Connect with us
https://aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

नेशनल

चीन ने तिब्बत में सैन्य वाहन, आपूर्तियां पहुंचाए

Published

on

Loading

बीजिंग, 19 जुलाई (आईएएनएस)| चीन और भारतीय जवानों के बीच सीमा पर सिक्किम क्षेत्र के डोकलाम में जारी गतिरोध के बीच बीजिंग ने हजारों टन के सैन्य वाहन और उपकरण तिब्बत पहुंचाए हैं।

चीनी सेना के अखबार पीएलए डेली की एक रपट के मुताबिक, जून अंत से सड़क और रेल मार्ग से पूरे क्षेत्र से सैन्य साजो-सामान लगातार पहुंचाए जा रहे हैं।

चीनी सेना ने तिब्बत में बीते सप्ताह भारत से लगी सीमा पर युद्धाभ्यास किया है।

चीनी मीडिया की रपट के मुताबिक, यह युद्धाभ्यास डोकलाम से ज्यादा दूरी पर नहीं किया गया। यह युद्धाभ्यास भारत, चीन और भूटान के तिराहे से ज्यादा दूरी पर नहीं हुआ है।

पीएलए की रपट में यह नहीं बताया गया है कि यह सैन्य आपूर्ति तिब्बत में युद्धाभ्यास से जुड़ी है या नहीं।

साउथ चाइना मार्निग पोस्ट ने पीएलए डेली के हवाले से कहा, पश्चिमी थिएटर कमांड द्वारा सैन्य साजो-सामान उत्तरी तिब्बत के कुनलुन पर्वत के दक्षिण भाग में ले जाया गया। पश्चिमी थिएटर कमांड झिजियांग और तिब्बत के अशांत क्षेत्र व भारत से लगी सीमा मुद्दे को देखता है।

पोस्ट ने शंघाई के एक सैन्य टिप्पणीकार नी लेशियांग के हवाले से कहा, कूटनीतिक वार्ता के साथ सैन्य तैयारी करनी चाहिए।

शंघाई इंस्टीट्यूट फॉर इंटरनेशनल स्टडीज के दक्षिण एशिया अध्ययन पर विशेषज्ञ वांग देहुआ ने कहा कि जवानों और उपकरण सामग्री की आवाजाही से स्पष्ट होता है कि चीन के लिए अब अपनी पश्चिमी सीमा की रक्षा करना कितना आसान है।

उन्होंने कहा, सैन्य अभियान सैन्य तंत्र का खेल है। अब तिब्बत क्षेत्र में बेहतरीन सैन्य तंत्र मौजूद है।

वांग ने कहा, अब सेना आसानी से जवानों और आपूर्ति को आगे की सीमा तक पहुंचा सकती है, ऐसा पठार से चीन के बाकी के क्षेत्र को जोड़ने वाले क्विंगही-तिब्बत रेलवे व दूसरे नए मार्गो व बुनियादी सुविधाओं में सुधार के कारण हो सका है।

डोकलाम में गतिरोध पर चीन व भारत के बीच तनाव में कोई कमी नहीं आई है। चीन ने इस मुद्दे पर कड़ा रुख अख्तियार किया है और वह हर रोज भारत को चेतावनी दे रहा है।

चीन, भूटान व भारत की सीमा डोकलाम में मिलती है। यह स्थान तीनों राष्ट्रों के लिए रणनीतिक तौर पर महत्वपूर्ण है।

Continue Reading

नेशनल

हिंदू राष्ट्र बनाना है तो हर भेद को मिटाकर हर सनातनी को गले से लगाना होगा -“पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री”

Published

on

Loading

राजस्थान। राजस्थान के भीलवाड़ा में बुधवार (6 नवंबर) से पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की पांच दिवसीय हनुमंत कथा शुरू हुई. यहां बागेश्वर सरकार अपने मुखारविंद से भक्तों को धर्म और आध्यात्मिकता का संदेश देंगे. छोटी हरणी हनुमान टेकरी स्थित काठिया बाबा आश्रम के महंत बनवारीशरण काठियाबाबा के सानिध्य में तेरापंथनगर के पास कुमुद विहार विस्तार में आरसीएम ग्राउंड में यह कथा हो रही है.

इस दौरान बागेश्वर धाम सरकार ने भी मेवाड़ की पावन माटी को प्रणाम करते हुए सबका अभिवादन स्वीकार किया. हनुमंत कथा कहते हुए बागेश्वर धाम सरकार धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री महाराज ने हिंदू एकता और सनातन जागृति का संदेश दिया.

उन्होंने कहा, “हनुमानजी महाराज की तरह भेदभाव रहित होकर सबको श्रीरामजी से जोड़ने के कार्य से प्रेरणा लेते हुए सनातन संस्कृति से छुआछूत जातपात के भेदभाव को मिटाना है. अगर हिंदू राष्ट्र बनाना है तो हर भेद को मिटाकर हर सनातनी को गले से लगाना होगा. व्यास पीठ पर आरती करने का हक सभी को है. इसी के तहत भीलवाड़ा शहर के स्वच्छताकर्मी गुरुवार को व्यास पीठ की आरती करेंगे.”

हिंदू सोया हुआ है

बागेश्वर धाम के पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने कहा कि वर्तमान समय में हिंदू की बुरी दशा है। कुंभकर्ण के बाद कोई सोया है तो वह हिंदू सोया है। अब हिंदुओं को जागना होगा और घर से बाहर निकलना होगा। धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने कहा कि हमारे तन में जब तक प्राण रहेंगे तब तक हम हिंदुओं के लिए बोलेंगे, हिंदुओं के लिए लड़ेंगे। अब हमने विचार कर लिया है कि मंच से हिंदू राष्ट्र नहीं बनेगा। उन्होंने कहा कि हमें ना तो नेता बनना है ना किसी पार्टी को वोट दिलाना है। हम बजरंगबली की पार्टी में है, जिसका नारा भी है- जो राम का नहीं वह किसी काम का नहीं।

 

 

 

Continue Reading

Trending