक्षम हैं।
-
मनोरंजन3 days ago
मशहूर कॉमेडियन समय रैना का शो एक बार फिर विवादों में, सोशल मीडिया पर मच रहा बवाल
-
राजनीति3 days ago
प्रियंका गांधी के बैग को लेकर राजनीति तेज, बीजेपी ने साधा निशाना
-
नेशनल3 days ago
किसान नेता जगजीत डल्लेवाल की तबियत बिगड़ी, 20 दिनों से कर रहे हैं आमरण अनशन
-
अन्तर्राष्ट्रीय3 days ago
बांग्लादेश आज मना रहा विजय दिवस, जानें क्यों मनाया जाता है ये दिन
-
उत्तर प्रदेश3 days ago
संभल में 46 साल बाद खुले मंदिर के कुएं से निकली माता पार्वती की खंडित मूर्ति
-
खेल-कूद3 days ago
भारतीय टीम के स्टार तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह ने तीसरे टेस्ट में झटके 6 विकेट
-
नेशनल3 days ago
अयोध्या को लेकर मौलाना अरशद मदनी ने दिया विवादित बयान, “आज अयोध्या कोई नहीं आता जाता”
-
उत्तर प्रदेश2 days ago
विधानसभा में बोले सीएम योगी- भगवान विष्णु का दसवां अवतार संभल में ही होगा